Tanmay - In search of his Mother - 47 Swati द्वारा थ्रिलर में हिंदी पीडीएफ

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Tanmay - In search of his Mother - 47

47

फार्महाउस

 

किशन बिश्नोई अपने फैक्ट्री के सुपरवाइसर अजीत मिश्रा को बड़े धीमे लफ्ज़ो में कुछ समझा रहा है৷ तभी उमा को आती देखकर वह बात बदलते हुए फैक्ट्री की बात करने लगता है৷ जब उमा उसके पास आकर बैठ जाती है तो वह उसे कुछ समझाते हुए, वहाँ से भेज देता है৷ यह अजीत यहाँ क्यों आया था?

 

फैक्ट्री में हुए सप्लाई को लेकर कोई बात कर रहें है पर तुम इतनी परेशान क्यों लग रहीं हो?

 

शुभी की वजह से, वह बड़ी उदास और गुमसुम रहती है৷ उसे तो जैसे कोई सदमा ही लग गया है৷

 

परेशां होने वाली कौन सी बात है, अभी भाईसाहब को गए हुए, ज्यादा टाइम नहीं हुआ है, धीरे-धीरे ठीक हो जाएगी ৷

 

उसने हाँ में सिर हिलाते हुए कहा৷ अच्छा मैं चलता हूँ, मुझे कुछ काम है৷

 

जब से वसीयत खुली, तबसे किशन परेशां है৷ उस राजेन्द्र से और उम्मीद भी क्या की जा सकती थी৷ उसने चिढ़कर कहा৷ अब वह अपने कमरे में गई और उसने अपना पर्स निकालने के लिए अलमारी खोली और लॉकर भी खोलकर देखा तो उसकी सोने की ज्वेलरी गायब है৷ अरे ! कहाँ गई, हे भगवन! किसी ने चोरी तो नहीं कर ली৷

 

शिवांगी ने दोनों भाइयो की हर हरकत पर नज़र रखी हुई है৷ उसने अपनी टीम को उनकी एक-एक गतिविधि के बारे में बताने के लिए कहा है ৷ तभी उसे टेक्निकल डिपार्टमेंट से फ़ोन आता है तो वह उस रूम में जाती है৷ टेक्नीकल टीम उसे कैमरा दिखाती है तो वह देखकर सकते में आ जाती है৷ नैना राठौर उसे फार्म के अंदर जाती नज़र आ रही है৷ यह फुटेज नैना के गायब होने से पहले का है৷

 

नैना इसके फार्म में क्या कर रही है৷ वह सोचते हुए बोली৷

 

दोनों बच्चे अभिषेक के घर के बाहर खड़े है, दोनों ने गार्ड को अपना परिचय दिया तो उसने अभिषेक से बात करते हुए, उन दोनों को अंदर भेज दिया৷ अभिषेक उनको देखकर खुश होते हुए बोला,

 

बच्चो ! तुमने तकलीफ क्यों की৷ मुझे बुला लिया होता৷ वैसे मेरे घर का पता किसने बताया?

 

अंकल हम आपको परेशां नहीं करना चाहते थें৷ सोचा खुद ही आकर आपसे मिल लें मौर आप उस दिन खुद ही पापा को अपना पता बता रहे थें৷

 

तभी घर का एक सर्वेंट फ्रूट ड्रिंक और कुछ स्नैक्स रखकर चला गया৷ लो, तुम्हारे लिए मंगवाएं है৷ खाओ! उसने खाते हुए बताया, अंकल हमें चिठ्ठी नहीं मिली, हमने बहुत ढूंढा৷


कोई बात नहीं, मुझे उसकी अब ज़रूरत भी नहीं है৷ यह सुनकर दोनों एक दूसरे के मुँह की तरफ देखने लगे৷ अभी वह आगे कुछ बोलता, इससे पहले अभिषेक का फ़ोन आ गया৷ उसने एक कोने 'में जाकर फ़ोन सुना और फिर दोनों से बोला, मुझे कही जाना है৷ तुम यह खाकर जा सकते हों, उसने अपने घर के सर्वेंट को बुलाया और उनका ध्यान रखने को कहा৷ खाते हुए तन्मय ने राघव को आँखों ही आँखों में कोई बात समझाई৷

 

शिवांगी ने वापिस आने की फुटेज देखी तो वह अभिषेक के साथ बाहर निकलती दिखाई दीं৷ रुद्राक्ष के स्टेशन वापिस आते ही वह उसके पास गई और उसे वह फुटेज दिखाई৷ रुद्राक्ष ने फुटेज को गौर से देखा और गंभीर होते हुए बोला,


शिवांगी, हमें यह तो पता चल गया है कि वह किशन बिश्नोई का रिश्तेदार है और नैना का दोस्त है ৷ अगर हम उसे पकड़ भी लेते है तो इसे यह साबित नहीं होता कि नैना की किडनेपिंग में उसका हाथ है৷ वह यह कहकर बच जायेगा कि वह तो नैना के साथ घूमता हुआ अपने भाई के फार्महाउस आया था৷
वैसे सर क़त्ल वाली रात से पहले भी राजेन्द्र बिश्नोई इस फार्म हाउस आया था,

अच्छा ! उस दिन की फुटेज मिली?


जी सर, उस दिन उमा और किशन बिश्नोई भी उसके आने से पहले आए थें, फ़िर थोड़ी देर बाद वह गुस्से में बाहर निकला৷


इसका मतलब इसने इन दोनों को देख लिया होगा और फ़िर कुछ दिनों बाद अपनी वसीयत बदल दी৷ अब तो साफ़ जाहिर है कि उमा और किशना के अफेयर का राजेन्द्र को पता चला गया था৷ मगर इससे कुछ साबित नहीं होता৷


इस फार्म हाउस में कौन-कौन आता था?


सर इस बीस दिन में यहाँ सबसे ज़्यादा किशन, उमा और इनकी फैक्टरी का सुपरवाइजर अजीत आया है৷ मर्डर के पांच दिन बाद कैमरा ठीक होने पर जो फुटेज मिली है, उसमे भी ये तीनो ही सबसे ज़्यादा नज़र आए हैं৷ तभी रूपम भागता कमरे में दाखिल हुआ৷

 

सर उमा बिश्नोई ने गहने चोरी होने की एफ.आई.आर. दर्ज़ कराई है৷

 

तुम इंस्पेक्टर श्याम को वहाँ पर भेज दो৷ उसने चिढ़ते हुए कहा৷ तभी हरिलाल बोल पड़ा, सर आठ लाख के गहने चोरी हुए हैं৷


सोना तो महँगा ही है৷ उसने स्क्रीन की तरफ देखते हुए कहा৷


राघव ने पास खड़े सर्वेंट को बोला, मुझे थोड़ा और जूस पीना है৷ वह यह सुनकर लेने चला गया৷ उसके जाते ही तन्मय ने उसे समझाया कि उसे क्या करना है৷ अब उसने हर कमरे को देखन शुरू किया৷ मगर उसे कही भी वो लिफाफा नज़र नहीं आया৷ अब उसकी नज़र एक कमरे पर गई जो लॉक है৷ वह जल्दी से राघव के पास पहुँचा, जिसने नौकर को टॉयलेट ले जाने के बहाने उसमे उसे बंद कर दिया था৷ वह अंदर से चिल्ला रहा है कि मुझे बाहर निकालो৷

 

तनु, मैंने इसे कहा कि तू टॉयलेट में गिर गया है और यहाँ लाकर बंद कर दिया৷ भाई, तुझे यही तो समझाया था৷

 

पर अब क्या करना है, उस बंद कमरे में ज़रूर कुछ है और उसकी चाभी इसके पास होगी৷

 

उसने उससे कहा, भैया हम आपको बाहर निकाल देंगे, अगर आप हमें उस बंद कमरे की चाभी दे दें तो???!!!

 

तुम दोनों दफा हो जाओ, यहाँ से৷ मैंने साहब को फ़ोन कर दिया है৷ वो यहाँ आएंगे, तब तुम्हे पता चलेगा৷ यह सुनकर दोनों डर गए৷

 

मगर तन्मय के खुद को सँभालते हुए कहा, हम भी पुलिस को फ़ोन कर देंग और कहेंगे कि मेरी मम्मी की किडनेपिंग में आपका हाथ है৷

 

क्या बकवास कर रहें हो ৷ मैं तुम्हारी मुम्मी को नहीं जानता৷

 

ठीक है, रघु पुलिस को फ़ोन करते है৷

 

तुम्हें क्या चाहिए? उसने घबराते हुए पूछा৷

 

चाभी दो, टाइम नहीं है৷ ड्राइंग रूम में रखे टेबल के ड्रावर में है৷ तन्मय जल्दी से वहां से गया और चाभी लेकर रूम खोल दिया और अंदर अपनी मम्मी की फोटो देखकर हैरान हो गया৷

 

तनु ये सब क्या है,

 

पता नहीं,

 

तभी उसकी नज़रे वहाँ टेबल पर रखे, लिफाफे पर गई৷ उसने झट से उसे उठाया और दोनों बाहर की ओर भागे৷ गार्ड ने उन्हें पकड़ना भी चाहा ৷ मगर वह दोनों भागते हुए सड़क पर आ गए৷ इससे पहले वो और आगे जाते उनके सामने अभिषेक की गाड़ी आ गई৷