कहानी 'गीली मिठास' श्याम बिहारी श्यामल द्वारा लिखी गई है, जो पलामू के सूखा-अकाल पर केंद्रित उपन्यास 'धपेल' के लेखक हैं। यह कहानी भ्रष्टाचार के मुद्दे को उठाते हुए एक नई संवेदना के साथ प्रस्तुत की गई है। इसमें दिखाया गया है कि कुछ ईमानदार अधिकारी अपने अलावा किसी और को सही नहीं मानते, जो कि एक अतिवादी सोच है। कहानी यह भी दर्शाती है कि समाज नैतिक रूप से मरा नहीं है और बदलाव की संभावना अभी भी बाकी है। इस कहानी की भाषा-शैली रोचक, चुटीली और पठनीयता में अद्भुत है, जिससे पाठक इसे पढ़ते समय अन्यथा नहीं छोड़ सकता। लेखक श्याम बिहारी श्यामल ने विभिन्न विधाओं में लेखन किया है और वह दैनिक जागरण के वाराणसी संस्करण में मुख्य उप संपादक हैं। 'गीली मिठास' में एक नई सोच और गहरी संवेदनाओं के साथ पाठकों को एक विचारशीलता की ओर ले जाने की क्षमता है। गीली मिठास Shyam Bihari Shyamal द्वारा हिंदी लघुकथा 1.2k 2.1k Downloads 8.3k Views Writen by Shyam Bihari Shyamal Category लघुकथा पढ़ें पूरी कहानी मोबाईल पर डाऊनलोड करें विवरण एक लंबी कहानी जो बता रही कि पूरी दुनिया गलीज में तब्दील नहीं हो चुकी, संसार का हर आदमी अभी भ्रष्ट नहीं हुआ.. More Likes This उड़ान (1) द्वारा Asfal Ashok नौकरी द्वारा S Sinha रागिनी से राघवी (भाग 1) द्वारा Asfal Ashok अभिनेता मुन्नन द्वारा Devendra Kumar यादो की सहेलगाह - रंजन कुमार देसाई (1) द्वारा Ramesh Desai मां... हमारे अस्तित्व की पहचान - 3 द्वारा Soni shakya शनिवार की शपथ द्वारा Dhaval Chauhan अन्य रसप्रद विकल्प हिंदी लघुकथा हिंदी आध्यात्मिक कथा हिंदी फिक्शन कहानी हिंदी प्रेरक कथा हिंदी क्लासिक कहानियां हिंदी बाल कथाएँ हिंदी हास्य कथाएं हिंदी पत्रिका हिंदी कविता हिंदी यात्रा विशेष हिंदी महिला विशेष हिंदी नाटक हिंदी प्रेम कथाएँ हिंदी जासूसी कहानी हिंदी सामाजिक कहानियां हिंदी रोमांचक कहानियाँ हिंदी मानवीय विज्ञान हिंदी मनोविज्ञान हिंदी स्वास्थ्य हिंदी जीवनी हिंदी पकाने की विधि हिंदी पत्र हिंदी डरावनी कहानी हिंदी फिल्म समीक्षा हिंदी पौराणिक कथा हिंदी पुस्तक समीक्षाएं हिंदी थ्रिलर हिंदी कल्पित-विज्ञान हिंदी व्यापार हिंदी खेल हिंदी जानवरों हिंदी ज्योतिष शास्त्र हिंदी विज्ञान हिंदी कुछ भी हिंदी क्राइम कहानी