कातिल हसीना - भाग 8 DINESH DIVAKAR द्वारा डरावनी कहानी में हिंदी पीडीएफ

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कातिल हसीना - भाग 8

"अरे आपको यकीन नहीं हो रहा मैं आपकी सोनम ही हूं यकीन नही है तो रुकी है मैं आपको वीडियो कॉल करती हूं, विडियो काल उठाइए" सोनम बोली।

यह सुनकर मनोज बड़बड़ाता हुआ सोनम का कॉल रिसीव किया तो वह हैरान हो गया वीडियो कॉल पर वही लड़की थी जिसकी फोटो उसने देखा था वह सच में वही थीं वह सोनम ही थी।

"यह कैसे हो सकता हैं आप सच में हों... लेकिन यह कैसे हो सकता है यह तो विनोद मुझसे प्रैंक कर रहा था !" मनोज को कुछ समझ नहीं आ रहा था।

"अरे भइया आपके मज़े ले रहे थे" सोनम बोली।

"भ‌इया कौन भ‌इया ?" मनोज हैरान होता हुआ बोला।

"दरअसल हुआ यूं था कि विनोद भ‌इया जो आपके दोस्त है वह मेरे मामा जी का बेटा है उसी से मैंने आपका नंबर ली थी और उन्हीं की वजह से आपके बारे में जान पाई.... मैं आपकी ही सोनम हूं जान, वो‌ तो मैं मोबाइल भुल ग‌ई थी तब भाई ने आपको परेशान करने के लिए ऐसा किया वह नंबर अब बंद कर दी हूं यह नंबर सेव कर लिजिए.... प्लीज जान शांत हो जाइए ना" सोनम ने मनोज को सारी बात बताते हुए बोली।

यह सुनकर मनोज को काफी राहत मिली क्योंकि वह सोनम से बहुत ज्यादा प्यार करने लगा था लेकिन गुस्सा भी आया क्यूंकि उस विनोद की वजह से उसे सदमा भी लगा था। खैर सोनम ने मनोज को मना लिया और उनकी बातें होती रहीं।

दोनों अब एक दूसरे से बेइंतहा प्यार करने लगें थे रोज जहां समय मिलता काल्स पर बातें होती रहती कुछ दिन बाद वह वापस रायपुर आ चुका था इस बात से सोनम बहुत ज्यादा खुश थी आखिरकार वह अपने सच्चे प्यार से पहली बार आमने सामने मिलेगी वहीं मनोज भी सोनम से मिलने को बहुत एक्साइटेड था।

पहले दिन तो आफिस में ही गुजर गया वही उसने एक दोस्त राहुल से सोनम के बारे में बताया था लेकिन जब राहुल नहीं माना तो प्रूफ के तौर पर एक विडियो काल की‌ रिकोर्डिंग उसे दिखाने का सोचा लेकिन तभी बाॅस वहां आकर उन्हें डांटने लगें।

तो दोनों काम पर लग ग‌ए मनोज ने राहुल से कहा की वह उसे एक रिकोर्डिंग भेज देगा जिससे उसे यकीन हो जाए लेकिन काम की‌ वजह से वह भूल गया वही अपने किराए के रूम में आने के बाद उसे याद आया तो उसने राहुल को वह विडियो भेज दिया तभी सोनम का फोन आया।

"सुनिए ना अब और इंतज़ार नहीं होता मुझसे, मुझे आज ही आपसे मिलना है प्लीज जान आइए ना मैं इंतजार करूंगी आपका" सोनम ने प्यार से कहा।

"मैं भी आपसे मिलने के लिए बेकरार हूं बेबी बस थोड़ी देर और इंतजार कर लिजिए मैं अपना काम निपटा कर आता हूं" मनोज बोला।

"ठीक है फिर 11 बजें उसी ब्रिज के पास मिलते हैं मैं इंतजार करूंगी आपका जल्दी आइएगा" सोनम बोली।

"जरूर आऊंगा बेबी" यह कहकर मनोज ने काल कट कर दी और जल्दी जल्दी अपना काम खत्म करने लगा।

आखिरकार वह समय भी आ गया जब वे दोनों मिलेंगे। मनोज जल्दी से तैयार होकर तेज कदमों से उस ब्रिज की ओर निकल गया वह आज काफी हैंडसम लग रहा था। कुछ ही देर में वह उस ब्रिज के पास पहुंच गया। रात के 11 बज रहे थे वहां कोई दिखाई नहीं दे रहा था तभी मनोज को दूर से एक परछाईं चलती‌ हु‌ई उसके पास आते हुए दिखाई दी।

जब रौशनी उसके चेहरे पर पड़ी तो मनोज के चहरे पर मुस्कान फैल गई वह सोनम थी क्या दिख रही थी वो लाल रंग लहंगे जो उस पर बहुत ज्यादा सूट कर रहा था... होठों पर हल्का लाल रंग का लिपिस्टिक जो गुलाब के पडूंगी जैसे लग रहे थे..... आंखों पर हल्का काजल जो सुरम‌ई सी आंखों को और ज्यादा कातिल बना रहीं थी.... उसके गोरे गोरे गाल जिसमें डिंपल हाय... अगर वह प्यार से मुस्कुरा दे तो सामने वाला वही घायल हो जाए।

®®®Ꭰɪɴᴇꜱʜ Ꭰɪᴠᴀᴋᴀʀ"Ᏼᴜɴɴʏ"✍️