यह कहानी हरिबोल नामक एक बूढ़े व्यक्ति और ईवान वेल्च नामक एक ओहदेदार प्रतिनिधि के जीवन को प्रस्तुत करती है। हरिबोल, एक भिखारी की तरह, एक सूखे सेमल वृक्ष के नीचे बैठा है। वह अकेला और उलझन में है, जबकि मोहल्ले के बच्चे उसके पास खेलते थे, लेकिन आज सब गायब हैं। उसकी भूख और सामाजिक स्थिति उसे परेशान कर रही है। सिपाही बगलाचरण उसकी हालात पर टिप्पणी करता है, यह बताते हुए कि जब बच्चे उसे हरिबोल कहते हैं, तो वह उन पर गुस्सा करता है। हरिबोल की भूख उसे और भी निराश करती है, और वह सिर्फ एक बार अपना नाम सुनने की इच्छा रखता है जिससे उसका पेट भर जाए। दूसरी ओर, ईवान वेल्च एक प्लेन में बैठा है, जो विश्व परिक्रमा पर है। वह थका हुआ और चिंतित है, अपने काम के दबाव में। वह अपनी सेक्रेटरी को डिक्टेशन दे रहा है और बाहर के दृश्य को देखता है, जहां सूर्य ढल रहा है। उसकी स्थिति और हरिबोल की स्थिति के बीच एक गहरा अंतर है, लेकिन दोनों में एक समानता है - जीवन की चुनौतियों का सामना करना। कहानी में पात्रों की मानसिक स्थिति और उनके चारों ओर के वातावरण का गहरा चित्रण किया गया है।
cricket
Shesh Amit
द्वारा
हिंदी लघुकथा
1.9k Downloads
6.3k Views
विवरण
this story is translation of a bengali story written by shirshendu mukhopadhyay,a sahitya academi prize winner.
अन्य रसप्रद विकल्प
- हिंदी लघुकथा
- हिंदी आध्यात्मिक कथा
- हिंदी फिक्शन कहानी
- हिंदी प्रेरक कथा
- हिंदी क्लासिक कहानियां
- हिंदी बाल कथाएँ
- हिंदी हास्य कथाएं
- हिंदी पत्रिका
- हिंदी कविता
- हिंदी यात्रा विशेष
- हिंदी महिला विशेष
- हिंदी नाटक
- हिंदी प्रेम कथाएँ
- हिंदी जासूसी कहानी
- हिंदी सामाजिक कहानियां
- हिंदी रोमांचक कहानियाँ
- हिंदी मानवीय विज्ञान
- हिंदी मनोविज्ञान
- हिंदी स्वास्थ्य
- हिंदी जीवनी
- हिंदी पकाने की विधि
- हिंदी पत्र
- हिंदी डरावनी कहानी
- हिंदी फिल्म समीक्षा
- हिंदी पौराणिक कथा
- हिंदी पुस्तक समीक्षाएं
- हिंदी थ्रिलर
- हिंदी कल्पित-विज्ञान
- हिंदी व्यापार
- हिंदी खेल
- हिंदी जानवरों
- हिंदी ज्योतिष शास्त्र
- हिंदी विज्ञान
- हिंदी कुछ भी
- हिंदी क्राइम कहानी