हम दिल दे चुके सनम - 13 Gulshan Parween द्वारा प्रेम कथाएँ में हिंदी पीडीएफ

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हम दिल दे चुके सनम - 13

अनुष्का माही का इंतजार कर रही थी और उतने में माही भी आ गई अनुष्का माही को लेकर कमरे में चली गई और इससे अमरीका उसकी बातें करने लगी उसके बाद बह अनिल के बारे में उसे बताने लगी अनिल की पर्सनालिटी इसका नाम वह सब कुछ बता रही थी इन्हीं बातों के दौरान अनुष्का ने एयरपोर्ट पर होने वाले झगड़े का भी बताया जिसको सुनकर माही जोर-जोर से हंसने लगी।

"अच्छा तुमने घर मे बताया एयरपोर्ट वाला बाली बात" माही ने पूछा।

"नहीं यार वह सब परेशान हो जाते" अनुष्का उंगली में अनिल घड़ी डालकर घूम रही थी।

"अच्छा ठीक है ये तो बताओ मिहिर से मिली तुम

"नहीं जब एयरपोर्ट पर छोड़ने गया था तभी मुलाकात हुई थी।

"लगता है तुम्हे अनिल से प्यार हो गया है जब से आई हो उसी की बाते किए जा रही हो" माही बोली

"प्यार और मैं" माही की बार सुनकर अनुष्का चौंक गई।

"जी सब दर्द भरी मोहब्बत से पहले यही कहता है मोहब्बत और मैं" माही ने कहा।

"तुम्हें बड़ा एक्सपीरियंस है, पहले तुम बताओ सब ठीक तो है" अनुष्का आईब्रो उचकाती हुई बोली तो माही शर्मा गई।

"वैसे अब कब मिलना है अनिल से" माही ने पूछा।

"देखो बस आज पापा एड्रेस दे दे फिर कल ही पहुंच जाऊंगी उसके, कल आ रही हूं फिर तुम्हारे घर भी ठीक है"

"ओके यार मैं चलती हूं फिर काफी देर हो गई है घर में सब इंतजार कर रहे होंगे उसके बाद माही चली गई।

"पापा आपने एड्रेस निकाल लिया" रात के खाने के दौरान अनुष्का ने पूछा।

"हां बेटा ड्रेस निकाल लिया मैंने वैसे तुम क्यों जाओगे इसके घर, एक काम करो मुझे दे दो इसकी घड़ी ऑफिस में जब भी मुलाकात होगी इसे तब दे दूंगा।

" नहीं पापा मुझे इसका शुक्रिया भी करना है इसलिए आप मुझे दे दीजिए" अनुष्का ने कहा।

"तुम्हारे बाबा कह रहे हैं ना मैं दे आऊंगा तो तुम क्यों जिद कर रही हो" मिसेज मालिक बोली।

"मामा यार आप समझ नहीं रही है बात को घड़ी मैं ही दे कर आऊंगी अनुष्का परेशान होते बोली

"अच्छा बेटा मैं अभी खाना खाकर खाकर करता हूं सेंड तुम दे आना घड़ी और साथ ड्राइवर को ले जाना।

सबको पता था अनुष्का मानने वाली तो है नहीं इसलिए उन्होंन इसकी बात मानना ही ठीक समझा।

पापा बस आप याद से एड्रेस सेंड कर दीजिएगा अनुष्का कहती उठ कर खड़ी हो गई।

"बेटा खाना तो खा लो सही से मिसेज मालिक ने कहा।

"खाना खा लिए मैने" अनुष्का कहते हुए कमरे में चली गई।

उसके अगले दिन नाश्ते से फ्री होने के बाद अनुष्का मोबाइल लेकर बैठ गई। उसने थोड़ी देर मोबाइल चलाया और मोबाइल चलाते-चलाते जब थक गए तो खड़ी होकर अच्छे से तैयार हो गई। अपने आपको आईने में देखने लगी ओ माई गॉड मैं कितनी प्यारी लग रही हु नजर न लगे मुझे किसी की उसने आईने के सामने खुद की तारीफ की और मम्मा को बाय कहते हुए निकलने लगी।

किधर जा रही हो मिसेज मालिक ने पूछा।

"वह मामा अनिल की घड़ी देनी है ना वही जा रही हूं और माही के घर भी जाना है काम है इससे अनुष्का कहते हुए निकलने लगी।

"तो ड्राइवर को साथ ले जाओगे ना" मिसेज मालिक ने कहा।

"हां मम्मा" अनुष्का ने जवाब दिया और बाहर निकलकर अपने ड्राइवर को एड्रेस दिखाया।

"अनुष्का बेटा यह तो बहुत दूर है" कोई बात नहीं तुम बस ले चलो ना अनुष्का बोली और कार में बैठ गई आधे घंटे में अनुष्का वहा पहुंची

"यही वाली बिल्डिंग है"

ठीक है अब तुम जाओ मैं आ जाऊंगी खुद अनुुष्का ने कहा और ड्राइवर को घर भेज दििया।

अनुष्का बिल्डिंग की तरह बढ़ने लगी बिल्डिंग के नीचे एक औरत को देखा जो सब्जियां लेकर जा रही थी

"सुनिए यह मिस्टर अनिल किधर रहते हैं अनुष्का ने उस औरत से पूछा।

"हां वह वहां सेकंड फ्लोर पर रहते हैं औरत ने जवाब दिया और अनुष्का सीढ़िया चढ़ती हुई सेकंड फ्लोर पर पहुंची वहां आमने-सामने गेट थे। अब इनमें से अनिल का घर कौन सा अनुष्का सोच रही थी की दोनो गेट पे नॉक करती हु दोनो में से तो कोई तो होगा ही उसका घर।

कहानी आगे जारी है......