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क्राइम नम्बर 77 19 - उपन्यास
RISHABH PANDEY
द्वारा
हिंदी फिक्शन कहानी
यह एक क्राइम, सस्पेंस सीरीज है, जिसमे एक हत्या के मामले की पड़ताल सीरीज (धारावाहिक) की मुख्य किरदार इंस्पेक्टर शिवानी शुक्ला करेंगी। यह कहानी मुख्यतः कल्पना पर आधारित है जीवंत करने के उद्देश्य से वास्तविक जीवन के बहुत से तथ्यों को भी समाहित किया गया है। आइए सीरीज का पहला अंक शुरू करते है। -लेखकथाना -अकबरपुर जिला कानपुर देहातइंस्पेक्टर शिवानी आज थाने में शांति से बैठी थी, अपनी निजी जिंदगी में थोड़ा उथल पुथल से परेशान थी। उनके मंगेतर जो कि एक बिजनेसमैन थे वे चाहते है कि शिवानी पुलिस की नौकरी छोड़कर शादी के बाद उनके साथ रहे। लेकिन
यह एक क्राइम, सस्पेंस सीरीज है, जिसमे एक हत्या के मामले की पड़ताल सीरीज (धारावाहिक) की मुख्य किरदार इंस्पेक्टर शिवानी शुक्ला करेंगी। यह कहानी मुख्यतः कल्पना पर आधारित है जीवंत करने के उद्देश्य से वास्तविक जीवन के बहुत से ...और पढ़ेको भी समाहित किया गया है। आइए सीरीज का पहला अंक शुरू करते है। -लेखकथाना -अकबरपुर जिला कानपुर देहातइंस्पेक्टर शिवानी आज थाने में शांति से बैठी थी, अपनी निजी जिंदगी में थोड़ा उथल पुथल से परेशान थी। उनके मंगेतर जो कि एक बिजनेसमैन थे वे चाहते है कि शिवानी पुलिस की नौकरी छोड़कर शादी के बाद उनके साथ रहे। लेकिन
“सुशीला जी पूजा का आदमी कौन है?”- सब इंस्पेक्टर विकास“साहब पूजा का आदमी तो कभी आया नही न मैं उससे कभी मिली हूँ। लेकिन पूजा बताई रही कि उसका आदमी कहीं बाहर रहता है। यहाँ पर रवि अक्सर आता ...और पढ़ेथा। कई बार तो रात का खाना वो यही खाता था।” – सुशीला(सब इंस्पेक्टर विकास पूजा के कमरे और मकान के हर एक कोने को अच्छी तरह से देखता है। उसे कुछ भी ऐसा नही मिलता जो कि किसी के तरफ इशारा करे ना ही कोई सुराग मिला। पूजा के कमरे में सामान के नाम पर एक बक्शा और कुछ
“मैडम......!!! आपको ये देखना चाहिये।”- सब इंस्पेक्टर विकास“ क्या है बताओ?”- शिवानी“मैडम ये पूजा की और छुटकी की पोस्टमार्टम रिपोर्ट है। इसके अनुसार पूजा प्रेगनेन्ट थी और उसके पेट पर बहुत सारे मारपीट के निशान मिले है जैसे कि ...और पढ़ेगर्भ गिराना चाहता था।”- विकास“ओहह....माय गाड तो क्या मौत का कारण यही दिया गया है?”- शिवानी“नहीं मैडम मौत तो दम घुटने से हुई है दोनों की जैसे की ताकिया या किसी चीज से मुँह दबा कर मारा गया है।”- सब इंपेक्टर विकास“ओहह आई सी.....!!!”- शिवानी“शायद यही वजह है कि इस केस का कोई ओर छोर नही मिल रहा था। यह
“मे आई कम इन मैडम”- सब इंस्पेक्टर विकास“यस कम इन विकास, क्या प्रोगेस है कुछ अच्छी खबर सुनाओ।”- इंस्पेटर शिवानी“मैडम मैंने बक्से को खुलवा कर इंवेस्टीगेट किया। ज्यादा कुछ तो मिला नहीं ये दो पुराने वी.सी.आ. के कैसेट है ...और पढ़ेपुराने फोटोग्राफ्स, कुछ कपड़े और एक मंगलसूत्र है।”- विकास (हल्की मुस्कान के साथ)“इन वी.सी.आर. कैसेट को किसी लैब से सीडी में चेन्ज कर के देखो क्या लीड मिलती है?”-शिवानी“बाकी रबि का कुछ पता चला?”- शिवानी“नो मैडम लेकिन मैंने अपने आदमी रबि के घर और दुकान के पास लगा दिये है जैसे कोई लीड मिलती है मैं आपको बताता हूँ। एक
“वाट हैपन टू यू विकास”- शिवानी“कुछ नहीं मैडम थोड़ा सा मोच आ गयी है। रबि को दबिश देने गये थे वो भागने की कोशिश कर रहा था।”- सब इंस्पेक्टर विकास“दबिश कौन-कौन गया था”- शिवानी“मैडम मैं और बलबीर”- विकास“बलबीर आर ...और पढ़ेगॉना मैड 302 का आरोपी है वो और तुम बिना किसी तैयारी के ऐसे ही दबिश देने पहुँच गये। क्या समझते हो अपने आप को ? अपने सीनियर को बताना भी जरूरी नहीं समझा और नही थाने से फोर्श ले गये कुछ हो जाता तो कौन जिम्मेदार होता इसका?”- इंपेक्टर शिवानी (गुस्से में)।“सॉरी मैडम लेकिन मुझे जैसे ही सूचना मिली