बदलते प्यार की परिभाषा - 2 Aarav Ki Kalam द्वारा सामाजिक कहानियां में हिंदी पीडीएफ

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बदलते प्यार की परिभाषा - 2

अहाना से फोन लेकर महिमा उसका टिंडर प्रोफाइल चेक करती है।

"Ahana,21
0 km away
verified profile

। Fashionblogger । designertobe ।
। moody । beaches ।

verified profile?
क्या बात है अहाना। इतने कम समय मे फ़ेमस हो गयी हो।
240 मैसेज जिसका तुमने जवाब हे नहीं दिया।"

"क्या बात है यार
सच मे शौर्य बहुत हो हॉट ओर हैंडसम है। ओर शॉर्ट्स मे तो एकदम हीरो लग रहा है।"
महिमा ने शौर्य का प्रोफाइल चेक करते हुए कहा।

महिमा एक बार फिर अहाना के प्रोफाइल पर क्लिक करती है। ओर अहाना की फोटोस देखती है। ओर हँसने लग जाती है।

"क्या हुआ?
ऐसा क्या देख लिया तुमने?"
अहाना ने महिमा की ओर देखते हुए पुछा।

महिमा ने अहाना को उप्पर से नीचे की ओर देखा।
"ऑफ़ शोल्डर क्रोप टॉप
कटी फटी जीन्स
साथ मे हाई हील्स
लाल लिप्स्टिक
अपने आप को अब देख ओर इस फोटो मे देख"
महिमा ने अहाना को उसकी एक फोटो दिखाते हुए बोला जिसमे अहाना ने साड़ी पहनी हुई थी।

"साडी मे लडकी संस्कारी लग रही है। ओर असलियत मे क्या है शीशे मे देख अपने आप को कमीनी।"
हँसते हुए महिमा अहाना को ताना मारती है।

"बकवास बंद कर ओर चल अग्ली क्लास का टाईम हो गया है।"
अहाना ने अपनी घड़ी मे टाईम देखते हुए कहा।

ओर दोनो हँसते हुए क्लास की ओर चली जाती है।

क्लास शुरू हो जाती है। लेकिन अहाना का ध्यान अपने फोन मे ही था।
फोन खोलते ही उसने शौर्य को मैसेज किया।
"Hi shaurya
Enjoying in college
what's up with you?"

फोन को साइड मे रखकर अहाना प्रोफेसर की बातो पर ध्यान देने की कोशिश करती है लेकिन फोन पर एक ब्लिन्क ने उसका ध्यान वहाँ से फिर हटाकर अपनी ओर कर लिया।

yeah it's a match
टिंडर की नोटिफिकेशन थी।

"उदित?"
अपना मैच देखकर अहाना बहुत खुश हो जाती है।
महिमा को बताना चाहती थी लेकिन महिमा भी अपने फोन मे बिज़ी थी।

"हेल्लो अहाना"
उदित ने बात शुरू की

"हाय उदित
कैसे हो?"

"मैं ठीक हुँ, थैंक्स
आप कैसी हो?"

"मैं भी ठीक हूँ "

"सो दिल्ली मे कहा रहती हो?"

"मैं द्वारका रहती हूँ लेकिन मेरा कॉलेज हौज़ खास है।"

"nift?"

"हाँ लेकिन आपको कैसे पता?"

"हाँ हाँ हाँ
तुम्हारे बायो मे फैशन डिज़ाइनर लिखा है। ओर हौज़ खास मे यही कॉलेज है।"

"ओह सो स्मार्ट "

"हाँ हाँ थैंक्स अहाना"

ओर आप कहाँ रहते हो?

अहाना मैं करोल बाग रहता हुँ ओर कनाट पैलेस मे मेरा ऑफ़िस है। ट्रैवलिंग का बिज़नेस है मेरा।

ओह नाइस
चलो उदित मैं अभी कॉलेज में हूँ ।
घर पहुँच कर मैसेज करती हुँ।
बाय

ओके बाय अहाना
तुम्हारे मैसेज का वेट करूँगा।

अहाना को खुश देखकर महिमा उसके कंधे पर कन्धा मार कर आंखो ही आंखो मे खुश होने का कारण पूछती है।

इशारो इशारो मे अहाना रिया को बाद मे बताने के लिये कहती है।

क्लास पूरी होते ही महिमा के पूछने से पहले अहाना उसे अपने खुश होने का कारण बताती है।

"महिमा मैं तुम्हे नही बता सकती आज मैं कितनी खुश हुँ ।
पहले शौर्य ओर अब उदित
एक साथ दो दो तीर बेटा

आज मैं उप्पर
आसमाँ नीचे
आज मैं आगे
ज़माना है पीछे"
कहकर अहाना खिल खिला कर हँसने लग जाती है।

ओर एक बार फिर महिमा अहाना के हाथ से फोन लेकर उदित का प्रोफाइल देखती है।
"किस्मत कहते है बेटा इसे किस्मत"
उदित का प्रोफाइल देखते हुए महिमा ने कहा।

"बेटा आज शाम को पार्टी तू देगी।"

हाँ हाँ हाँ ठीक है दे दूँगी। चल अब लंच कर के आते है। बहुत भूख लगी है। ओर माँ ने आज मेरा पसंदीदा पास्ता बनाया है।

दोनो कैनटीन लंच करने जाती है।

अहाना पास्ता खाते हुए अपने फोन मे लगी हुई होती है। ओर इतने मे शौर्य के मैसेज से अहाना दोबारा टिंडर खोलकर उससे बात करती है।

"ओके अहाना
मैं अपने ऑफ़िस में हूँ।"
अहाना के आप क्या कर रहे को प्रशन का उत्तर दिया शौर्य ने।

ओके तो आप क्या करते हो?
अहाना ने पुछा।

जी मैं एक आर्किटेक्ट हूँ।
मेरी खुद की नोएडा मे फ़र्म है।

ओके कूल

तो अहाना तुम क्या करती हो?

मैं फैशन डाइनिंग की स्टडी करती हूँ ।

बार बार बीच मे महिमा अहाना को परेशान कर रही थी। इसलिये अहाना ने शौर्य को बाय बोलकर रात मे बात करने के लिये कहा।

"कहा लगी हुई है?"
महिमा ने पुछा।

"शौर्य से बात कर रही थी यार। लेकिन तू बार बार परेशान कर रही थी तो मैने उसे बाय बोल दिया।"
सड़ी सी शकल बनाते हुए अहाना ने कहा।

दिखा फोन क्या बात हुई?
ओर महिमा ने फिर अहाना का फोन छीन लिया।

अहाना आराम से अपना पास्ता खतम करती है। ओर उधर महिमा अहाना के फोन मे लगी हुई होती है।

कॉलेज ओवर होने के बाद अहाना गाड़ी लेकर घर के लिये निकलती है ओर एफ़ एम पर गाने सुनते हुए घर जा रही होती है।
गाना सुनते ही अहाना को शौर्य ओर उदित याद आ जाते है।

"अगर तुम साथ हो
दिल ये संभल जाए
अगर तुम साथ हो
हर ग़म फिसल जाए
अगर तुम साथ होदिल ये निकल जाए
अगर तुम साथ हो हर ग़म फिसल जाए"

कल रात वाला गाना दोबारा सुन कर अहाना हल्का सा मुस्करा देती है।
"हाँ हाँ एक मांगा था दो दो दे दिए भगवान
अब तो दिल सम्भल ही जायेगा।"
अहाना अपनी कल रात वाली बात को याद करते हुए कहती है।

फोन पर लगातर मैसेज ही मैसेज आ रहे थे।
फोन हाथ मे लेकर देखा तो शौर्य ओर उदित के मैसेज थे।

अहाना को घर जाने की जल्दी थी इसिलिए गाड़ी तेज रफ्तार से चलाकर घर पहुंचती है।

फ्रेश होकर स्टडी टेबल पर बैठ कर आराम से फोन यूज़ करती है।

हेल्लो मैडम

हेल्लो अहाना

हेल्लो फैशन डिज़ाइनर

अंदर ही अंदर खुशी के लड्डू फूट रहे थे की अचानक एक मैसेज को देखकर अहाना परेशान हो जाती है।

अहाना तुमने ये अच्छा नही किया........


.......शेष अगले भाग में......