Shyambabu And SeX - 44 Swati द्वारा नाटक में हिंदी पीडीएफ

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Shyambabu And SeX - 44

44

बहन

 

श्याम ने  देखा कि कुसुम का मोटापा उसके पूरे बदन पर हावी है। “श्याम जी कॉलेज में  किसी को पता नहीं चलना चाहिए कि हमारे बीच कुछ हुआ है, हम दोनों की नौकरी का सवाल  है।“ “आप बेफिक्र  हो जाए। मैं तो खुद कभी मरकर भी अपना मुँह नहीं खोलूँगा। यह सुनकर वह मुस्कुराने लगी और श्याम के गाल खींचते हुए बोली,  “आप कितने अच्छे हैं,”  अब उसने एक गिलास और व्हिस्की का पी लिया।

 

इमरती मनोहर के घर में  उसके बिस्तर पर उसकी बाहों में बैठी है,  मनोहर उसके बालो में हाथ फेरता हुआ कहता है,

 

 

इमरती यह कब तक चलेगा??

 

जब तक चल सकता है। 

 

एक दिन तुम्हारे मोटे को पता चल गया तो ???

 

वो दिमाग से भी मोटा है, उसे कुछ नहीं पता चलेंगा।

 

लेकिन मैं तुम्हे सिर्फ दो घंटे के लिए नहीं,  पूरे जीवन के लिए पाना चाहता हूँ।

 

उस मोटे के साथ तो हम भी नहीं रहना चाहते,  मगर क्या करें , कोई रास्ता भी नहीं है।

 

उसे छोड़ दो। अब इमरती  मनोहर का मुँह ताकने लगी।

 

 

कुसुम जी इतना भी मत पिए कि आपका घर लौटना मुश्किल हो जाए। “मैं मैनेज कर लूंगी, आप परेशां मत हो ।“ उसने अब व्हिस्की का गिलास नीचे रखा और श्याम के बदन पर  गुदगुदी करने लगी। वह भी आँखे  बंद किए उसके स्पर्श को महसूस कर रहा है,  आज  वह चांदनी माधुरी और तान्या सब लड़कियों  को भुला  देगा और सिर्फ कुसुम जी के आगोश में खो जायेगा। अब कुसुम ने अपने लेडीज़ इनवेअर उतारे और श्याम को भी अपने बॉक्सर उतारने के लिए कहा।

 

इमरती ने मनोहर से पूछा,  “कल को  तुम्हारे माँ बापू ने हमे न अपनाया तो??”

 

न अपनाएं,  मुझे किसी की कोई परवाह नहीं है। तुम बस इस रिश्ते से निकलने की सोचो। मैं कौन सा दोबारा गॉंव जा रहा हूँ,  जो मुझे  उनकी हाँ या ना से फर्क पड़ेगा ।

 

ठीक है, अगर तुम मेरे साथ हो तो मैं कुछ चक्कर चलाती हूँ। अब उसने मनोहर के होंठ चूम लिए  फिर मनोहर ने भी उसके बदन को चूमना कर दिया। 

 

कुसुम ने श्याम की टांगे ठीक करते हुए कहा, “ श्याम जी इसे ऐसे रखिए,  श्याम आँखे बंद किए,  कुसुम  की हर कही बात को ध्यान से सुनता हुआ,  वैसे ही करने लगा और वह अब बड़े आराम से उसके ऊपर सवार होने लगी कि तभी उसकी नज़र अलमारी पर रखी एक फोटो पर गई तो वह हैरान हो गई। अब वह, वो फोटो अलमारी के उपर से उठाने के लिए बिस्तर से उतर गई। अब श्याम ने भी अपनी आँख खोल ली। उस फोटो को लगातार दो मिनट तक देखती रही , सारा का सारा  व्हिस्की का नशा उतर गया।  उसे उस तस्वीर को एकटक देखते हुए श्याम ने देखा तो उससे रहा न गया,  उसने अब पूछ ही लिया,

 

क्या हुआ कुसुम जी? उसने वो फोटो श्याम को दिखाते हुए कहा,  श्याम जी यह लड़की कौन है?

 

“अच्छा यह? यह तो हमारे परिवार की फोटो है, यह मेरी अम्मा,  मेरा बापू यह मेरी बड़ी बहन, नंदनी और यह छोटी बहन महक और यह मैं ।“ आप इसे छोड़िए और मेरे पास आए, उसने फोटो हाथ से लेते हुए कहा।

 

अब यह श्याम को देखकर इतनी ज़ोर से चिल्लाई कि  वो भी हैरान हो गया। उसने उसका मुँह बंद करते हुए कहा, “ चुप करिये,  पड़ोसी सुन लेगा। अब वह अपने कपड़े पहनने लगी तो श्याम भी अपने कपड़े पहनते हुए हैरान होकर पूछने लगा, “ कुसुम जी, क्या हुआ?”  मैं फोटो यहाँ से हटा देता हूँ। अब वह रोने लगी,  “उससे क्या होगा? क्या वो मेरे पति की ज़िन्दगी से हट जाएगी!!!” “क्या मतलब मैं समझा नहीं, आपकी बहन महक के साथ मेरे पति का चक्कर है।“ अब उसके हाथ से अपनी पैंट छूट गई।