कहानी संग्रह "आओ लतिका घर चलें" प्रकाश मनु द्वारा लिखा गया है। प्रकाश मनु का जन्म 12 मई, 1950 को शिकोहाबाद, उत्तर प्रदेश में हुआ। उन्होंने विज्ञान में शिक्षा प्राप्त की, लेकिन बाद में साहित्य की ओर रुख किया। उन्होंने आगरा विश्वविद्यालय से हिंदी में एम.ए. और कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय से शोध किया। वे कई वर्षों तक 'नंदन' पत्रिका के संपादक रहे और अब स्वतंत्र लेखन कर रहे हैं। उनके लेखन में उपन्यास, कविता संग्रह और बच्चों के लिए कई कहानियाँ शामिल हैं। उनके प्रसिद्ध कार्यों में 'यह जो दिल्ली है', 'कथा सर्कस', और 'पापा के जाने के बाद' जैसे उपन्यास शामिल हैं। उन्होंने बाल साहित्य के लिए लगभग सौ पुस्तकें लिखी हैं, जिनमें 'गंगा दादी जिंदाबाद' और 'किस्सा एक मोटी परी का' जैसी कहानियाँ हैं। प्रकाश मनु का लेखन न केवल मनोरंजक है, बल्कि यह बच्चों को सीखने और उनकी कल्पनाओं को विकसित करने में भी मदद करता है।
आओ लतिका घर चलें
Prakash Manu
द्वारा
हिंदी बाल कथाएँ
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विवरण
Aao Latika Ghara Chle
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