रिश्ता - एक उलझन jigar bundela द्वारा नाटक में हिंदी पीडीएफ

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रिश्ता - एक उलझन

रिश्ता - एक उलझन
यह रचना काल्पनिक है , इसे किसी भी जीवित या मृत व्यक्ति के साथ कोई संबंध नहीं है और अगर ऐसा जान पड़ता है तो वह एक संयोग मात्र है | इस रचना का किसी भी ऑडियो विजुअल माध्यम में उपयोग करने से पहले लेखक की अनुमति लेना जरूरी है , यह रचना स्क्रीन राइटर एसोसिएशन में नामांकित है , लेखक स्क्रीन राइटर एसोसिएशन के सदस्य है अगर कोई भी बिना अनुमति के इसका प्रयोग या उपयोग करेंगे तो उनके ऊपर कानूनी कार्यवाही की जाएगी | धन्यवाद |

सिन :1

( खिड़की में से ब्लू लाइट आती है टेबल के पास आदित्य बैठे-बैठे कुछ लिख रहा है )

आदित्य : डियर अनन्या क्या लिखूं ? क्या कहूं ? क्या नहीं ? कुछ समझ में आता नहीं , पास होते हैं हम पर साथ नहीं | कई सवालों के जवाब जिंदगी देती नहीं और जब उस सवालों के जवाब तुम्हें मिल जाते हैं तो जिंदगी अपने सवाल बदल देती है , कहते हैं जिंदगी पहाड़ों पर बने रास्तों की तरह होती है, हर मोड़ के बाद आगे रास्ता कैसा होगा, कैसी करवट लेगा, क्या नया दिखाएगी? यह आप कभी नहीं जान पायेंगे और हमारी जिंदगी , सॉरी हमारी नहीं ,मेरी जिंदगी का रास्ता एक डेड एंड पर आकर रुक गया है | चाहते हुए भी मैं वापस पलट नहीं सकता | कभी-कभी तुम पूछती हो ना कि मैं तुम्हें कितना चाहता हूं ? और मैं कहता हूं चाहत की कोई सीमा नहीं होती ,चाहत को आप 1 लीटर 2 लीटर 5 किलो 10 किलो में नहीं बता सकते |

फेड आउट

मैं तुम्हें बहुत चाहता हूं | अपनी जान से भी ज्यादा चाहता हूं लेकिन बहुत कुछ बदल गया है, जिंदगी के अब वह मायने नहीं रहे |

फ्लैशबैक

अनाउंसमेंट

सीन : 2

सेट : स्टेज लेफ्ट डोर ,राइट डोर ,विंडो चेयर राइट ,सेंटर में बेडरूम डोर, स्टेज लेफ्ट में एक और दूर किचन, दो चेयर्स टी टेबल सेंटर में
( आदित्य बेडरूम में से आता है और कुर्सी पर आकर वापस सो जाता है अनन्या बेडरूम में से आती है और आदित्य को सोते हुए देखकर कहती है )
अनन्या : तुम फिर यहां आकर सो गए? उठो ऑफिस जाने को लेट हो जाएगा |
आदित्य : 5 मिनट सोने दो ना |
अनन्या : 5 मिनट 5 मिनट करते-करते 20 मिनट हो चुकी है ,ऑफिस लेट पहुंचोगे तो बॉस फिर से डांटेगे |
आदित्य : बॉस को मारो गोली , अभी तो मैं अपने घर के बॉस की खिदमत कर रहा हूं |
अनन्या : उठो ना.... उठो |
(आदित्य हाथ देकर )
आदित्य: उठाओ ना |
(अनन्या हाथ देती है आदित्य उसे खींच लेता है )
अनन्या : आदि छोड़ो.... छोड़ो..... छोड़ो मुझे टिफिन तैयार करना है, तुम्हारे चक्कर में मैं भी लेट हो जाऊंगी ऑफिस के लिए |
आदित्य : नहीं छोडूंगा जाओ
अनन्या : अरे मेरी दाल जल जाएगी |
आदित्य : जलने दो
अनन्या : हमें देरी हो जाएगी
आदित्य : होने दो
अनन्या : ( प्यार से ) जाने दो ना
आदित्य : नहीं
अनन्या : अच्छा नहीं छोड़ोगे ?
(अनन्या उसे गुदगुदी करती है ,अनन्या भागती है आदित्य उसे पकड़ने भागता है और पकड़ लेता है) आदि छोड़ो , तुम्हें याद है ना आज तुम्हारा प्रेजेंटेशन है | ( आदित्य उसे छोड़ देता है )
आदित्य : अरे मर गया वह तो अधूरा रह गया, सब कुछ तुम्हारी वजह से
अनन्या : मेरी वजह से ?
आदित्य : हां कल मैं जब प्रेजेंटेशन बनाने बैठा , तब वहां ट्रांसपेरेंट गाउन पहनकर आनेकी तुम्हें क्या जरूरत थी ?
अनन्या : वो तो मैं नया लाई थी, तो तुम्हें दिखाने के लिए पहना था
आदित्य : उसी गाउन की वजह से मेरा प्रजेंटेशन अधूरा रह गया कल |
अनन्या : तो उसमें गाउन का क्या दोष ?
आदित्य : गाउन का नहीं तुम्हारा (उसको पकड़ता है )
अनन्या : अब क्या करोगे ?
आदित्य : वही जो कल किया था |
अनन्या : मैं प्रेजेंटेशन की बात कर रही हूं |
आदित्य : मीटिंग पोस्ट लंच होगी तो वह मैं ऑफिस में खत्म कर लूंगा चलो ना अंदर |
अनन्या : गर्म पानी रखा हुआ है ठंडा हो जाएगा, जाओ नहा लो |
आदित्य : मेरे इमोशंस पर तो ठंडा पानी फेर दिया |( आदित्य बेडरूम में जाता है वापस बाहर आता है )
आदित्य : चलो ना साथ में नहाते हैं
अनन्या : जाओ .....ओ
(किचन की और उसका मुंह था वह किचन की ओर जाती है आदित्य पीछे से आता है उठा लेता है और बेडरूम में चला जाता है)

सिन -3

(शाम का वक्त - अनन्या किचन में है और बैल बजती है, तीन-चार बार बेल बजती है अनन्या दरवाजा खोलना जाती है आदित्य चिड़चिड़ा होकर घर में आता है )
आदित्य : क्या कर रही थी ? कब से डोर बेल बजा रहा हूं, इतनी देर लगती है दरवाजा खोलने में ?
अनन्या : वो मैं सब्जी.....
आदित्य : जल जाती ना? जलने दो | कभी तुम्हारी दाल जल जाती है, तो कभी सब्जी , यहां मेरी जिंदगी जल रही है उसका कुछ नहीं ?
( अनन्या पानी लेने जाती है आदित्य जूते उतरता है अनन्या पानी लेकर आती है )
अनन्या : क्या हुआ ? कैसा रहा प्रजेंटेशन ?
आदित्य : ठीक चाय दो |
अनन्या : तुम हाथ मुंह धो लो |
आदित्य : मुझे पता है , ऑफिस से आते ही हाथ मुंह धो लेने चाहिए, तुम मुझे चाय दो |
( अनन्या अंदर जाती है आदित्य उसे रोक लेता है )
आदित्य : सॉरी
(अनन्या चाय लेने जाती है अनन्या चाय लेकर आती है )
अनन्या : it's Alright. क्या हुआ ? आज फिर से बॉस ने कुछ कहा ?
आदित्य : कहा नहीं किया | आज उसने मेरे जूनियर मिस्टर मेहता को प्रमोशन दे दिया, मैं इतने सालों से मरवा रहा हूं
अनन्या : आदि !
आदित्य : तो क्या करूं? मेरी sincerity, मेरे काम की कोई कदर ही नहीं है उस खडूस मोटे को|
अनन्या : कुछ तो होगा उस मेहता में ,जो बॉस ने उसको प्रमोशन दिया |
आदित्य : हां है ना, सर की बर्थडे याद रखता है, आते-जाते सर को गुड मॉर्निंग... सर , गुड इवनिंग सर कहता रहता है, उस खडूस को मोबाइल में नई-नई ऐप डाउनलोड करके देता है |
अनन्या : और...... और तुम ?
आदित्य : मैं सिर्फ अपने काम से काम रखता हूं |
अनन्या : यही तो आदि आजकल सेल्फ मार्केटिंग का जमाना है | बॉस को मक्खन नहीं मारोगे तो प्रमोशन की मलाई कैसे पाओगे ?
आदित्य : अरे यार मुझे मक्खन मारना नहीं आता |
अनन्या : मुझे तो बहुत मक्खन मारते हो |
आदित्य : अरे तुम बीवी हो और वह बॉस |
अनन्या : Dont worry sincerity pays.
आदित्य : सब बकवास |
अनन्या : बाय धी वे , यह कार्ड किस चीज का है ?
आदित्य : बॉस के बर्थडे पर पार्टी दी है उस मिस्टर मेहता ने, उसका है |
अनन्या : कब जाना है?
आदित्य : मैं नहीं जाने वाला |
अनन्या : आदि बॉस के लिए रखी गई पार्टी है ,तुम्हें जाना होगा ,वहां सबसे मिलेंगे - जुलेंगे , कंपनी के बाकी लोग भी आएंगे, जान पहचान होगी |
(अनन्या कार्ड खोलकर देखती हैं )
अनन्या : अरे वाह , इसमें तो फैमिली के साथ जाना है चलो मैं भी तुम्हारे साथ चलूंगी | मैं भी तो देखूं तुम्हारा खडूस बॉस कैसा है ? जिसकी तुम इतनी तारीफ करते हो |
आदित्य : नहीं मुझे नहीं जाना |
अनन्या : आदि हम जाएंगे |
आदित्य : अरे पर ......
अनन्या : देखो मुझे बहुत भूख लगी है, चलो खाना खाते हैं और आज मैने तुम्हारी पसंदीदार भिंडी की सब्जी बनाई है
(आदित्य जाने लगता है अनन्या उसे पूछती है)
अनन्या: मेरी चॉकलेट और स्ट्रॉबेरी लाए?
आदित्य : सॉरी भूल गया | आज ऐसे ही|
अनन्या : No. एक भूल महंगी पड़ सकती है और हम अभी बच्चे के लिये रेडी नहीं है |
आदित्य : तो आज गाउन की छुट्टी?
अनन्या : भूख लगी है जल्दी करो
आदित्य : तुम मना कर रही हो, मैं तो रेडी हू, भूख तो मुझे भी लगी है |
अनन्या : मैं खानेवाली भूख की बात कर रही हूं ,जाओ नहा लो. (उसे धकेलती है)

Fed Out

सिन : 4

( लाइट पार्टी म्यूजिक स्टेज राइट मेहता, स्टेज लेफ्ट आदित्य अनन्या, सेंटर में दो-तीन कपल्स डांस कर रहे हैं)
शर्मा : क्या बात है मिस्टर मेहता का तो प्रमोशन हो गया |
शाह : भाई वह तो होना ही था, मिस्टर मेहता की जुबान नहीं बटर की फैक्ट्री है|
(मेहता आता है )
मेहता : भाई आप में कुछ हो ना हो ,पर तरक्की के लिए, यह आदत होनी बहुत जरूरी है
शाह : सॉरी मेहता साहब
मेहता : अरे नहीं... नहीं मिस्टर शाह ,जो सच है वह है (सब हंसते हैं )
अनन्या : तुम्हारे बॉस नहीं दिख रहे कहीं पर | कहां है ? (मेहता आदि के पास आता है )
मेहता : हेलो मिस्टर राव, सो मेरा प्रमोशन हो गया है और अब हम साथ में काम करेंगे, तो सर कहना ठीक नहीं लगता|
आदित्य : Its O.k मिस्टर मेहता
मेहता : ओहो मिसेज राव भी आई है आज , हेलो मैम
अनन्या : मेम कहने की जरूरत नहीं है क्योंकि मिस्टर राव आपके सर नहीं है, तो मैं आपकी मेम कैसे हुई? You can call me Mrs. Rao
( स्माइल करती है ,मेहता बात को बदलते हुए)
मेहता : सर को आने में बहुत देर हो गई? मैं देख कर आता हूं|
(जाता है )
आदित्य : Mrs. Rao आपका भी जवाब नहीं |
अनन्या : मि. राव, क्योंकि हमने कभी आपको जवाब दिया नहीं, मैं जरा वॉशरूम होकर आती हूं |
(अनन्या निकलती है विंग के पास बॉस और अनन्या टकराते हैं अनन्या सॉरी बोलकर निकल जाती है)
सब : सर आ गए... सर आ गए....
मेहता : आइए सर...आइए
मिस्टर बजाज : वेरी गुड मिस्टर मेहता, तुम्हारी अरेंजमेंट अच्छी है ,आई हैव नेवर सेलिब्रेटेड माय बर्थडे टिल टुडे, बट, तुमने इतना फोर्स किया, कि मैं मना नहीं कर पाया
मेहता : सर इट्स माय प्लेजर कम .... कम
( सब बॉस को ग्रीट करते है)
मेहता : Now Lets cut the Cake
( बॉस केक कट करने जाता है तभी शाह कहता है)
शाह : सर कैन आई आस्क यू वन क्वेश्चन? व्हाट इस योर एज ?
मेहता : सर की उम्र से आपको क्या लेना देना है? क्या आप भी?
मि.बजाज : नो नो It's o.k Mr. मेहता | अगर आप लोगों को मेरी उम्र के बारे में जानना है, तो एक पजल सॉल्व करना पड़ेगा |
सब : हां हां बोलिए सर
मि.बजाज : तो puzzle ये है की, मेरी और मेरे बेटे की उम्र दोनों को मिला दिया जाए तो उसका जोड़ 66 है और मेरी उम्र , मेरे बेटे की उम्र की संख्या के रिवर्स है, तो बताइए मेरी उम्र क्या है ?
(सब सोचने लगते है, तभी एक कोने से आवाज आती है)
अनन्या : 51 years.
( सब अनन्या की और देखते है)

Fed Out.

सिन : 5

अनन्या : नो.....नो...... नो...... नो यह क्या कह रहे हो तुम? यह नहीं हो सकता, तुम्हें पता भी है तुम क्या कह रहे हो ?
आदित्य : मुझे पता है |
अनन्या : तुम्हारी हिम्मत भी कैसे हुई यह कहने की ?आदित्य : बहुत सोच समझकर में यह कह रहा हूं |
अनन्या : तुम इतनी हद तक गिर जाओगे मुझे पता भी नहीं था
आदित्य : अनु प्लीज मेरी बात सुनो |
अनन्या : मुझे और कुछ नहीं सुनना |
आदित्य : अनन्या प्लीज |
(उसे पकड़ता है )
अनन्या : ( हाथ झटक कर ) डोंट टच मी, मुझे घीन्न आ रही है तुम पर , तुमने सोच भी कैसे लिया कि मैं इस बात के लिए तैयार हो जाऊंगी ? तुम इतने खुदगर्ज कैसे बन सकते हो?
आदित्य : हां हूं मैं खुदगर्ज | मैं अपने लिए नहीं , हमारे लिए यह कह रहा हूं ,कब तक हम इस विरार के फटीचर फ्लैट में रहेंगे? कब तक मैं लोकल और बस में पसीने की बदबू से भर लोगों के बीच धक्के खाता रहूंगा? लोखंडवाला रोड पर घूमते हुए , दुकानों में लगी महंगी प्राइस टैग को मजबूरी से देखती तुम्हारी नजरों को मैं सह नहीं सकता, मैं भी चाहता हूं, तुम्हें अपनी कार में शॉपिंग करने ले जाऊं, चौपाटी की लारी की बजाय कॉपर चिमनी होटल में खाना खिलाऊ , मैं भी चाहता हूं कि हम भी बाली, यूरोप, स्विट्जरलैंड घूमने जाएं , जबकि लोनावाला और खंडाला भी जाना हो तो हमें बजट का प्लानिंग करना पड़ता है | बस एक बार तुम हां कह दो, सारे प्रॉब्लम्स आज ही खत्म हो जाएंगे
अनन्या : मेरे लिए यह फटीचर फ्लैट नहीं घर है मेरा घर | नहीं करना मुझे शॉपिंग लोखंडवाला में, नहीं खाना मुझे कॉपर चिमनी में खाना , नहीं जाना मुझे बाली, यूरोप या स्विट्जरलैंड और लोखंडवाला के कपड़ों के प्राइस टैग देखकर मैं यह सोचती हूं कि, कोई बेवकूफ ही होगा जो ऐसे कपड़ों के इतने सारे पैसे देता होगा, मेरे लिए तुम्हारी आगोश में ही पूरी दुनिया है , मेरे लिए तुम मायने रखते हो, यह सब चीज नहीं |
आदित्य : यह सब कहने की बात है , दिल को तसल्ली देने के लिए यह सब ख्याल अच्छे हैं ,सोचो कल को हमारा बच्चा होगा तो क्या हम उसे सरकारी स्कूल में पढ़ाएंगे ? मैं उसकी परवरिश अच्छे से करना चाहता हूं, मैं नहीं चाहता कि मेरी जिंदगी जिस अभाव में गुजरी है , इस अभाव में मेरे बच्चे भी पले, मैं उसे एक अच्छी जिंदगी देना चाहता हूं, क्या तुम नहीं चाहती ?
अनन्या : चाहती हूं | पर इसके लिए ....
आदित्य : देखो तुम्हें पता है ना , हमारी शादी को 3 साल हो गए हैं, हम इसीलिए बच्चा प्लान नहीं कर रहे हैं क्योंकि तुम और मैं दोनों जॉब करते हैं, फिर भी घर के बजट को पूरा नहीं कर सकते, At the End of the Month हमारे पास पैसा नहीं बचता और अगर हम बच्चा प्लान करते हैं तो तुम्हें job भी छोड़नी पड़ेगी, फिर मेरे अकेले की कमाई से कैसे यह सब पूरा होगा ? बच्चा आएगा तो हमारा खर्चा भी बढ़ेगा, इन सब का एक ही सॉल्यूशन है, प्लीज अनु हां कह दो
अनन्या : नहीं
आदित्य : प्लीज आई बैग यू
अनन्या : नो नो नो
आदित्य : अनु प्लीज
अनन्या : नहीं
आदित्य : अनु मैं मुंबई के कीड़े मकोड़े की तरह जीते लोगों की तरह नहीं जीना चाहता, अगर तुम मेरे साथ खुशहाल जिंदगी नहीं चाहती हो, तो मैं यह जिंदगी ही नहीं चाहता |
(आदित्य बेडरूम का दरवाजा बंद कर देता है )
अनन्या : आदि प्लीज दरवाजा खोलो
आदित्य : नहीं
अनन्या : आदि प्लीज ......प्लीज दरवाजा खोलो
आदित्य : नहीं
अनन्या : मैं कहती हूं दरवाजा खोलो (वह दरवाजा जोर-जोर से ठोकने लगती है )
आदित्य : अगर तुम मेरी बात नहीं मानोगी, तो मैं भी तुम्हारी बात नहीं मानूंगा |
अनन्या : आदि तुम प्लीज ऐसा वैसा कुछ मत करना , मैं तुम्हारे बिना नहीं की जी सकती |
आदित्य : और मैं इस तरह नहीं जी सकता |
अनन्या : आदि प्लीज , दरवाजा खोलो, प्लीज बाहर आ जाओ, आदि तुम्हारी कसम तुम जो कहोगे मैं वह सब कुछ करने के लिए तैयार हूं, आदि प्लीज.... प्लीज बाहर आ जाओ
(अनन्या रोने लगती है और रोती रोती दरवाजे पर बैठ जाती है थोड़ी देर के बाद दरवाजा खुलता है आदित्य बाहर आता है अनन्या देखती है और आदित्य के हाथ से फोन छीन लेती है और एक नंबर डायल करती है और बोलती है )
अनन्या : हेलो मिस्टर बजाज

ब्लैक आउट

मोंटेज 1 :

(सेट में एक सोफा आ जाता है आदित्य घर में आता है)
आदित्य : अनन्या ?...अनन्या .......(नौकर आता है )
नौकर : साहब , मैडम कहकर गई है कि वह शॉपिंग करने जा रही है, देर से लौटेंगे |
आदित्य : ठीक है चाय दो |

ब्लैकआउट

मोंटेज 2:

( सेट पर एक डाइनिंग टेबल आ जाता है )
(आदित्य डाइनिंग टेबल पर बैठता है फोन करता है अनन्या की आवाज आती है )
आदित्य : कहां हो तुम ?
अनन्या : आज हमारी लेडिस क्लब की किटी पार्टी है तो मैं देर से आऊंगी, तुम खाना गरम करके खा लेना, बाय टेक केयर, आई लव यू
(आदित्य फोन रखता है )

FED OUT

मोंटेज 3 :

(सेट में आराम चेयर रखी हुई है अनन्या बुक पढ़ रही है आदित्य आता है और बैठता है)
अनन्या : (आदित्य के पास आती है) आदि तुम जल्दी से फ्रेश हो जाओ, कहीं बाहर खाना खाने चलते हैं , बहुत भूख लगी है, कॉपर चिमनी चले ?
आदित्य : नहीं फिर कभी |
अनन्या : थक गए हो ?
आदित्य : हां, टारगेट के पीछे भागते भागते थक गया हूं , थक चुका हूं ऐसी बोरिंग जिंदगी से, मशीन बन गया हूं, सुबह उठो, नहा धोकर ऑफिस पहुचो, 10 से 6 टारगेट के पीछे भागो, फिर बॉम्बे का ट्रैफिक चीरते हुए घर तक पहुंचो और खाना खाकर सो जाओ |
अनन्या : तरक्की जिंदगी से बहुत कुछ छीन लेती है| आदित्य: बहुत कुछ नहीं, सब कुछ | थक गया हूं ऐसी जिंदगी से |
अनन्या : तुम ही चाहते थे ना ऐसी जिंदगी ?
आदित्य : हां पर अब जिंदगी ही नहीं रही |
अनन्या : मैं कुछ बना देती हूं, फिर साथ में खाते हैं |
आदित्य: भूख नहीं है , मैं सोने जाता हूं गुड नाइट
(आदित्य बेडरूम में चला जाता है अनन्या उसके पीछे जाती है ,आदित्य बाहर वापस आता है साथ में कंबल लेकर आया हुआ है, सोफे पर आकर सो जाता है अनन्या बाहर आती है )
अनन्या : आदि ,हम पति पत्नी है ,हम एक ही कमरे में, एक ही बेड पर , एक साथ सो सकते हैं
आदित्य : मुझे अंदर नींद नहीं आती |यही सोने दो
अनन्या : तुम्हें पता भी है, कितना वक्त हो गया उस बात को ?
आदित्य : पांच महीने |
अनन्या : और तुम 5 महीने से इसी तरह ......
(आदित्य उसकी बात को काटते हुए )
आदित्य : सुबह ऑफिस जल्दी जाना है, बहुत काम है मुझे, सोने दो गुड नाइट

ब्लैक आउट

Cut to Present
फ्लैशबैक ओवर

सिन - 6

(सीन -1 Continue)
( अलार्म बजता है आदित्य यादों से बाहर आता है और फिर से लिखने लगता है)
आदित्य : तुमने कहा था तुम ही चाहते थे ऐसी जिंदगी | हां, पर मैं ऐसी जिंदगी नहीं चाहता था , जिसमें मेरी जिंदगी ही ना हो, उस दिन से मैं जिंदा लाश बन गया हूं , तरक्की तो थी पर सुकून नहीं था ,जब भी तुम मेरे पास आती हो मुझे अपने आप पर घीन्न आती है, तुम में से अनन्या की खुशबू नहीं, किसी के पसीने की बदबू आती है | तुम्हारे लाख कहने पर भी, मेरा दिल इस बात को मानने के लिए तैयार ही नहीं है कि, तुम वही हो , तुम कहती हो कि कुछ नहीं बदला, पर बहुत कुछ बदल गया, घर में नई चीज आई, पर पुरानी खुशियां कहीं गुम हो गई, मैं चीजों में खुशियां ढूंढता था और तुम मुझ में , पर अब मैं भी मैं नहीं रहा | अब यह बोझ मैं ज्यादा नहीं ढो सकता, शायद उसी दिन से मेरे जज्बात , मेरी फिलिंग्स, मेरे इमोशंस मर गए , और जिसमें यह सब नहीं होता वह जीते जी जिंदा लाश बन जाता है और मैं चाहता हूं इस लाश का अंतिम संस्कार हो जाए, हो सके तो मुझे माफ कर देना, मेरी मौत के लिए मैं खुद जिम्मेदार हूं | तुम्हारा आदित्य
(तुम्हारा लिखा हुआ है उसको मिटा देता है और लिखता हैं) आदित्य
(अनन्या एक तरफ पत्र पढ़ रही है )
अनन्या : क्या लिखा है तुमने यह सब आदि ? यह तुम क्या कह रहे हो? तुम्हें पता है ना कि मैं तुम्हारे बिना नहीं जी सकती? उस दिन भी मैने यही कहा था कि मैं तुम्हारे बिना जिंदा नहीं रह सकती, अगर तुम्हारे बिना जी सकती तो उस दिन मैने तुम्हारी बात मानी ही नहीं होती | आदि यह सब तुम्हारे लिए ही है |
आदित्य : हां पर मैं क्या करूं? वह बात मेरे जहन में से कभी न मिटने वाले, जख्म की तरह जड़ गई है, तुम्हारे लाख कहने पर भी मैं यह बात नहीं मान सकता कि उस दिन तुम्हारे और मिस्टर बजाज के बीच में कुछ नहीं हुआ था | तुम जब भी मेरे पास आती हो , तब तुम्हारे पीछे से जीत के नशे में हंसता हुआ मिस्टर बजाज का चेहरा दिखाई देता है, जैसे वह मेरी खिल्ली उड़ा रहा हो उस बोझ के साथ में नहीं रह सकता|
अनन्या : तुम जिसे बोझ मान रहे हो ऐसा कुछ नहीं है , वह सिर्फ तुम्हारे मन का वहम है, उस दिन हमारे बीच कुछ नहीं हुआ, कुछ नहीं| मैं आज भी तुम्हारी वहीं अनन्या हूं जो पहले थी |
आदित्य : नहीं , मैं कैसे मान लूं ? तुम उस दिन 4 घंटे तक मिस्टर बजाज के घर पर , उनके साथ थी और तुम कहती हो की मान लो कि हमारे बीच में कुछ ऐसा हुआ ही नहीं था? मैं कैसे यकीन करूं ?
( मिस्टर बजाज आता है उसकी आवाज आती है )
मि.बजाज : यकीन करना होगा मिस्टर राव , अपनी वाइफ का यकीन नहीं करोगे तो और किसका यकीन करोगे ? Mr. राव जो आप समझ रहे हैं, ऐसा कुछ भी नहीं है | उस दिन जब हम मिले और बाते की, तो पता चला की हम एक ही सिटी से belong करते है, इन फैक्ट हमारे स्कूल और फील्ड भी सेम निकले| उस दिन हमने बहुत सारी बातें की और उसी दिन मुझे पता चला कि तुम कितने टैलेंटेड हो? क्योंकि इतने बड़े स्टाफ को हैंडल करने में कई बार ध्यान नहीं जाता है , हमारे पास तो जिनकी सिफारिश आती है ,उन्हीं को प्रमोशन मिलता है ,यकीन मानिए हमारी बात का, यह बात मैं आपको दूसरे ही दिन बता देने वाला था , पर ऑफिस के काम से मुझे दूसरे दिन ही US जाना पड़ा और कल जब 5 महीने बाद में वापस आया, तब आपको देखकर मुझे लगा कि ,आपकी लाइफ में कुछ प्रॉब्लम है , इसीलिए मैंने Mrs. Rao से आप के बारे मे फोन पर बात की और मुझे सारी बात पता चली और मैं तुमसे मिलने आ गया |
आदित्य : मैं कैसे मान लूं कि उस चार घंटे में आपके बीच में कुछ नहीं हुआ था |
मि. बजाज : क्या औरत और मर्द के बीच में एक ही रिश्ता हो सकता है ? मिस्टर आदित्य तुम यह बात तो मानोगे कि मेरे पास इतने पैसे हैं कि , मैं किसी भी खूबसूरत लड़की को पैसों के जोर पर खरीद सकता हूं ,और बाजार में ऐसी कई लड़कियां होती है जो सिर्फ पैसे देखती है, बट माय हंगर इस डिफरेंट , मुझे कोई ऐसा चाहिए था जिससे मैं अपने लेवल की बात कर सकूं | मेरे बर्थडे पर जब Mrs.Rao ने मेरी उस पजल का जवाब दिया ,तो मुझे लगा कि यस मैं उनके साथ अपनी बात शेयर कर सकता हूं |
आदित्य : झूठ मत बोलिए सर, याद कीजिए आपने मुझे उस दिन ऑफिस में बुलाकर क्या कहा था?
मि.बजाज : तुम याद करो कि मैने क्या कहा था?

Flash Back Start :

सिन : 7

(यहां से ऑफिस का सीन शुरू होता है और ऑफिस में मिस्टर बजाज और आदित्य अकेले हैं मिस्टर बजाज अपनी चेयर पर बैठे हैं ,आदित्य उनके सामने खड़ा है )
मि.बजाज : Good Morning Lucky Guy, I must tell you Mr. Rao your wife is real Beauty with Brain. She is Extremely Telented and Beautiful so I would definitely like to Meet her again personally.
आदित्य : personally ?

Flash Back Over

सिन : 6 Continue

आदित्य : याद कीजिए सर ,आपने कहा था पर्सनली सर पर्सनली ( वह पर्सनली पर वजन देकर बोलता है उसे इम्फैसीज करके बोलता है ) पर्सनली
मि.बजाज : Aditya what do you mean by word personally? इतनी छोटी सोच रखते हैं आप ? डिस्गस्टिंग| मिस्टर आदित्य हस्बैंड वाइफ के रिलेशन शिप में सबसे जरूरी है विश्वास. I am Sorry Mr.Aditya but I never expect this from you .आप अपनी वाइफ पर विश्वास नहीं करोगे ? मुझे जो कहना था ,वह मैंने कह दिया, उस दिन हमारे बीच कुछ भी नहीं हुआ था | Now it's up to you.
(Mr.बजाज निकल जाता है अनन्या की आंख में आंसू है अनन्याऔर आदित्य एक दूसरे की ओर देखते हैं आदित्य नीचे देख लेता है अनन्या वहीं खड़ी है)
(वह खड़ा होकर सर नीचे झुकाए हुए चुपचाप बेडरूम में चला जाता है अनन्या कुर्सी पर बैठ जाती है आदित्य बाहर आता है अनन्या के पास आता है )
अनन्या : क्या हुआ
आदित्य : कुछ नहीं
(कह कर वह सोफ़े पर बैठता है अनन्या खड़ी होकर आदित्य के पास जाती है अनन्या उसके सर में हाथ घुमाती है और पूछती है)
अनन्या : नींद आ रही है ?
आदित्य : भूख लगी है |
(और आदित्य माफी मांगते मांगते रोने लगता है और अनन्या को लिपट जाता है और धीरे-धीरे लाइट डिम होकर फेड आउट हो जाती है )
THE END