मुकम्मल मोहब्बत - 20 Abha Yadav द्वारा फिक्शन कहानी में हिंदी पीडीएफ

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मुकम्मल मोहब्बत - 20


मुकम्मल मोहब्बत -20


प्यार करो तो इजहार भी जरूरी है. इजहार ही है जो प्यार को मुकम्मल जहां देता है. जहां एक निश्चित दिशा होती है. एक निश्चित मंजिल होती है. हम ताउम्र एकदूसरे के साथ रह सकते हैं.

मुझे भी ऐनी से अपने प्यार का इजहार करना चाहिए. यह ठीक है ऐनी भी मुझे उतना ही प्यार करती है, जितना मैं उसे करता हूँ. लेकिन, न उसने खुलकर अपना प्यार जताया कभी और न ही मैंने कभी अपने प्यार का इजहार किया. कभी मौका ही नहीं मिला. मेरा और ऐनी का अधिकांश समय पढ़ाई और कैरियर की बातों को लेकर ही बीता. कभी रोमांटिक वातावरण ही नहीं हुआ कि दिल मचल कर जज्बात होठों पर आ जायें. बस,एक समझदारी की बुनियाद पर खड़े रहे हम दोनों -विचार एक हैं, एक दूसरे को पंसद भी करते हैं. एक दूसरे के सुख दुख में पूरी जिम्मेदारी से शामिल होते हैं.



लेकिन, यही तो मोहब्बत नहीं है. हम स्कूल, कालेज, सर्विस-जहां जहां जिन लोगों के साथ रहते हैं. उनकी परवाह करते हैं. उनसे सहानुभूति रखते हैं. उनकी परेशानी में साथ रहते हैं. उनकी खुशियों को साझा करते हैं. लेकिन, मोहब्बत!वह तो एक अलग ही एहसास है....


.....हमारी मोहब्बत पास हो तो फिजायें महकने लगती हैं. दिल से तराने निकलने लगते हैं. लब गुनगुनाने लगते हैं-जैसे मधुलिका !

बादल के एहसास भर से ही, उसके चेहरे पर खुशियों के कंवल खिल जाते हैं. उसकी झील सी आँखों में ख्वाहिशों की पनडुब्बियां तैरने लगती हैं. असीम प्यार है, उसकी आँखों के समुदंर में.


प्यार का यह उन्माद भी टीनएज तक ही रहता है. फिर हम प्रेक्टीकली सोचने लगते हैं. यहां प्यार अंधा नहीं रहता. एकदूसरे को बेपनाह पाने की ललक से जायदा-जिदंगी को सही ढ़ंग से जीने का उद्देश्य रहता है. हम देखते हैं, जिसे हम जीवनसाथी के रुप में चुन रहे हैं, वह हमारे साथ कदम से कदम मिला पायेगा या नहीं .उसके साथ हमारा भविष्य निश्चित है या नहीं. सब ठीक लगा तो कुछ डेट साथ की .कैंडल लाईट डिनर किया. रिंग खरीदी और बोल दिया-"यू मेरी मी."


वैसे शादी भी जरूरी है. जिदंगी सेटल करने के लिए. यह भी कैरियर की तरह हमारी जिदंगी का एक मजबूत पड़ाव है.एजूकेशन, जॉब,बिजनेस के लिए हमारे मां-बाप जितना चिंतित रहते हैं, उतना ही हमारी शादी के लिए भी. बचपन से लेकर शादी तक वह अपना पार्ट बखूबी अदा करते हैं. अच्छा जीवन साथी ढूंढना भी अपनी जिम्मेदारी समझते हैं.


ममा भी अपनी इस जिम्मेदारी को पूरा कर देना चाहती हैं. जब भी मिलती हैं-कहीं सेटल हो जाओ.जो पंसद हो उससे शादी कर लो.कितनी बार ऐनी से बात करने आगे बढ़ीं. लेकिन मैंने ही मना कर दिया. सही समय देखकर मैं स्वयं प्रपोज कर दूंगा. लेकिन सही समय.....ममा ठीक कहती हैं. सही समय चलकर नहीं आता. सही समय पर हमें सही समय को खुद पकड़ना पड़ता है.


सच!मोहब्बत को अब तक मैंने इतनी गहराई से सोचा ही नहीं. ममा के प्रेशर डालने पर भी नहीं. बस,इतना ही काफी था कि मैं और ऐनी एकदूसरे को पंसद करते हैं. एकदूसरे की जरुरत भी हैं. लेकिन, जब से मधुलिका से मिला हूँ ,बादल के प्रति उसका अटूट प्यार देखा है.मेरे अंदर प्यार की सुसुप्त पड़ी कोपलें फिर से फूटने लगी हैं. ऐनी को लेकर अंदर एक बैचेनी सी उठ रही है. उसके बिना अपने अंदर खालीपन महसूस कर रहा हूँ.


हां,मधुलिका तुम्हारा बहुत शुक्रगुज़ार हूँ. तुमने मुझे मोहब्बत की खूबसूरत बांदियों के रास्ते फिर से दिखा दिये. तुम्हारे इस एहसान को मैं भूल नहीं सकता. न ही इसका बदला चुका सकता हूँ. लेकिन, मै तुम्हारी तडप को महसूस करने लगा हूँ.मैं तुम्हें तुम्हारे प्यार से अवश्य मिलाऊँगा. बादल से तुम्हारे बारे में बात करूंगा. बताऊंगा उसे-मधुलिका तुम्हारी है. सिर्फ तुम्हारी....


रात का सन्नाटा पसरा हुआ होऔर आप तंहा हो-ख्यालात घुमड़-घुमड़ कर आने लगते हैं.....

इस बार मधुलिका की तरह ऐनी का चेहरा था-शांत, सोम्य, गम्भीर. कितना भी काम का प्रेशर हो चेहरे पर कोई तनाव नहीं. बात खुशी की हो या दुख की कोई उन्माद नहीं. जिदंगी की समझ भी परख भी.ऊँचाई के किसी भी पायदान पर हो ,जमीन से जुड़े रहना. उससे जुड़ा कोई व्यक्ति परेशानी में हो तो काम के बीच उसकी भी चिंता. किसी का ओहदा कुछ भी हो बड़ों का सम्मान करना जानती है. बुजुर्गों की परवाह करना उसकी आदत में शामिल है. कितनी बार ममा के बीमार होने पर काम छोड़कर ममा के साथ रही. ममा भी शायद उसको परख चुकीं हैं ,तभी उसे प्रपोज करने की बात करतीं हैं.



आज मैंने दिल की बात होठों पर लाने का निश्चय कर लिया. मैंने लेपटॉप उठाया और एक लाल गुलाब के साथ ऐनी को मैसेज कर दिया -आई लव यू."


रात के बारह बज रहे हैं .ऐनी सो रही होगी. सुबह गुडमार्निंग के मैसेज के साथ ही देखेगी. सोचकर मैं लेपटॉप बंद ही करने वाला था कि उधर से ऐनी का मैसेज आ गया-"आई लव यू टू."



मैं खुशी से उछल पड़ा.किसी ने सच ही कहा है-पुरुष की कामयाबी में स्त्री का हाथ होता है. हां,मेरी मोहब्बत की कामयाबी में मधुलिका का हाथ है.


क्रमशः