इश्क दा मारा - 9 shama parveen द्वारा प्रेम कथाएँ में हिंदी पीडीएफ

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इश्क दा मारा - 9

तभी राजीव अपनी कार में से निकलता है और गीतिका की कार के पास जाता हैं और उसे कार से बाहर निकलने को बोलता है।

गीतिका कार से बाहर आती हैं और बोलती है, "ये क्या गुंडा गर्दी है तुम मेरी कार के सामने क्यो आए हो"।

तब राजीव बोलता है, "मुझे तुम से कुछ बात करनी है"।

तब गितिका बोलती है, "मगर मुझे तुम से कोई बात नही करनी है"।

तब राजीव बोलता है, "गीतिका मै तुम से प्यार से बात कर रहा हूं, चलो मेरे साथ "।

तब गितिका बोलती है, "मेरे साथ जबरदस्ती करने की कोशिश भी मत करना, वरना खीच कर एक थप्पड़ मारूंगी "।

ये सुनते ही राजीव को गुस्सा आ जाता हैं और वो बोलता है, "तुम मुझे थप्पड़ मारोगी, तुम्हारी इतनी हिम्मत "।

तब गीतिका बोलती है, "हिम्मत की बात तो मत ही करना मुझ से, क्योकी मैं कोई डरी सहमी हुई लड़की नही हू जो तुम्हारी बातो से डर जाएगी, और हा अगर अपनी इज्जत प्यारी है तो चुप चाप से यहां से निकल जाओ वरना इन सब के सामने तुम्हे थप्पड़ मारूंगी "।

राजीव को बहुत ही गुस्सा आ रहा होता है मगर वो चुप चाप वहा से चला जाता हैं।

तक काका गीतिका से बोलते हैं, "बिटिया तुम क्यो इन जैसे लोगो के मुंह लगती हो "।

तब गीतिका बोलती है, "आप देख रहे हैं ना काका की डैड किस तरह मेरी शादी इस गुंडे से करवाना चाह रहे हैं "।

तब काका बोलते हैं, "बेटा पसन्द तो ये मुझे भी नही है, मगर मैं क्या करू, नौकर हू, कुछ बोल भी नही सकता हूं "।

उसके बाद गीतिका कार में बैठ जाती है।

यूवी के घर में शादी की तैयारी चल रही होती है।

गीतिका घर पहुंचते ही सीधा अपने कमरे मे चली जाती है। तभी गीतिका की मॉम बोलती है, "सच में ये लड़की बहुत ही बदतमीज होती जा रही है, देखो कैसे बिना मिले ही अपने कमरे मे चली गई "।

तब गीतिका की भाभी बोलती है, "हम बिल्कुल सही कर रहे हैं, सही टाईम पर इसकी शादी करके "।

रात होती हैं.............

गीतिका अपने कमरे में बिस्तर पर लेटी रहती हैं और सोच रही होती है कि मैने क्या सोचा था और क्या हो रहा है, आखिर मॉम और डैड अपने फायदे के चक्कर में मेरी लाइफ केसे बर्बाद कर सकते हैं।

उधर यूवी अपने काम पर रहता है। तभी एक गुंडा उससे बोलता है, "भाई आप तो किसी भी तरह से गुंडे नही लगते हो, बल्की फिल्मों के हीरो जैसे लगते हो"।

तब यूवी बोलता है, "बस कर पगले रुलाएगा क्या, ये बात मेरे सामने तो बोल दी है मगर मेरे पापा के सामने कभी भी मत बोलना, वरना वो तुझे जान से मार देंगे"।

तीन दिन बाद..........

आज यश की शादी का दिन होता है और यश आज बहुत ही दुखी होता है। मगर उसके पापा बहुत ही खुश होते है और खुशी में बहुत नाच रहे होते हैं। यूवी भी आ जाता हैं और अपने पापा के साथ नाचने लगता है।

तब यूवी की मां बोलती है, "आज नाचते ही रहेंगे या फिर बारात ले कर जायेंगे भी"।

तब यूवी के पापा बोलते हैं, "चले जायेंगे, इतनी जल्दी भी क्या है, तुम्हे बडी ही जल्दी हो रही है बहू के आने की"।

उसके बाद वो बारात ले कर चले जाते है।

उधर गीतिका अपनी पढ़ाई कर रही होती है। तभी उसकी भाभी कमरे मे आती हैं और बोलती है, "क्यो अपनी आंखे खराब कर रही हो इनके पीछे, अब इन सब का कोई फायदा नही है.................