एक कहानी ऐसी भी Sasmita Singh द्वारा लघुकथा में हिंदी पीडीएफ

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एक कहानी ऐसी भी

रात कि १२ बज छुके थे । अनुराधा को नींद आ नहीं रही थी। करवटें बदल रही थी और अपनी किसी खयालात कि दुनिया में खो गई थी । आंखो से आशु निकल कर तकिया भीग रहे थे । वो चिक तो रही थी मगर खामोशी से । लफ्जो कि दुकान अपनी दिल पर लगा कर बैठी थी । जज्बातों कि मोती से अपनी हाल सजा रही थी ।
मन ही मन कह रही थी कि इतने दिन हो गया आज आदि को मैसेज कर देती हूं । मगर चारो तरफ से
तो उन्होंने मुुुझे ब्लॉक कर के रखा है । कैसे कुछ कहूं ,
फोन पे ही मेंसेज कर देताी हूं । शायद वो उनके पास पहूुंच जाए ।
छे साल हो गया है । उनको सम्पर्क कर ने के लिए बहुत कोशिश की लेकिन कुछ फायदा नहीं हुआ । एक बार फिर कोशिश कर लेति हूं । यही सोच तेे हूए उसने मैसेज किया ।
मैसेज करते वक्त उसके चेहरे पर वह पूराना प्यार उभर कर आ रही थी । होंठों पर मुस्कान और आंखों मैैं सेे पानी निकल रही थी ।
उसने मैसेज टाइप किया -

Dear adi ,
I am missing you so much..
तुम्हारी तरक्की से मैं बहुत खुश हूं । जब तुम्हारा नाम गूगल पर सर्च करतीी हूं , तब मुझे बहुत गर्व महसूस हो रहीी है । तुम और भी आगे जाओ यह मेरी दुआ है ।
आज मैं तुम्हें कुछ कहना चाहती हूं । कृपया इस बार यह मैसेज को नजरअंदाज मत करना ।
मुझे मालूम है तुम्हें रिलेशनशिप में घुटन होतीी है ।
इसीलिए मैं हमारी पुरानी दोस्ती फिर से निभाााने के लिए मैसेज की हूं । क्या तुम निभाना चाहते हो ?
तुम्हारी रिप्लाई का इंतजार में हूं । रिप्लालाई जरूर करना ।
तुम्हारी अनू

अनू अपनी आंसु पोछते हुए , एक नई उमंंग के साथ सोने चली गई ।
वह अंधेरी रात बीत गई और सुबह की सूरज भी निकल गया, मगर यह क्या आदि के तरफ से एक भी जवाब नहीं आया । अनु निराश हो गई । फिर एक अलग नंबर से आदि को फोन करने की कोशिश की।
अनू बहुत डरी हुई थी , कहींं आदि उस पर गुस्सा नाा हो जाए । फिर एक लंबीीी सांस ली और आदि को फोन घुमाया ।
खुशी की बात अनु के लिए यह था की आदि ने फोन रिसीव किया और बार बार बस हेलो ही कहता रहा ।
अनु आदि के आवाज को सुनने केे लिए 6 सालों से तरस रहीी थी । उसी दिन आदि के आवाज को सुनकर अनु कोो कुछ ऐसा अनुभव हुआ जैसे कोई प्यासी का प्यास बुझ रही हो ।
आदि के हेलो सुनकर अनु ने बात बढ़ाने के लिए कहा
हेलो आदि , मुझे पहचानते हो ना ....
आदि ने धड़ से फोन काट दी । अनु को लगा कि शायद आदि ने उसकी आवाज पहचान गया । इस बात की उसकोो खुशी थी मगर उसकी दुख भी कहां कम था ।
अपनीे गमों को छुपा कर उसने फिर से आदि को फोोन घुमाया । इस बार आदि फोन रिसीव करके कहा

Please don't call me..
I am in a meeting.. if you have anything to tell then text me..

अनु यह सुनकर फोन रख दिया । और आदि को मैसेज किया
ओके आदि जब तुम फ्री हो जाओगे तब मुझे मैसेज कर लेना । मैं तुम्हारी रिप्लाई का इंतजार में हूं । इस बार फिर से निराश मत करना ।
अनु ने आदि के जवाब का इंतजार करने लगा ।
मगर दुख की बात यह है की अनु केे इंतजार कभी खत्म नहीं हुआ ।