रंजन चर्च में प्रार्थना कर बाहर निकल रहा था। आज उसका जन्मदिन था। उसे पंद्रह साल पहले का अपना जन्मदिन याद आ रहा था। वह अंतिम जन्मदिन था जब उसके पिता उसके साथ थे। चर्च के आहते में रंजन को फादर फ्रांसिस मिल गए।"हैप्पी बर्थडे रंजन।"थैंक्यू फादर.."तुम्हारा काम कैसा चल रहा है ?"बहुत अच्छा फादर। मेरे बॉस सरवर खान पर लोगों का भरोसा बढ़ता जा रहा है। एक के बाद एक केस की लाइन लगी रहती है।"अब शर्ली को तुम्हारे

Full Novel

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गुमशुदा की तलाश - 1

गुमशुदा की तलाश (1)रंजन चर्च में प्रार्थना कर बाहर निकल रहा था। आज उसका जन्मदिन था। उसे पंद्रह साल पहले का अपना जन्मदिन याद आ रहा था। वह अंतिम जन्मदिन था जब उसके पिता उसके साथ थे। चर्च के आहते में रंजन को फादर फ्रांसिस मिल गए।"हैप्पी बर्थडे रंजन।""थैंक्यू फादर..""तुम्हारा काम कैसा चल रहा है ?""बहुत अच्छा फादर। मेरे बॉस सरवर खान पर लोगों का भरोसा बढ़ता जा रहा है। एक के बाद एक केस की लाइन लगी रहती है।""अब शर्ली को तुम्हारे ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 2

गुमशुदा की तलाश (2)रंजन लौटा तो घर में अंधेरा था। उसने आवाज़ दी।"मम्मी.…कहाँ हैं आप ?"उसकी पुकार पर कोई जवाब नहीं मिला। वह ढूंढ़ते हुए बैकयार्ड में गया। शर्ली कुर्सी पर चुपचाप बैठी थी। रंजन जाकर सामने की कुर्सी पर बैठ गया। आहट पाकर शर्ली अपने खयालों से बाहर आई।"तुम कब आए रंजन ?"रंजन ने अपनी माँ का हाथ पकड़ कर कहा।"आप इस तरह अंधेरे में क्यों बैठी हैं ?"शर्ली ने कोई जवाब नहीं दिया। "इसका मतलब आज फिर से चिठ्ठी आई है। ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 3

गुमशुदा की तलाश (3)रंजन सबसे पहले जाँच अधिकारी इंस्पेक्टर सुखबीर सिंह से मिला। उनसे मिल कर उसने बिपिन की गुमशुदगी के केस की सारी जानकारी तफ्सील से ली। अब तक की जाँच के अनुसार दस महीने पहले उसके रूममेट कार्तिक मेहता ने अपने प्रोफेसर दीपक बोहरा को सूचना दी कि तीन दिन हो गए बिपिन हॉस्टल नहीं लौटा है। प्रोफेसर दीपक ने यह बात डीन धर्मपाल शास्त्री को बताई। मामले की गंभीरता को समझते हुए डीन शास्त्री ने पुलिस में बिपिन के हॉस्टल से ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 4

गुमशुदा की तलाश (4)सरवर खान ने रंजन के रहने की व्यवस्था इंस्टीट्यूट के पास ही एक लॉज में करा दी थी। लॉज में पहुँच कर उसने सरवर खान को फोन पर कार्तिक से मिली सारी जानकारी दे दी। "सर आप इंस्पेक्टर सुखबीर सिंह से बात कीजिए कि वह बिपिन की नोटबुक दिला दें। हो सकता है उसमें बिपिन ने कुछ ऐसा लिखा हो जिससे कोई सुराग मिल सके।""हाँ बिल्कुल मैं इंस्पेक्टर सुखबीर सिंह से बात करता हूँ। तुम अब उस लड़की ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 5

गुमशुदा की तलाश (5)सरवर खान अपने ऑफिस में बैठे उस नोटबुक के पन्ने पढ़ रहे थे जो पुलिस को बिपिन के सामान से मिली थी। सरवर खान इंस्पेक्टर सुखबीर सिंह के सीनियर ऑफिसर को जानते थे। उन्होंने उनसे कहलाया कि इंस्पेक्टर सुखबीर उनकी इस केस में मदद करें। रंजन ने इंस्पेक्टर सुखबीर सिंह से मिल कर वह नोटबुक ली। नोटबुक नई थी। उसमें केवल दस बारह पन्ने ही लिखे गए थे। सरवर खान ने रंजन को उन्हें स्कैन कर मेल करने को कहा। ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 6

गुमशुदा की तलाश (6)सरगम डिस्को में तेज़ संगीत पर लोग झूम रहे थे। आंचल भी अपने ग्रुप के साथ पूरी मस्ती में नाच रही थी। बहुत देरे से नाचते हुए उसका गला सूखने लगा। बार एरिया में जाकर उसने अपने लिए एक सॉफ्ट ड्रिंक मांगा। वह अपना ड्रिंक सिप कर रही थी तभी एक आदमी उसके पास आकर खड़ा हो गया। देखने में वह किसी बॉडी बिल्डर की तरह था। उसके बाल कंधे तक लंबे थे। दोनों कानों ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 7

गुमशुदा की तलाश (7)सरवर खान ने रंजन से बात कर उन सारे सवालों के बारे में बता दिया जो नोटबुक पढ़ने के बाद उनके मन में उठे थे। उन्होंने यह भी कहा कि वह जल्द ही खुद वहाँ आने का प्रयास करेंगे। तब तक वह आंचल से पूँछताछ करे। कार्तिक पर भी नज़र बनाए रखे। उस दिन आंचल बहुत परेशान थी। इसलिए रंजन ने सोंचा कि एक दो दिन ठहर कर उससे मिलेगा। इस बीच उसने कार्तिक के बारे में कुछ ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 8

गुमशुदा की तलाश (8)रंजन जब वहाँ पहुँचा तब छेदीलाल गेट पर ड्यूटी कर रहा था। रंजन ने उसके पास जाकर कहा।"और छेदी भैया....कैसे हो ?"एक अजनबी के मुंह से अपना नाम सुन कर छेदीलाल आश्चर्य में पड़ गया। रंजन के चेहरे को गौर से देखते हुए पहचानने की कोशिश करने लगा। लेकिन उसकी कुछ समझ में नहीं आया। "कौन हो भैया....पहचान नहीं पाए।""अरे भैया पहचानेंगे कैसे ? पहली बार जो मिले हैं।"छेदीलाल ने कुछ देर रंजन को घूर कर देखा। "तो काहे ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 9

गुमशुदा की तलाश (9)अब तक रंजन ने इस केस पर बहुत अच्छा काम किया था। उसने कई महत्वपूर्ण जानकारियां जुटाई थीं। लेकिन सरवर खान ने महसूस किया कि इस केस में कई पेंच हैं। उन्हें अपने अनुभव का प्रयोग करना पड़ेगा। अतः वह खुद भी वहाँ आ गए। उन्होंने भी उसी लॉज में एक कमरा ले लिया जिसमें रंजन रह रहा था।इस समय सरवर खान अपने कमरे में रंजन के साथ बैठ कर इस केस में अब तक जो बातें ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 10

गुमशुदा की तलाश (10)सरवर खान ने साइबर कैफे के बाहर लगे सीसीटीवी कैमरे की फुटेज को ध्यान से देखा। फुटेज में काले रंग की कार दिखाई पड़ रही थी। लेकिन वह जिस स्थिति में खड़ी थी उसका नंबर नहीं दिखाई पड़ रहा था। फुटेज में बिपिन ने नीले रंग की जींस और चेक्ड शर्ट पहन रखी थी। कंधे पर एक बैग था। उसके साथ एक लंबी लड़की थी। उसने सफेद मिनी स्कर्ट पर काले रंग का टॉप पहना हुआ था। फुटेज ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 11

गुमशुदा की तलाश (11)आंचल के दोस्त का नाम अरुण निश्चल था। सरवर खान ने जब उसे फोन किया तो उसके पिता ने फोन उठाया। सरवर खान ने उन्हें बताया कि वह अरुण से मिलना चाहते हैं। पहले तो अरुण के पिता ने मना कर दिया। लेकिन जब सरवर खान ने उन्हें बताया कि वह बिपिन की गुमशुदगी के केस की पड़ताल के संबंध में उनके बेटे से मिलना चाहते हैं तो वह मान गए। उन्होंने बताया कि अरुण इस समय एक रिहैबिलिटेशन ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 12

गुमशुदा की तलाश (12)सरवर खान के कमरे में बैठा अरुण, बिपिन के उसके जीवन में आने की कहानी बता रहा था।अरुण अपने जीवन के सबसे बुरे दौर से गुज़र रहा था। उसकी गर्लफ्रेंड ने उसे धोखा दिया था। वह उसे छोड़ कर किसी और को डेट करने लगी थी। यह बात अरुण से बर्दाश्त नहीं हुई। उसने अपनी जान लेने की कोशिश भी की। लेकिन उसमें भी असफल होने के कारण वह और भी हताश हो गया। उसका मन किसी भी ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 13

गुमशुदा की तलाश (13)सरवर खान बिपिन की बात करते हुए अरुण के चेहरे पर आने वाले कृतज्ञता के भाव को परख रहे थे। अरुण नम आँखों के साथ बोला।"सर आज अगर मैं दूसरों की मदद करने के लायक बना हूँ तो बिपिन भाई के कारण। यदि वह सही समय पर मेरी सहायता के लिए ना आए होते तो मैं नशे और अवसाद के भंवर में डूब गया होता।""मैं समझता हूँ अरुण। बिपिन सचमुच तुम्हारे लिए एक फरिश्ता बन कर आया। ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 14

गुमशुदा की तलाश (14)सरवर खान ठेले के पास जाकर बोले।"जीवन भाई.... मोमोज़ बेचते हो ?""हाँ साहब पर अब तो ठेला लेकर घर जा रहा था। लेकिन आपको मेरा नाम कैसे मालूम ?"फिर अपने सवाल का जवाब खुद ही देते हुए बोला।"अच्छा ठेले पर पढ़ा।""नहीं किसी ने बताया था तुम्हारे बारे में। मुझे कुछ खाना नहीं है। कुछ बात करनी है।""बात करनी है....मुझसे ??'सरवर खान ने मोबाइल पर बिपिन की फोटो दिखाते हुए कहा।"इनके बारे में पूँछना है।"जीवन फोटो देखते ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 15

गुमशुदा की तलाश (15)कहानी सुनाते हुए रसिक चुप हो गया। सब इंस्पेक्टर नीता सैनी ने पूँछा।"वह आजकल कहाँ है ?""मैडम नौकरी छूटने के बाद कई दिनों तक वह दूसरी जगहों पर कोशिश करता रहा। पर मालिक ने उसके बारे में खबर उड़ा दी थी। उसे कहीं काम नहीं मिला। हार कर वह गांव लौट गया।""तो अब वह गांव में है।""जी मैडम वहीं होगा। वैसे मैडम मुझे लगा था कि वह ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 16

गुमशुदा की तलाश (16)तमाचा बहुत ज़ोर से लगा था। एक पल के लिए सब इंस्पेक्टर राशिद की आँखों के आगे अंधेरा छा गया। रॉकी ने उसका कॉलर पकड़ कर कहा।"पुलिस वाले हो। पुलिस को मेरी खबर हो ना हो। मुझे पुलिस की पूरी खबर रहती है।"रॉकी ने सामने लगे मॉनिटर को ऑन किया। स्क्रीन पैसेज का दृश्य उभरा। सरवर खान को एक आदमी गन प्वाइंट पर ऊपर ला ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 17

गुमशुदा की तलाश (17) जब उमाकांत फ्लैट में पहुँचा तो उस लड़की ने उसे बैठाते हुए कहा।"तुम कल सिम दिलाने की बात कर रहे थे।""जी मैडम....दिला सकता हूँ। पर पैसे ज़्यादा लगेंगे।""पैसों की फिक्र मत करो। बस बताओ दिलाओगे कैसे और कहाँ से ?"उमाकांत कुछ ठहर कर बोला।"मैडम मेरे पास जो सिम है वह मैंने जुगाड़ से मंहगे दाम पर लिया था। अब मैं गांव वापस जा रहा हूँ। इसलिए सोंच रहा था कि इसे बेच कर पैसे कमा लूँ।""ये सिम ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 18

गुमशुदा की तलाश (18)उस जगह पर घुप अंधेरा था। सरवर खान ने आँखें खोलीं तो कुछ सेकेंड्स लगे आँखों को अंधेरे का अभ्यस्त होने में। उसके बाद अंधेरे में कुछ काली आकृतियां दिखाई पड़ीं। सरवर खान ने अंदाज़ लगाया कि यह कोई गोदाम होगा। सरवर खान बीती हुई घटनाओं को याद करने लगे। रॉकी के निर्देश पर अनीस ने उनके मुंह पर रुमाल रख दिया। धीरे धीरे उनकी पलकें बंद होने लगीं। वो बेहोश हो गए। जब आँख खुली तो खुद को ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 19

गुमशुदा की तलाश (19)"सर....सर..."सब इंस्पेक्टर राशिद की आवाज़ सुन कर सरवर खान अपने खयालों से बाहर आए। "क्या है राशिद ?""सर आप बहुत देर से चुप थे इसलिए पुकारा।""हाँ कुछ सोंच रहा था।""सर क्या यही सोंच रहे थे कि उस रॉकी ने हमें यहाँ कैद करके क्यों रखा है ?"सरवर खान के मन में यही विचार आया था। इसी के कारण वह यह जानने का प्रयास कर रहे थे कि रॉकी उन्हें पहचाना हुआ सा क्यों लगता है। जब उनका ध्यान ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 20

गुमशुदा की तलाश (20)टीम ने अचानक ही सामने से हमला किया। सभी शराब पीने में मस्त थे। जब तक वह संभलते सरवर खान की टीम ने उन्हें घेर लिया था।पीछे कमरे में रखी पेटियों को खोल कर देखा तो वही निकला जिसकी सरवर खान को आशंका थी। पेटियों में ड्रग्स के साथ अवैध हथियार भी थे। यह एक बड़ी सफलता थी। सरवर खान ने सभी को गिरफ्तार कर लिया। बरामद माल जब्त कर लिया गया। मीडिया में सरवर खान की ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 21

गुमशुदा की तलाश (21)मदन अब सिर्फ हाई प्रोफाइल पार्टियों में ही नहीं बल्कि जहाँ संभव हो वहाँ ड्रग्स सप्लाई करता था। उसने ड्रग्स बेचने के लिए कई आदमी रखे हुए थे। मदन बड़े ड्रग्स करोबारियों से माल खरीदता था। फिर उस माल को अपने आदमियों के ज़रिए पान की दुकान, चाय की दुकान, स्कूल, कॉलेज, सिनेमाघरों के बाहर बिकवाता था। वह बड़ी होशियारी से पर्दे में रह कर यह धंधा कर रहा था।लोगों को दिखाने के लिए उसने अपनी शराब बनाने की ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 22

गुमशुदा की तलाश (22)जॉर्ज के वाट्सऐप पर एक वीडियो मैसेज आया। जिस नंबर से वह आया था उसे जॉर्ज नहीं पहचानता था। फिर भी उसने वीडियो देखा। वह यह देख कर चौंक गया कि वीडियो उसके मैंशन में ही शूट हुआ था। अंत में वीडियो बनाने वाले ने कैमरा अपनी तरफ घुमा लिया था। उस शख्स ने ग्रे कलर की यूनीफॉर्म पहनी थी। उसने सर पर कैप इस तरह नीचे करके पहनी हुई थी कि उसका चेहरा ठीक से दिखाई ना दे। जॉर्ज यह ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 23

गुमशुदा की तलाश (23)सरवर खान ने जैसा सोंचा था वैसा ही हुआ। मदन ने उसे लक्ष्य पर रख कर दरवाज़ा खोलने को कहा। मेन डोर तक पहुँचने के लिए दो अर्धगोलाकार सीढ़ियां थीं। सरवर खान ऊपर की सीढ़ी पर खड़े थे। मदन उनके नीचे वाली सीढ़ी पर खड़ा था। मदन ने दोनों गन सरवर खान पर तान रखी थीं। सरवर खान दरवाज़ा खोलते हुए पूरे सतर्क थे। मदन बहुत सट कर खड़ा था। यदि दरवाज़े का पल्ला ज़ोर से खोला जाता तो वह हड़बड़ा ...और पढ़े

24

गुमशुदा की तलाश - 24

गुमशुदा की तलाश (24)सब इंस्पेक्टर नीता ने अपने सभी खबरियों के बीच टैटू वाली लड़की के स्कैच की कापियां बटवा दी थीं। पर अभी तक कोई सफलता नहीं मिली थी। सब इंस्पेक्टर नीता ने उस फ्लैट के मालिक से मिलने का मन बनाया जिसमें वह टैटू वाली लड़की रहती थी। जो नंबर उसे मिला था उसने उस पर कॉल किया। उस नंबर पर उसकी बात सायरस मिस्त्री नाम के एक आदमी से हुई। सायरस उस समय बैंगलूरू में थे। ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 25

गुमशुदा की तलाश (25)कमरे में छत से एक बल्ब लटक रहा था। उस पर लगे शेड के कारण फर्श पर दूधिया रौशनी का एक गोला बना था। उस गोले में दो रिवाल्विंग कुर्सियों पर सरवर खान और रॉकी आमने सामने बैठे थे। रॉकी अपनी आँखे उन पर जमाए हुए था। सरवर खान उसकी उन गहरी काली आँखों के सम्मोहन में नहीं फंसना चाहते थे। इसलिए वह सीधे उसकी आँखों में नहीं देख रहे थे।"उम्मीद है खान साहब....आपको हमारी मेहमान नवाज़ी ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 26

गुमशुदा की तलाश (26)मदन कालरा अपने नए रूप और पहचान के साथ पुनः अपने साम्राज्य को स्थापित करने की जद्दोजहद करने लगा। उसका केवल रूप और नाम ही बदला था। पर चरित्र की दृढ़ता वैसे ही थी। सब कुछ खो देने के बाद उसमें सब कुछ पा लेने का जुनून मरा नहीं था। उसने रॉकी के तौर पर चफिर से अपने आप को ड्रग्स के कारोबार में स्थापित करना शुरू कर दिया। उसने ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 27

गुमशुदा की तलाश (27)रंजन सरवर खान के लापता हो जाने की खबर सुन कर बहुत दुखी था। इंस्पेक्टर सुखबीर ने उसे सारी स्थिति बताते हुए कहा।"रंजन तुम जब पिछली बार सरवर जी के साथ आए थे तो उन्होंने साइबर कैफे के सामने की सीसीटीवी फुटेज निकालने को कहा था। उस फुटेज में बिपिन एक लंबे कद की लड़की के साथ नज़र आया था। पर उस लड़की की शक्ल ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 28

गुमशुदा की तलाश (28)रंजन का पेट तो नहीं भरा पर पेट में कुछ पड़ने से वह बेहतर महसूस कर रहा था। उसने वैद्य जी से घर के भीतर से पीने के लिए थोड़ा पानी मंगा देने को कहा। वैद्य जी का पोता उनके पास ही खड़ा था। उन्होंने उसे भीतर पानी लाने के लिए भेज दिया। वैद्य जी ने बातचीत आगे बढ़ाने की मंशा से कहा।"भइया शहरी बाबू हो....यहाँ इस पिछड़े गांव में क्या करने आए हो ?"रंजन को लगा कि ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 29

गुमशुदा की तलाश (29)रंजन को ऐसा कोई उपाय नहीं सूझ रहा था जिससे वह बिना उस शख्स के सामने आए आंचल की मदद कर सके। वह जान रहा था कि किसी भी क्षण वह शख्स आंचल को लेकर वहाँ से चला जाएगा। कुछ ना सूझने पर उसने ईश्वर से प्रार्थना की। वह शख्स आंचल को लेकर लिफ्ट की तरफ बढ़ रहा था। रंजन को लगा कि अब वह कुछ नहीं कर पाएगा। तभी उसने देखा कि एक आदमी ने उस शख्स ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 30

गुमशुदा की तलाश (30)प्रोफेसर दीपक वोहरा आंचल की गुस्ताखी पर आग बबूला था। वह समझ नहीं पा रहा था कि अचानक इस लड़की में इतनी हिम्मत कहाँ से आ गई कि वह ना सिर्फ उसकी परवाह किए बिना होटल से चली गई बल्कि उसकी कॉल को रिकॉर्ड कर उसे ब्लैकमेल कर रही है। प्रोफेसर दीपक वोहरा ने एक चाल के तहत कार्तिक को आंचल के नज़दीक जाने को कहा था। ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 31

गुमशुदा की तलाश (31)आंचल अपनी कहानी बताते हुए चुप हो गई। उसकी आँखों में आंसू थे। गला रुंधा हुआ था। रंजन ने उसे पानी लाकर दिया। पानी पीने के बाद वह कुछ सामान्य हुई। "कार्तिक मुझसे प्यार नहीं करता था। दरअसल वह तो प्रोफेसर दीपक वोहरा के हाथों की कठपुतली था। वह उनके इशारे पर मुझे फंसा रहा था। उसने मेरे और उसके अंतरंग पलों के दो वीडियो बनाए थे। वह ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 32

गुमशुदा की तलाश (32)कमरे में छत से लटके बल्ब की दूधिया रौशनी में बने वृत्त को सरवर खान बिना किसी वजह के बस यूं ही देख रहे थे। यहाँ करने को कुछ था नहीं। दिन और रात का भी पता नहीं चलता था। सरवर खान एक अंदाज़ के हिसाब से नहा कर नए कपड़े पहन लेते थे।एक आदमी दिन में तीन बार खाना लेकर आता था। वह उनके उतारे हुए कपड़े लांड्री के लिए ले जाता था। जब दोबारा ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 33

गुमशुदा की तलाश (33)ऐलेक्ज़ेंडर ने कुछ समय पहले ही अपने गैंग में कुछ नए लोगों को भर्ती किया था। उसके गैंग में नए व्यक्ति को शामिल होने के लिए पूरी प्रक्रिया से गुज़रना पड़ता था। इस प्रक्रिया के चार दौर होते थे। ऐलेक्ज़ेंडर की एक टीम थी। इस टीम का काम था उन नौजवानों पर नज़र रखना जो गरीबी और बेरोज़गारी का शिकार हों। खासकर एशिया तथा अफ्रीका महाद्वीप के मुल्कों से गैरकानूनी तरीके से लंदन आए लोग। ऐसे लोगों के पास ना ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 34

गुमशुदा की तलाश (34)आंचल ने रंजन को बताया कि बिपिन अपने सपने को लेकर बहुत उत्साहित था। वह उसके बारे में उससे अक्सर बात करता था।प्रोफेसर दीपक वोहरा आंचल से बिपिन की सारी रिपोर्ट लेता था। आंचल ने उसे बताया कि बिपिन अपनी खोज को साकार रूप देने के लिए एक ऐसे व्यक्ति की तलाश कर रहा है जो उसकी मदद कर सके। एक दिन प्रोफेसर दीपक वोहरा ने आंचल को बुला कर कहा कि बिपिन से ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 35

गुमशुदा की तलाश (35)अपनी सफलता के बारे में बताते हुए रॉकी के चेहरे पर एक घमंड भरी मुस्कान थी।"खान साहब इस तरह मैंने ऐलेक्ज़ेंडर को शीशे में उतार लिया था। उसके बाद वह मुझ पर अपने साए की तरह भरोसा करने लगा।"रॉकी के चेहरे पर कुटिलता छा गई। वह अहंकार के साथ बोला।"उसके बाद मैंने ऐलेक्ज़ेंडर के विश्वास का पूरा फायदा उठाया। एक दिन जब वह हद से ज़्यादा पी चुका था तो मैंने उसे हैवी ड्रग्स का इंजेक्शन ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 36

गुमशुदा की तलाश (36)रॉकी ने ऐलेक्ज़ेंडर की हत्या कर बड़ी चालाकी के साथ पहले उसके कारोबार फिर उसकी हर एक चीज़ पर कब्ज़ा कर लिया। इन सब में जैसमिन उसकी भागीदार रही। रॉकी ने अब ड्रग्स के कारोबार में उस मुकाम को दोबारा पा लिया था जहाँ से उसे सब कुछ छोड़ना पड़ा था। लेकिन उसके मन को अभी तसल्ली नहीं मिली थी। वह भारत आकर अपने दो दुश्मनों से बदला लेना चाहता था।एक ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 37

गुमशुदा की तलाश (37)इंस्पेक्टर सुखबीर सिंह जल्द से जल्द बिपिन के केस को सॉल्व करना चाहते थे। प्रोफेसर दीपक वोहरा से उन्हें बहुत सारी बातों का पता चला था। लेकिन प्रोफेसर दीपक यह नहीं जानता था कि बिपिन कहाँ है।बिपिन के बारे में जानने के लिए रॉकी को गिरफ्तार करना बहुत आवश्यक था। उसकी गिरफ्तारी तभी संभव थी जब दीप्ती नौटियाल का पता लगाया जा सके।इंस्पेक्टर सुखबीर सब इंस्पेक्टर राशिद और सरवर खान को लेकर भी चिंतित ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 38

गुमशुदा की तलाश (38)सरवर खान ने अपना प्लान बहुत सोंच समझ कर बनाया। उन्होंने खाना लेकर आने वाले व्यक्ति के सामने इस तरह दिखाना आरंभ किया जैसे कमरे का अकेलापन उन पर असर कर रहा है। उनका मानसिक संतुलन गड़बड़ा रहा है। वह जानते थे कि खाना लेकर आने वाला शख्स सारी खबरें रॉकी तक पहुँचाता है। यह सोंच कर कि जैसा वह चाहता था वैसा ही हो रहा है रॉकी निश्चिंत हो जाएगा। सरवर खान के इस दिखावे का एक असर ...और पढ़े

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गुमशुदा की तलाश - 39

गुमशुदा की तलाश (39)दीप्ती की सूचना मिलने के बाद इंस्पेक्टर सुखबीर अपनी टीम के साथ गोवा आ गए थे। उनकी टीम में सब इंस्पेक्टर नीता, दो हवलदारों के साथ रंजन भी था। गोवा आने के बाद वो लोग इस बात पर विचार कर रहे थे कि अब आगे की कार्यवाही कैसे शुरू की जाए। लेकिन सब इंस्पेक्टर नीता महसूस कर रही थी कि इंस्पेक्टर सुखबीर अभी भी तस्वीर को लेकर उलझन में हैं। सब इंस्पेक्टर नीता ने इंस्पेक्टर सुखबीर से कहा।"सर आप अभी ...और पढ़े

40

गुमशुदा की तलाश - 40

गुमशुदा की तलाश (40)रॉकी के आदमी सरवर खान को कार में बैठा कर जंगल की तरफ ले जा रहे थे। एक आदमी कार चला रहा था। दूसरा सरवर खान के साथ पिछली सीट पर बैठा था।पिछली सीट पर बैठे आदमी ने सरवर खान से कहा।"खान साहब....बस कुछ ही देर में आप इस दुनिया को छोड़ कर जन्नत के लिए निकलने वाले हैं। कैसा लग रहा है ?"अपनी बात कह कर वह खी खी कर हंसने लगा। कार चलाने वाला आदमी ...और पढ़े

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