The Author Neerja Pandey फॉलो Current Read पिशाच..! - 11 - ला लोराना ... By Neerja Pandey हिंदी डरावनी कहानी Share Facebook Twitter Whatsapp Featured Books महाभारत की कहानी - भाग 16 महाभारत की कहानी - भाग-१६ युधिष्ठिर का राज्याभिषेक तथा जातुग... उनके चेहरे की ये... सवालो को जरा थामो, जवाबो मे दरारे है सभी कुछ खुदरा सा है छलन... छावां - भाग 3 बादशाह के कई सरदार इस छोटे मनसबदार पर मोहित थे। शम्भुराज शिव... वीर हनुमान साधना कलयुग में हनुमान जी एक जागृत देव हैं । इस युग में भी बहुत सा... अपराध ही अपराध - भाग 33 अध्याय 33 पिछला सारांश: अनाथालय में उस बच्चों को भेज... श्रेणी लघुकथा आध्यात्मिक कथा फिक्शन कहानी प्रेरक कथा क्लासिक कहानियां बाल कथाएँ हास्य कथाएं पत्रिका कविता यात्रा विशेष महिला विशेष नाटक प्रेम कथाएँ जासूसी कहानी सामाजिक कहानियां रोमांचक कहानियाँ मानवीय विज्ञान मनोविज्ञान स्वास्थ्य जीवनी पकाने की विधि पत्र डरावनी कहानी फिल्म समीक्षा पौराणिक कथा पुस्तक समीक्षाएं थ्रिलर कल्पित-विज्ञान व्यापार खेल जानवरों ज्योतिष शास्त्र विज्ञान कुछ भी क्राइम कहानी उपन्यास Neerja Pandey द्वारा हिंदी डरावनी कहानी कुल प्रकरण : 12 शेयर करे पिशाच..! - 11 - ला लोराना ... (17) 2.6k 9.5k मैक्सिको के उत्तरी भाग का बेहद खूबसूरत शहर है मजतलान । पहाड़ और नदी से घिरा ये शहर हर तरह से खुशहाल था। इसी शहर में एक बेहद खूबसूरत रहती थी जिसका नाम मारिया था। मारिया जितनी खूबूसूरत थी उतनी ही भोली थी । मासूम मारिया जल्दी ही किसी की भी बातों पर यकीन कर लेती थी। वो जब भी बाहर घूमने निकलती अपना पसंदीदा सफेद गाउन ही पहनती । उस गाउन में वो इतनी ज्यादा खूबसूरत लगती की जो भी उसे देखता देखता ही रह जाता । उसकी निगाहें मारिया के चेहरे से नही हटती।एक दिन मारिया अपने उसी गाउन में बाजार घूमने गई। वहां लोजानो नाम के युवक की नजर मारिया पर पड़ी । वो मारिया की खूबसूरती देख कर देखता ही रह गया। वो किसी भी तरह मारिया से शादी कर लेना चाहता। लोजनो भी एक आकर्षक युवक था। मारिया भी पहली ही नज़र में ही उसे दिल दे बैठी। बिना किसी की परवाह किए दोनो ने शादी कर ली । मारिया लोजनों के साथ बेहद खुश थी। उसके दो बच्चे हुए । जिनको बड़े ही प्यार से मिल कर दोनो ने पालना शुरू किया। मारिया की जिंदगी में खुशियां ही खुशियां थी । लोजानो उसका हर तरह से बहुत ख्याल रखता था।अभी बच्चे छोटे छोटे ही थे की किसी काम का हवाला दे कर लोजानो ने मारिया से कहा की वो दूसरे शहर जा रहा है जल्दी ही वापस आ जायेगा। मारिया ने पहले तो मना किया । पर जब वो नही माना तो जल्दी वापस आने का वादा लेकर मारिया ने उसे जाने को इजाजत दे दी। लोजानो चला गया। मारिया बच्चों के साथ अकेली रह गई। वो हर पल उसे याद करती। उसे यकीन था की काम खत्म होते ही लोजानो वापस उसके पास आ जायेगा। पर वादे के अनुसार लोजानो नही आया जल्दी तो क्या काफी दिन बीतने पर भी वापस नही आया। मारिया शिद्दत से उसे याद करती। बच्चे भी बार बार अपने डैड के बारे में पूछते। पर मारिया कोई जवाब नही दे पाती । वो बस बच्चों को आश्वासन देती की जल्दी ही उनके डैड वापस आ जायेंगे। लोजानो के जाने से मारिया इतनी दुखी रहती थी की वो अपना बिल्कुल भी ध्यान नही रखती थी। ना ठीक से खाती पीती ना ही सजती संवरती। वो इतनी ज्यादा बदल गई की उसे अचानक देख कर किसी को यकीन नही होता की ये वही खूबसूरत मारिया है कभी जिसकी सुंदरता की मिसाल दी जाती थी। ऐसे ही अस्त व्यस्त हालत में एक शाम नदी के किनारे वह अपने दोनो बच्चो के साथ घूम रही थी। वो लोजानो को याद ही कर रही थी की हो सकता है वो उसे दिख जाए। तभी उसकी निगाह सामने हाथ में हाथ डाले एक जोड़े पर पड़ी। जो एक घोड़ा गाड़ी में सवार हो बस जाने ही वाला था। वो तब चौक गई जब देखा की ये युवक तो उसका पति लोजानो ही है । बच्चों को साथ ले लगभग दौड़ती हुई वो लोजानो के पास गई । लोजानो के हाथ को उस युवती के हाथ से अलग कर अपने हाथों में ले वो रोने लगी और गिड़गिड़ाती हुई बोली,"ओह! लोजानो तुम कहां चले गए थे ? देखो तुम्हारे बच्चे तुम्हे हर पल याद करते है।"ये कह कर उसने दोनों बच्चों को लोजानो के सामने कर दिया।बच्चे भी अपने पिता को यूं दूसरी महिला के साथ देख अचंभित थे।एक बेरुखी की निगाह मारिया पर डाल लोजानो ने बच्चो को परे धकेल दिया और मारिया को नफरत से देखता हुआ उस युवती हाथ पकड़ घोड़ागाड़ी पे सवार हो चला गया।अपने इस अपमान को मारिया बौखला गई। इस बौखलाहट के बीच ही बच्चे बार बार पूछने लगे,"मां डैड कहां चले गए? "वो इस सवाल से इतना बौखला गई की अपना दिमागी संतुलन खो बैठी। लोजानो बच्चो से बहुत प्यार करता था। उससे बदला लेने की नियत से की वो बच्चो को मरेगी तो लोजानो वापस आ जायेगा। मारिया दोनों मासूम बच्ची को बेतहाशा पीटने लगी । इसी आवेश में वो जब मार कर थक गई पर लोजानो वापस नही आया तो उन्हे नदी के पानी में डुबाने लगी। वो लोजानो से बदला लेने के आवेश में इतना खो गई की कब बच्चों की मौत हो गई उसे पता ही नही चला। जब वो वापस सामान्य हुई तो बच्चो को पानी से निकालने लगी। तभी पानी का तेज बहाव आया और दोनो बच्चों को बहा ले गया। मारिया उन्हे पकड़ने की असफल कोशिश करने लगी। तब तक बच्चे उसकी पहुंच से दूर चले गए। वो बच्चो को बहुत प्यार करती थी । उनके बिना जीना संभव नही था उसके लिए । जो कुछ उसके हाथो हुआ वो बस लोजानो से बदला लेने के लिए हुआ। उनके याद में भटकते हुए मारिया ने भी अपने प्राण त्याग दिए। कुछ समय बाद एक बच्चा नदी किनारे खेलने गया। उसने उह एक महिला को सफेद गाउन पहने हुए देखा। वो बड़ी ही मार्मिक आवाज में रो रही थी उसका रोना सुन कर ऐसा लग रहा था जैसे सारी कायनात उसके साथ रो रही थी। वो बच्चा उसकी ओर खिंचता चला गया। पास जाकर जैसे ही उसने ये पूछने के लिए की वो क्यों रो रही है? उसके चेहरे को देखा डर के मारे बेहोश हो गया।जब उस बच्चे के घर वाले उसे ढूढते हुए नदी के किनारे आए तो वो बेसुध मिला। कुछ समय बाद जब उसे होश आया तो उसने जो कुछ बताया उससे सभी सहम गए। बच्चे ने बताया उसकी डरावनी आंखों से खून के आंसू निकल रहे थे जो किसी के भी होश उड़ाने के लिए काफी था। उसके बाद से जब भी कोई रात में नदी किनारे जाता उसे मारिया की आत्मा चीरने वाली रूदन सुनाई देती। अब सभी ने उस घटना के बाद खुद वो बच्चो को नदी किनारे जाने से मना कर दिया। अब मारिया का नाम पद गया है "ला लोराना" जिसका स्पेनिश में अर्थ होता है "रोती हुई महिला" आगे पढ़े अगले भाग में 🙏🙏🙏 ‹ पिछला प्रकरणपिशाच..! - 10 - पहाड़ी राक्षस ... › अगला प्रकरण पिशाच..! - 12 - डेविल की दुनिया Download Our App