नागिन और रहस्यमयि दुनिया - 16 Neha Hudda द्वारा फिक्शन कहानी में हिंदी पीडीएफ

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नागिन और रहस्यमयि दुनिया - 16

                 

                               Part :16

                    नागदंत और रुद्रांगी कि हार 💫


नागदंत से सामना ...💕💕💫


नागराज और मेनका ने नागदंत का सामना किया। नागदंत ने अपना सबसे खतरनाक जहरीला साँप छोड़ा, लेकिन नागराज ने अपनी शक्ति से उसे रोक लिया।मेनका ने अपनी शक्ति से नागदंत को कमजोर कर दिया। नागराज ने नागदंत पर हमला किया और उसे हरा दिया।नागदंत घायल होकर वहाँ से भाग गया।। 🙊🙂



रुद्रांगी को यह बात पता चली कि नागराज और मेनका ने नागदंत को हरा दिया है। वह गुस्से से भर गई और उसने नागराज और मेनका को मारने का फैसला किया। रुद्रंगी अपने गुस्से पर कंट्रोल नही कर पाई वह गुस्से में उन दोनों के पास गयी और उनसे बोली कि नागराज “मैं तुम दोनों को खत्म कर दूँगी, तुम दोनों ने मिलकर मुझसे  मेरी खुशीयाँ छीनी है”।। उसने उनपर हमला करना शुरू कर दिया ।। 💭💭



रुद्रांगी ने अपनी सबसे खतरनाक शक्ति का उपयोग किया और नागराज और मेनका पर हमला किया। लेकिन नागराज और मेनका ने मिलकर रुद्रांगी को हरा दिया। रुद्रंगी ने अपनी तपस्या से बहुत से  अस्त्र  और शक्तियाँ हासिल किए हुए हैं  ।।उन सभी में से एक है उसकी किसी को भी hypnonize करने की शक्ति।। उनसे हारने के बाद रुद्रंगी वहा से चली जाती है।। थोड़ी देर बाद नागरानी को मेनका ने सब सच  बता दिया की रुद्रंगी ने कैसे आज उन दोनों को मारने की कोशिश की यह सब सुनकर नागरानी रुद्रांगी के पास जाती है।। नागरानी ने रुद्रांगी को समझाया कि उसकी योजनाएं गलत थीं और उसे अपने गुस्से पर काबू रखना चाहिए। रुद्रांगी ने अपनी गलती का एहसास किया और उसने नागराज और मेनका से माफी मांगी।उसने कहा की मुझे पता है की मै गलत हु मुझे माफ़ कर देना । वह वचन देती है कि मैं आगे से कभी ऐसा कुछ नही करूँगी । क्या रुद्रंगी सच मैं शर्मिंदा है या फिर यह उसकी कोई चाल है? नागराज और मेनका ने रुद्रांगी को माफ कर दिया और नागरानी ने उनकी शादी की तैयारी शुरू कर दी।💬💬



क्या नागराज और मेनका खुशी से जीवन बिताएंगे? क्या रुद्रांगी अपने गुस्से पर काबू रख पाएगी?💫💫


Rudrangi नागराज को अब भी प्रेम करती है। 💕वह उनको किसी और के साथ नही देख सकती।। इन सभी के बीच नागमाता बीमार हो गयी और उन्होंने फैसला किया वह जल्द ही अपनी तीनो बेटियों में से किसी एक को आगे नागरानी बनने के लिए चुनेगी।। यह फैसला सुनकर Rudrangi बहुत खुश थी । वह नागरानी बनना चाहती थी।। Rudrangi उस नागमणि को पाना चाहती थी, जो नागमाता के पास थी ।। रुद्रांगी को बचपन से ही बहुत शक्तिशाली बनना था वह बचपन से ही नागलोक की रानी बनने के सपने देखने लगी।। Urvashi बहुत ही सीधी और सरल लड़की थी वह बचपन से ही इन सब बंधनों से मुक्त रहना चाहती थी।। उर्वशी को नागरानी बनने का बिल्कुल भी मन नही था वह अपनी साधारण जिंदगी से बेहद खुश थी।। 💕


नागरानी ने अपनी तीनों बेटियों को बुलाकर कहा, "आने वाले समय में नागरानी कौन बनेगी, इसका फैसला मैं नहीं बल्कि स्वयं नागमणि करती है।😶‍🌫🙃 नागमणि तीनों बेटियों में से जिस के भी हाथ में स्वयं जाकर चमकना शुरू कर देगी, उसी बेटी के अंदर वह स्वयं चली जाएगी और वही नागरानी बनेगी।"नागमणि उसी  को चुनती है जो उसको सबसे उचित शासक लगता है।। ♥


उन्होंने आगे कहा, "आने वाली पूर्णिमा की रात तुम तीनों में से कोई एक नागरानी बनेगी। जाओ और तैयारियाँ शुरू करो। इस तरह नागरानी ने अपनी बेटियों को नागरानी बनने के लिए तैयारियां करने का आदेश दिया और उन्हें अपनी शक्ति को पहचानने के लिए प्रेरित किया।💕



तीनो बहने आने वाली पूर्णिमा की तयारी मै लग गई।। Rudrangi मन ही मन बहुत खुश थी क्यूँकि उसको लग रहा था की नागमणि उसको ही रानी बनाने के लिए चुनेगी।क्योंकि उन तीनो में सबसे उचित वह ही है ऐसा उसको लगा है। पूर्णिमा की रात तीनो बहने एक साथ आकर नागमाता के पास पास बैठ गयी। नागमाता ने एक पूजा शुरू की जिसके खत्म होने पर नागमणि आने वाली रानी को चुनेगी।। नागराज ने Mohanlal को जो पत्र लिख था उसमे उन्होंने एक बात का जिक्र किया था की नागमणि हर 18 साल बाद नागों के शरीर से बाहर आती है यह बात सच थी आज वही रात थी जब नागमणि नागमाता के शरीर से बाहर आयेगी और  आगे आने वाला  नागमाता को स्वयं चुनेगी।। पूजा समाप्त होते ही नागमणि नागमाता के शरीर से बाहर आ गई।। Naagmata ने मणि को कहा है मेरी शक्तियों के श्रोत हमारी होने वाली अगली नागमाता को चुनो और उसके शरीर में प्रवेश करो 😇💫।। 


नागमणि ने अपनी दृष्टि तीनों बहनों पर डाली। रुद्रांगी को लगा कि नागमणि उसकी ओर देख रही है, लेकिन नागमणि की दृष्टि ने तीनों बहनों को एक-एक कर देखा.



नागमणि ने अपनी शक्ति से तीनों बहनों के हृदय की परीक्षा की। रुद्रांगी के हृदय में अभिमान और आत्मविश्वास था, लेकिन उसके अंदर एक अज्ञात भय भी था। मध्य बहन मोहिनी के हृदय में करुणा और दया थी, लेकिन उसके अंदर एक छोटी सी ईर्ष्या भी थी। उर्वशी के हृदय में प्रेम और सहनशीलता थी, लेकिन उसके अंदर एक अद्भुत साहस भी था.



नागमणि ने अपनी शक्ति से तीनों बहनों के भविष्य को देखा। रुद्रांगी के भविष्य में एक महान योद्धा की छवि थी, लेकिन उसके साथ एक खतरनाक शत्रु भी था। मोहिनी के भविष्य में एक महान ज्ञानी की छवि थी, लेकिन उसके साथ एक गहरा दुख भी था। उर्वशी के भविष्य में एक महान नेता की छवि थी, लेकिन उसके साथ एक अद्भुत चुनौती भी थी।



नागमणि ने अपनी शक्ति से तीनों बहनों के हृदय और भविष्य को देखकर एक निर्णय लिया। वह उर्वशी के शरीर में प्रवेश करने के लिए आगे बढ़ी।



रुद्रांगी को लगा कि नागमणि उसकी ओर आ रही है, लेकिन नागमणि ने उर्वशी को चुन लिया।नागमणि उर्वशी को देखते ही चमकने लगी और उर्वशी के शरीर में नागमणि की शक्ति प्रवेश कर गई। उर्वशी की आँखें चमकने लगीं और उसके शरीर में एक अद्भुत परिवर्तन आया।



नागमाता ने कहा, "उर्वशी, तुम अब हमारी नई नागमाता हो। तुम्हारी शक्ति और साहस हमें गर्व से भर देता है।"



रुद्रांगी और मोहिनी ने उर्वशी को आशीर्वाद दिया और नागमाता के रूप में स्वीकार किया। 

आपको तो पता ही है की नागमाता उर्वशी ही बन गयी ।। लेकिन क्या इस बात को Rudrangi सहन कर पायेगी?? क्या होगा आगे...... आखिर kya करने वाली है रुद्रांगी?




To be continued..... 💭♥