A A rajput लिखित उपन्यास रिश्ते -ज़रूरत या ईश्वरीय देन होम उपन्यास हिंदी उपन्यास रिश्ते -ज़रूरत या ईश्वरीय देन - उपन्यास Rishte - Jarurat ya ishwariya den book and story is written by A A rajput in Hindi . This story is getting good reader response on Matrubharti app and web since it is published free to read for all readers online. Rishte - Jarurat ya ishwariya den is also popular in लघुकथा in Hindi and it is receiving from online readers very fast. Signup now to get access to this story. उपन्यास रिश्ते -ज़रूरत या ईश्वरीय देन - उपन्यास A A rajput द्वारा हिंदी लघुकथा 1.9k 9.6k बहुत दिनो से सोच रहा था कि आज कल के रिश्तों में वो बात क्यूँ नहीं हैं जिस रिश्तों की कहानी मैं अपने पापा माँ या फिर दादादादी से सुनता था ...क्यों अब लोगों की रिश्ते निभाने की चाह समाप्त होने लगी है और धीरे धीरे एकलता की और बढ़ रहे है ।सच कहु तो एसा लगता है जैसे इंसानो ने इलेक्ट्रॉनिक्स साधनो से एक नई रिश्तों की शुरुआत किया है। ऐसा क्या हो गया है कि अब रिश्तों का महत्व कम हो गया है या कहूँ तो आने वाले समय में समाप्त ही न हो जाये?!!! रिश्तों की शुरुआत पढ़ें पूरी कहानी मोबाईल पर डाऊनलोड करें रिश्ते -ज़रूरत या ईश्वरीय देन - उपन्यास नए एपिसोड्स : Every Sunday रिश्ते -ज़रूरत या ईश्वरीय देन बहुत दिनो से सोच रहा था कि आज कल के रिश्तों में वो बात क्यूँ नहीं हैं जिस रिश्तों की कहानी मैं अपने पापा माँ या फिर दादादादी से सुनता था ...क्यों अब लोगों की रिश्ते निभाने की चाह ...और पढ़ेहोने लगी है और धीरे धीरे एकलता की और बढ़ रहे है ।सच कहु तो एसा लगता है जैसे इंसानो ने इलेक्ट्रॉनिक्स साधनो से एक नई रिश्तों की शुरुआत किया है। ऐसा क्या हो गया है कि अब रिश्तों का महत्व कम हो गया है या कहूँ तो आने वाले समय में समाप्त ही न हो जाये?!!! रिश्तों की शुरुआत मुफ्त पढ़ो रिश्ते - ज़रूरत या ईश्वरीय देन (भाग-२) हमने भाग-१ में देखा कि रिश्तों का जन्म कैसे हुआ और किन परिस्थितियों में हुआ?अब हम रिश्तों के अलग आयाम को देखने का प्रयास करेंगे।आज कल के रिश्ते बस नाममात्र के ही प्रतीक रहे है ।हर वो रिश्ता चाहे ...और पढ़ेख़ून से जुड़ा हो या फिर विश्वास से या फिर प्रेम से बस दिखावा मात्र रह गये है । हमने समझने की कोशिश की कि रिश्ता कैसे जन्मा होगा? अब इसका धार्मिक पक्ष समझने की कोशिश करते है - जब ईश्वर ने इस धरती का सृजन किया तो इसकी सबसे अदभुत सर्जन मानव था ।ईश्वर ने मानव को समझ जिसे हम मुफ्त पढ़ो अन्य रसप्रद विकल्प हिंदी लघुकथा हिंदी आध्यात्मिक कथा हिंदी फिक्शन कहानी हिंदी प्रेरक कथा हिंदी क्लासिक कहानियां हिंदी बाल कथाएँ हिंदी हास्य कथाएं हिंदी पत्रिका हिंदी कविता हिंदी यात्रा विशेष हिंदी महिला विशेष हिंदी नाटक हिंदी प्रेम कथाएँ हिंदी जासूसी कहानी हिंदी सामाजिक कहानियां हिंदी रोमांचक कहानियाँ हिंदी मानवीय विज्ञान हिंदी मनोविज्ञान हिंदी स्वास्थ्य हिंदी जीवनी हिंदी पकाने की विधि हिंदी पत्र हिंदी डरावनी कहानी हिंदी फिल्म समीक्षा हिंदी पौराणिक कथा हिंदी पुस्तक समीक्षाएं हिंदी थ्रिलर हिंदी कल्पित-विज्ञान हिंदी व्यापार हिंदी खेल हिंदी जानवरों हिंदी ज्योतिष शास्त्र हिंदी विज्ञान हिंदी कुछ भी Best Novels of 2024Best Novels of 2024Best Novels of January 2024Best Novels of February 2024Best Novels of March 2024Best Novels of April 2024 Best Novels of 2023Best Novels of 2023Best Novels of January 2023Best Novels of February 2023Best Novels of March 2023Best Novels of April 2023Best Novels of May 2023Best Novels of June 2023Best Novels of July 2023Best Novels of August 2023Best Novels of September 2023Best Novels of October 2023Best Novels of November 2023Best Novels of December 2023 Best Novels of 2022Best Novels of 2022Best Novels of January 2022Best Novels of February 2022Best Novels of March 2022Best Novels of April 2022Best Novels of May 2022Best Novels of June 2022Best Novels of July 2022Best Novels of August 2022Best Novels of September 2022Best Novels of October 2022Best Novels of November 2022Best Novels of December 2022 NEW REALESED Horror Stories કોણ હતી એ ? - 3 Mohit Shah Fiction Stories Wings Of Friendship - Part 4 Tapan Oza Motivational Stories मदतीची मानसिकता Ankush Shingade Love Stories पागल - भाग 22 कामिनी त्रिवेदी Horror Stories द्रोहकाल जाग उठा शैतान - 32 Jaydeep Jhomte Love Stories द मिस्ड कॉल - 2 vinayak sharma Poems कविता दिनेश कुमार कीर Love Stories पहला प्यार - भाग 6 Kripa Dhaani Fiction Stories રાજર્ષિ કુમારપાલ - 36 Dhumketu Classic Stories શોધ પ્રતિશોધ.. - ભાગ 3 જાગૃતિ ઝંખના 'મીરાં'..