झिलमिल सपने दिनेश कुमार कीर द्वारा कुछ भी में हिंदी पीडीएफ होम किताबें हिंदी किताबें कुछ भी किताबें झिलमिल सपने shimmering dreams book and story is written by दिनेश कुमार in Hindi . This story is getting good reader response on Matrubharti app and web since it is published free to read for all readers online. shimmering dreams is also popular in Anything in Hindi and it is receiving from online readers very fast. Signup now to get access to this story. झिलमिल सपने दिनेश कुमार कीर द्वारा हिंदी कुछ भी 294 726 1.देख सकता हूं मैं दूर तलक।है बाज सी ये मेरी नजर।।कहीं छिपा नहीं कुछ भी हमसे।जमी हो या चाहे हो फलक।। रखती हूं सबसे दोस्ताना व्यवहार।दिलों को जीतने का है मुझ में हुनर।।लिखती हूं अल्फाजों में दिल की दास्तां।में ...और पढ़ेख्वाबों में ही करती हूं सफर।।कहते हैं लोग मुझे काव्य संपदा।कल्पना लोक में है मेरा शहर।। 2.कांच के इक खिलोने सा, रहा है टूटता ये दिल। रहा चलता मुसाफिर सा, मिली मुझको नही मंजिल।मुश्किलों से भरी राहें बढाती ही गई उलझन। मेरी कश्ती वहां डूबी जहां था दिख रहा साहिल। 3.तमन्ना चाहतों की वो, सजा हर साल रखते है।मुझे मालूम कम पढ़ें पढ़ें पूरी कहानी मोबाईल पर डाऊनलोड करें झिलमिल सपने अन्य रसप्रद विकल्प हिंदी लघुकथा हिंदी आध्यात्मिक कथा हिंदी फिक्शन कहानी हिंदी प्रेरक कथा हिंदी क्लासिक कहानियां हिंदी बाल कथाएँ हिंदी हास्य कथाएं हिंदी पत्रिका हिंदी कविता हिंदी यात्रा विशेष हिंदी महिला विशेष हिंदी नाटक हिंदी प्रेम कथाएँ हिंदी जासूसी कहानी हिंदी सामाजिक कहानियां हिंदी रोमांचक कहानियाँ हिंदी मानवीय विज्ञान हिंदी मनोविज्ञान हिंदी स्वास्थ्य हिंदी जीवनी हिंदी पकाने की विधि हिंदी पत्र हिंदी डरावनी कहानी हिंदी फिल्म समीक्षा हिंदी पौराणिक कथा हिंदी पुस्तक समीक्षाएं हिंदी थ्रिलर हिंदी कल्पित-विज्ञान हिंदी व्यापार हिंदी खेल हिंदी जानवरों हिंदी ज्योतिष शास्त्र हिंदी विज्ञान हिंदी कुछ भी