CHIRAG KA JINN book and story is written by Sourabh Vashishtha in Hindi . This story is getting good reader response on Matrubharti app and web since it is published free to read for all readers online. CHIRAG KA JINN is also popular in Short Stories in Hindi and it is receiving from online readers very fast. Signup now to get access to this story. CHIRAG KA JINN Sourabh Vashishtha द्वारा हिंदी लघुकथा 2 1.6k Downloads 10.1k Views Writen by Sourabh Vashishtha Category लघुकथा पढ़ें पूरी कहानी मोबाईल पर डाऊनलोड करें विवरण चिराग़ का जिन्न सौरभ अधीक्षक की सोच थी कि अधीक्षक हो स्टिक (यानी स्ट्रिक्ट) और बाबू हो क्विक......... दफ््तर ताइयों चलदा। लोहा और बाबू अगर बेकार पड़े रहें तो उन्हें जंग लग जाता है। लोहा गरम होने पर ही काम आता है वैसे ही बाबू भी काम करते करते गरम रहना चाहिए। वैसे भी बेकार दिमाग़ शैतान का घर। इसलिए अधीक्षक दफतर के बाबूओं को किसी न किसी काम में लगाए रखता। कुछ नहीं तो टाईप ही करवाता। दिन मेें एकाध लेटर ही टाईप के लिए होता। जब बाबू टाइप करके लाते तो चोरी से उसे फाड़ देता। नए नए More Likes This मझली दीदी द्वारा S Sinha बुजुर्गो का आशिष - 2 द्वारा Ashish नो मोर अभी नहीं द्वारा S Sinha शैतान का कुचक्र - 1 द्वारा LM Sharma सारथी द्वारा Lo t u s Mohabbat ya Dhokha - 1 द्वारा aruhi टूटी फूटी कहानियों का संग्रह - भाग 1 द्वारा Sonu Kasana अन्य रसप्रद विकल्प हिंदी लघुकथा हिंदी आध्यात्मिक कथा हिंदी फिक्शन कहानी हिंदी प्रेरक कथा हिंदी क्लासिक कहानियां हिंदी बाल कथाएँ हिंदी हास्य कथाएं हिंदी पत्रिका हिंदी कविता हिंदी यात्रा विशेष हिंदी महिला विशेष हिंदी नाटक हिंदी प्रेम कथाएँ हिंदी जासूसी कहानी हिंदी सामाजिक कहानियां हिंदी रोमांचक कहानियाँ हिंदी मानवीय विज्ञान हिंदी मनोविज्ञान हिंदी स्वास्थ्य हिंदी जीवनी हिंदी पकाने की विधि हिंदी पत्र हिंदी डरावनी कहानी हिंदी फिल्म समीक्षा हिंदी पौराणिक कथा हिंदी पुस्तक समीक्षाएं हिंदी थ्रिलर हिंदी कल्पित-विज्ञान हिंदी व्यापार हिंदी खेल हिंदी जानवरों हिंदी ज्योतिष शास्त्र हिंदी विज्ञान हिंदी कुछ भी हिंदी क्राइम कहानी