अनजान रीश्ता - 26 Heena katariya द्वारा प्रेम कथाएँ में हिंदी पीडीएफ

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अनजान रीश्ता - 26

सेम पारुल के पीछे उसे पकड़ने के लिए भाग रहा होता है। और पारुल हंसते हुए आगे भाग रही होती है । उन दोनों के बीच में चल रहा ये मज़ाक दूर से अविनाश देख रहा होता है। अविनाश ने गुस्से की वजह से हाथ को मुट्ठी में बंद करके खुद को कंट्रोल कर रहा था । तभी वह दो वर्कर को बात करते सुनता है । " लुक एट धेम हाऊ कयुट धेय आर । " यह सुनकर अविनाश ओर भी गुस्सा हो जाता है । और जोर से चिल्लाता है । " पेक अपप्प..." । अविनाश की चिलाने की आवाज सुनकर सब डर जाते हैं । जो जहा खड़ा था वहीं मानो बुत बनके जम गया हो । तभी अविनाश सब की ओर गुस्से मै देखता हैं। जिससे सब उसका इशारा समझ गए और भागते हुए सारी चीजे बैकस्टेज ले जाने में लग जाते हैं । अविनाश फिर गुस्से मै चिल्लाते हुए कहता है -" 20 मिनिट्स यूं गायस हैव 20 मिनिट्स आई वांट धीस प्लेस क्लीन एस इफ नो वन कम हयर ऐंड इफ यूं गायस फेल टू डू धेन बिलीव मी डोंट कम फॉर वर्क टोमोररो यू ओल्ल आर फायर अंडरस्टैंड ।" सारा स्टाफ डरते हुए यस सर कहते हुए यहा वहा भाग रहे होते है । क्योंकि कहीं ना कहीं वो जानते थे की अगर अविनाश ने जैसा कहा वैसा नहीं हुआ तो फिर वो सब जॉब से हाथ धो बैठेगे । अविनाश गुस्से में एक बार फिर से पारुल और सेम की ओर देखता है । वह दोनों अभी भी एक दूसरे के साथ इतने व्यस्त थे की आस पास क्या हो रहा है उन्हें फर्क ही नहीं पड़ता । यह देखकर अविनाश का खून ओर भी खोल उठता है । अगर उसके सामने कोई आए तो वह उस इंसान को वहीं पे जान से मार डाले । अविनाश चहेरे में झूठी मुस्कुराहट लाते हुए जहा सेम और पारुल थे वहा पे जाता है । पारुल मानो एक बुत की तरह खड़ी रह गई हो । उसके चहेरे पे जो मुस्कुराहट थी वो अचानक गायब हो गई । वो अविनाश को देखते ही एक डर सा बैठ गया था उसके दिल में । सेम पारुल को पुछ ही रहा होता है की क्या हुआ । तभी सेम के हाथ को कस के पकड़ते हुए अविनाश की और इशारा करती है । जिससे सेम पारुल के हाथ पर हाथ रखते हुए आंखो से पारुल को कहता है की वह उसके साथ है । अविनाश जैसे सेम और पारुल के करीब पहुंचता है तो उसका ध्यान पारुल और सेम के हाथ पर जाता है । वह गुस्से को कंट्रोल करते हुए मुस्कुराते हुए सेम की ओर देखता है फिर पारुल की ओर । और अविनाश कहता है -

अविनाश: सोरी टू डीस्टरब यू गायस बट अक्टयुली वी हैव टू क्लिक सम पिकचर विथ फॉर न्यूज यूं नो फॉर कॉन्सर्ट एंड लकी फेन एंड ओल काइंड ऑफ शीट्स ( पारुल की ओर देखकर मुस्कुराते हुए )
सेम: या नो वरीस लेट्स गो ...
अविनाश: सोरी सेम बट अक्टयुली धीस फोटो शूट इस ओनली फॉर लकी विनर सो यू कांट कम विथ अस यू नो ....
सेम: नो नो इट्स ओके आई वील फॉर पारो हयर अंटील यू गायस फीनीश वॉट एवर ध फॉमलीटीस आर लेफ्ट
पारुल: ( सेम की ओर आश्चर्य में देखती है और फिर अविनाश की ओर देखती है तो वह मुस्कुरा रहा था । पारुल मानो कुछ कहना चाह रही थी पर उसके मुंह से शब्द नहीं निकल रहे थे । ) से ... म्म्म..?
सेम: पारो डोंट वरी यू वील बी फाईन आई ट्रस्ट हिम मोर धेन माय सेल्फ ।
पारुल: ( सेम की बात को समझ नहीं पा रही थी वह क्या कह रहा है । वह अविनाश पर इतना भरोसा क्यों कर रहा है ।) हन!! हह?
सेम: ओह सॉरी आई डीडनोट इंट्रडयुज यू माय बेड सो मीट माय .... ( सेम का फोन बजता है उसके पापा का फोन था ) सोरी पारो आई हेव टू टेक धिस कोल । यूं गायस फीनीस फोटोशूट फरस्ट आफ़्टर धेट आई वील इंट्रडयुज टू हिम ।
पारुल: ( पारुल समझ नहीं पा रही थी की क्या हो रहा है यहां वहा सेम और अविनाश की ओर देखे जा रही थी ) .....
अविनाश: ( पारुल को ऐसे कनफ्यूज देखकर उसके चहेरे पे एक स्माइल आ जाती है और सोचता है कि कितनी क्युट लग रही है वो । अविनाश फिर सोच रहा है की पारुल उसे क्युट लग रही है । आज उसे हो क्या गया है । ) सो चले प्रीनसेस ( मुस्कुराते हुए )
पारुल: ( पारुल सेम की ओर देखती है वह फोन पे बीजी था लेकिन पारुल की और मुस्कुराते हुए इशारा करता है । पारुल उसे हल्की सी मुस्कुरहट देते हुए अविनाश के साथ जाती है।) या।

पारुल अविनाश यूंही ख़ामोशी से बैकस्टेज की और बढ़ रहे थे । दोनों में से कोई भी कुछ बोलने को तैयार नहीं था । पारुल वैसे ही अविनाश के साथ अकेले होने की वजह से डरी हुई थी । अविनाश इस चुप्पी को तोड़ते हुए कहता है ।-

अविनाश: सो तुम दोनों एक दूसरे को कब से जानते हो?
पारुल: हान? ( अविनाश की ओर देखते हुए )
अविनाश: आई मीन तुम और सेम
पारुल: ओह !! अमम अक्टयुली हम साथ ही में कॉलेज करते है सो फर्स्ट यर से ।
अविनाश: ओके वॉट अबाउट योर रिलेशनशिप विथ हिम ?
पारुल: मतलब? (अविनाश की ओर देखते हुए)
अविनाश: मतलब फर्स्ट यर से दोनों रिलेशनशिप में हो?
पारुल: ( अविनाश की और गुस्से में देखती हैं ) वाय?
अविनाश: ( पारुल की ओर देखते हुए) डोंट गेट मी वरोंग आई वोज जस्ट आस्कींग बिकोज ही नेवर टेल मी अबाउट यू सो ।
पारुल: वॉट्स रिलेशनशिप बेटवेन यू एनड हिम? बीकोज़ ही नेवर टेल मी धेट ही नो यू अपार्ट फ्रॉम धेट ही नो एवरीथीग धेट हाऊ मच आई लाईक यू...... ( पारुल को समझ आता है वह क्या बोल रही है सो वह अपने मुंह पर हाथ रख देती है और अविनाश की ओर देखती हैं )
अविनाश:( अविनाश के चहेरे पे एक बड़ी सी मुस्कराहट आ जाती है वह पारुल की ओर देखते हुए पूछता है ) वॉट डीड यू सेय? ...
पारुल: ( शर्म के कारण उसके गाल लाल हो गए थे) वो... फोटोशूट वी आर.. गेटींग लेट...
अविनाश: हाहाहाहा ( जोर जोर से हंसते हुए ) प्रीनसेस लुक एट योर फेस यू आर लुकींग कयुट ... हाहाहा...
पारुल: ( अविनाश को हसंते देख मानो उसके दिल की धड़कने तेज हो गई थी। वह अविनाश की ओर देख रही थी । बस उसे देखे ही जा रही थी । उसे पता नहीं था की ये क्या हो रहा था । तभी वह मन ही मन सोचती है कि स्माइल में वह काफी क्यूट दिखता है । पारुल को अविनाश खयालों में से बहार लाता है )
अविनाश: ( चुटकी बजाते हुए ) कहा खो गई प्रिंसेस ?
पारुल: अम सोरी वो....
अविनाश: ( पारुल की बात को काटते हुए) अम्म बाय ध वे यू नो वोट आई डीड विथ यू बेक धेन फॉर धेट ..... आई .. ए आईआई.. एम ... सोरी ...
पारुल: ( अविनाश की ओर आश्चर्य में देखते हुए) हन!!!
अविनाश: यू नो अक्टयुली आई नेवर से सोरी टू एनी वन सो ..
पारुल: ( अविनाश की और देखते हुए समझ नहीं पाती क्या कहे )....
अविनाश: सो आई होप सो यू फर्गीव मी....
पारुल: अम्मम... इट्स ओके के....( समझ नहीं पा रही थी क्या कहे )
अविनाश: ( मुस्कुराते हुए ) सो चले बिकोज़ धेय आर वेटींग फॉर अस लुक... ( बैकस्टेज की ओर इशारा करते हुए )
पारुल: ( बेकस्टेज स्टाफ को इंतजार करते हुए देख पारुल कहती है ) या आई थींग वी शुल्ड ...( अविनाश की और मुस्कुराते हुए )

दोनों बैकस्टेज जा रहे थे । तभी अविनाश की और देखते हुए पारुल सोचती है की वह उसे जितना बुरा समजती थी । वह उतना भी बुरा इंसान नहीं है । तभी अविनाश पारुल की ओर देखता है तो पारुल शर्म की वजह से इधर उधर देखने लगती है । और सोचती है की यह दूसरी बार है जब वह उसे देखते हुए खयालों में खो गई। यह आखिर हो क्या रहा है उसके साथ । तभी अविनाश पारुल के करीब आते हुए कान में धीरे से कहता है - " डोंट वरी यू केन लुक एट मी अस मच यू वांट आई डोंट माइंड एट ओल " और पारुल की ओर विंक करता है । पारुल पेट में मानो तितलियां उड़ रही हो इसी फीलींग आ रही थी । वह कुछ कह नहीं पा रही थी । अविनाश उसकी ऐसी हालत देखकर मुस्कुरा रहा था। पारुल पर उसका जो असर हो रहा था उसे देखकर उसे मज़ा आ रहा था। वह मुस्कुराते हुए मेकअप आर्टिस्ट के पास जाता है । पारुल जहा थी वहीं खड़ी रह गई थी ।