मेट्रो वाली लड़की। Wow Mission successful द्वारा प्रेरक कथा में हिंदी पीडीएफ

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मेट्रो वाली लड़की।

यह एक सच्ची घटना पर आधारित एक ऐसे लड़के की कहानी है ।जो अपने जिंदगी में बहुत कम सफ़र किया है। वह अपने पढ़ाई लिखाई के अलावा और कहीं नहीं जाता था, जिंदगी में उसने पहली बार दिल्ली का सफर किया। वो अपने दोस्त के साथ सफर पर निकल जाता है। उसके लिए सब कुछ एक रहस्मयी था। उसका अपने गांव से दिल्ली तक का सफर काफी चौकाने वाला था। वह पहली बार 🚆🚆 ट्रेन का सफ़र करता है। उसे बहत कुछ सीखने और देखने को मिलता है।
अब तक का जीवन में उसकी ये पहली सफर थी। जो लगभग 24 घंटों की थी। वह जब ट्रेन में होता है, तो वो जनरल डब्बा में निचे एक भी सीट खाली ना होने पर पहली बार उसने जैसे तैसे करके ट्रेन में ऊपर वाली सीट पर वो और उसका दोस्त बैठ जाते हैं। सफर यहां से शुरू हो जाती है, ट्रेन में जब पहली बार उसकी मुल्कात, किन्नरों से होती है तो वो सोच में पर जाता है। की दुनियां में ऐसे भी लोग होते हैं। क्यों कि किन्नर उससे कुछ गंदी बातें बोलकर पैसा देने को बोलती है। वो तो लड़के ने डरके मारे पैसे दे दिए। नहीं तो बगल वाले का हाल तो उससे भी बूरा हुआ ।जब वो पैसे देने से इंकार किए तो उसे,, गाली के साथ साथ अच्छी खासी धुलाई भी हो गई। इस तरह जैसे तैसे वो और उसके दोस्त दोनो ही मुसीबतों का सामना करते हुए, दिल्ली में पहुंचे। जब दिल्ली पहुंचे तो लड़का को जोर का झटका जोर से लगा क्यों कि वो वहां देखता है की बहुत सारे लड़कियां। छोटे छोटे कपड़ों में है। 😱😱🙄 वो दंग रह गया की यहां की लड़कियां ऐसे रहती है। 😱😲 उस लड़के को बुरा भी लग रहा था क्यों की वह लड़का जीवन में पहली बार अपनी गांव से निकल कर दिल्ली जैसे शहर का सफर करता है । उसके गांव की जो सभ्यता होती है। उसमे लोग छोटे कपड़ों को नहीं बल्की खूबसूरत से खूबसूरत लड़कियां भी पूरा बदन ढकने वाली जैसे कपरों को पहनती है। परन्तु दिल्ली जैसे बड़े शहर जो की काफी बड़ा है, वहां के लोग खुलके जीते हैं। और ये तो सिर्फ शुरुआत थी। जैसे ही वह दिल्ली में उतरता है। तो उसका एक दोस्त जो दिल्ली में ही पढ़ाई करता है वो वहां पहुंच जाता है।
अब तीन दोस्त हो चुके थे। अब वो लड़का अपने दिल्ली वाले दोस्त को सारी बातें बताता है कि कैसे कैसे उसने सफर करके यहां तक आया। वो दिल्ली में बहुत सारे जगहों पे घूमता है। वो अपने दोस्त के रूम पे ही रहता है। जब अपने दोस्त के रूम पे जाता है। तो वह वहां से तैयार होकर सबसे पहले,, इण्डिया गेट देखने जाता है। वहां के लोगों को देख कर वह हैरान होता रहता है। वहां के लड़के लड़कियों सब के सब बहुत फास्ट होते हैं। हर तरफ उसे कपल्स नजर आते हैं। वो अपने दोस्त से पूछता है कि क्या यहां कोई भी लड़की ऐसी नहीं रहती जो अपने गांव के लड़कियों जैसा बड़े कपरों को पहने तो उसका दोस्त बताता है। ऐसी भी लड़कियां होती है जो। छोटे कपड़ों के बजाए भारतीय संस्कृति के अनुसार कपरों को पहनती है। लेकिन ऐसी लड़कियां यहां बहुत कम मिलती है। फ़िर वो लड़का कई दिन दिल्ली में बीतता है उसे भी अब सब कुछ नॉर्मल लगने लगता है। वो प्रतिदिन मेट्रो का सफर करता।एक दिन वो मेट्रों में सफर करते हुए लोटस टैंपल देखने जा रहा था। तभी 😍 एक लड़की दिखी जो गांव के लड़कियों जैसी कपड़ा पहनी होती हैं
यह देख लड़का बहुत खुश हो जाता है। उसे वो लड़की बहुत पसंद आती है। वो उस लड़की को देखते ही देखते उसी में खो जाता है। और मेट्रो से उतरना ही भूल जाता है। उसका दोस्त ध्यान नहीं देता है। क्यों कि अब वो लड़का कई दिनों से अपने दोस्त के साथ सफर करके बहुत कुछ सीख चुका था। परंतु उसका दोस्त अब बाहर उसे ढूंढता होता है उसे समझ आ जाता है। की वो मेट्रो में ही छूट गया।। अब वो उसे ढूंढता होता है और इधर वो लड़का उसके ख्यालों में खोए खोए उस मेट्रो वाली लड़की के साथ साथ चलने लगता है। वो लड़की बहुत ही सुन्दर और दिल की अच्छी थी। उसने उसे अपने पीछे आते देख टोक दि क्या तुम मेरा पीछा कर रहे हो ? 🤔🤔 लड़का कुछ नहीं बोलता है। लड़की फिर पूछती है तब लड़का अचानक से ऊ...हुं .. मतलब नहीं नहीं... बोलकर आस पास का नजारा देखता है जैसे मानो वो अभी अभी नींद से जागा हो।
अब वो हैरान हो जाता है क्यों कि उसे किधर जाना है समझ नहीं आता है। वो अब क्या करें कुछ समझ नहीं आता है 🤔😩😳
तभी वो लड़की समझ जाती है कि ये यहां नया है और ये मुझे पसंद करता है और इसलिए मेरे पीछे पीछे आ गया 😍😌😋 लड़की पूछती है तुम अकेले आए हो तो लड़का डरता हुआ बोलता है नहीं मैं अपने दोस्त के साथ मेट्रो में था पता नहीं कब वो हमे छोरकर चला गया या हम ही खो गए हमे समझ नहीं आ रहा है कि मै यहां तक कैसे आ गया लड़की सब समझ जाती है ।
उसे अपने साथ ले जाती है और फीर अपने घर पे अपने घरवालों से मिलवाती है। और फीर उसे अपनी स्कूटी पे बैठाकर दिल्ली का सैर कराते हुए उसे उसके दोस्त के घर छोड़ देती है लड़का बहुत खुश था। लेकिन वो कुछ भी नही बोल पाया वो शर्मा रहा था। 😍🤭
अपने दिल की बात बोले तो बोले कैसे और वो कुछ भी नहीं बोल पाया लड़की चली जाती है । अब वो दिन आ गया था जब लड़का दिल्ली को बाय बाय बोलकर अपने घर को लौट रहा था। वो उसी मेट्रो में बैठ कर अपने दोस्त को बता रहा था कि काश मुझे उसकी नंबर मिल जाती। मैं कितना प्यार करता हूं उसे दिखाता। लेकिन अफसोस वो मुझे अब नहीं मिलेगी 😩🥺😭 और लड़का उदास हो कर अपने फ़ोन को देखता रहता है तभी उसे सामने वो मेट्रो वाली लड़की दिखती है। वो लड़की पहले तो उसके ही पीछे रहती है उसकी सारी बातों को सुनने के बाद वो छिप छिप के पिछे से सामने आ जाती है। 🤭🤭😍 और लड़का देख लेता है लड़का जैसे ही दिखता है वो दौड़के उसके करीब जाता है लेकिन फिर चुप चाप देखता रहता है नज़रे छिपाते हुए 😍🤭🙈🙊 और अंत में लड़की ही पूछती है। क्या हुआ घर जा रहे हों। लड़का बोलता है हां। लड़की पूछती है कुछ कहना है लड़का बोलता है हां.. न.. मतलब नहीं.... लड़की पूछती है सचमे कुछ नहीं कहना है लड़का शर्माता हुआ चुप रहता है । लड़की पूछती है । क्या बीना मेरी फोन नंबर लिए ही चले जाओगे 😟👰👸 लड़का समझ जाता है कि उसे सब कुछ मालूम है। अब वो थोड़ा थोड़ा डरते हुए उसी मेट्रों में सबके सामने perpose करता है और अपनी दिल की बात बताता है। लड़की भी उसे स्वीकार कर लेती है फीर लड़का उस मेट्रो वाली लड़की का फ़ोन नंबर ले लेता है। और दोनो के यहीं से प्यार की कहानी शुरू हो गई। 😍😍💗 दोनो रास्ते भर बात चीत किए फिर लड़का अपने गांव आकर अपनी love story अपने दोस्तों को सुनता है। मेट्रो वाली लड़की की प्रेम कहानी। 😍😍😍 दोनों आगे क्या किए ये तो आगे पता चलेगा। फिल्हाल तो दोनो की जिंदगी काफी खुशियों के साथ बीत रही है।

To doston ye real story sunkar apko kaisa laga..kya apke sath bhi aisa hua hai kabhi ?