Ishq me Dard book and story is written by Nisha Rani in Hindi . This story is getting good reader response on Matrubharti app and web since it is published free to read for all readers online. Ishq me Dard is also popular in लघुकथा in Hindi and it is receiving from online readers very fast. Signup now to get access to this story.
ईश्क में दर्द - उपन्यास
Nisha Rani
द्वारा
हिंदी लघुकथा
कहते हैं प्यार लफ्जों में बयां नहीं होता इसे महसूस किया जाता है .....ऐसी ही कहानी है अथर्व कपूर और आराध्या रायजादा की.... अथर्व कपूर को प्यार पर भरोसा नहीं था.... और वही आराध्या की भी राय कुछ अथर्व से अलग नहीं थी.... आराध्या के चाचा चाची किसी अमीर आदमी के साथ उस की शादी करवाने के लिए तैयार हो गए .....क्योंकि उस आदमी ने उन्हें ढेर सारे पैसे दिए थे..... आराध्या उस शादी से भाग आई और रास्ते में मिली अथर्व कपूर से.... तो क्या होगा इन दोनों को प्यार पहली ही मुलाकात में या फिर होगी टशन बाजी .....जानने के लिए पढ़ ली होगी आपको मेरी कहानी...."love"
कहते हैं प्यार लफ्जों में बयां नहीं होता इसे महसूस किया जाता है .....ऐसी ही कहानी है अथर्व कपूर और आराध्या रायजादा की.... अथर्व कपूर को प्यार पर भरोसा नहीं था.... और वही आराध्या की भी राय कुछ अथर्व ...और पढ़ेअलग नहीं थी.... आराध्या के चाचा चाची किसी अमीर आदमी के साथ उस की शादी करवाने के लिए तैयार हो गए .....क्योंकि उस आदमी ने उन्हें ढेर सारे पैसे दिए थे..... आराध्या उस शादी से भाग आई और रास्ते में मिली अथर्व कपूर से.... तो क्या होगा इन दोनों को प्यार पहली ही मुलाकात में या फिर होगी टशन बाजी
दूसरी तरफ बहुत बड़ी हवेली टाइप घर जिसके अंदर सब चीजें लग्जरी ही थी ...उसी घर में एक मिडल एज की महिला जिनके चेहरे पर बहुत ही ज्यादा चमक थी ....और होठों पर स्माइल ...जोकि जाने का नाम नहीं ...और पढ़ेरही थी.... कामिनी कपूर ....!!! अथर्व कपूर की मां ....जब से उन्होंने सुना उनका बेटा इंडिया आने बाला हैं ....तब से उनकी नजर दरवाजे पर ही रुकी हुई है . ..वह बार-बार दरवाजे की ओर देख रही हैं ....कब उनका बेटा उनकी आंखों के सामने हो....!!! पूरी हवेली में उनकी आवाज गूंज रही थी जो कि अपने छोटे बेटे प्रेम