हनुमान प्रसाद पोद्दार जी (श्रीभाई जी) - 49 Shrishti Kelkar द्वारा जीवनी में हिंदी पीडीएफ होम किताबें हिंदी किताबें जीवनी किताबें हनुमान प्रसाद पोद्दार जी (श्रीभाई जी) - 49 हनुमान प्रसाद पोद्दार जी (श्रीभाई जी) - 49 Shrishti Kelkar द्वारा हिंदी जीवनी 57 219 श्रीकृष्ण जन्मस्थान, मथुरा के मन्दिर का उद्घाटन श्रीराम जन्मभूमि अयोध्या की भाँति मथुरामे श्रीकृष्ण जन्मस्थान का गौरव भी लुप्तप्राय हो गया था। वहाँके प्राचीन मन्दिरको मुगल सम्राटो ने ध्वस्त कर दिया था महामना मालवीयजी की प्रेरणासे इसके पुनरुद्धार करने ...और पढ़ेकार्य श्रीजुगलकिशोर जी बिरलाने अपने हाथमें लिया था।लेकिन श्रीकृष्ण जन्मस्थानके लुप्त गौरव की पुनस्थापनाके लिये मन्दिर और भागवत भवनके निर्माणकी योजना बनाकर उसे कार्यान्वित कराने का श्रेय भाईजी को ही है। इसकी भूमिका बनी थी भाईजी के तीर्थयात्रा के समय। जब भाईजी मथुरा पधारे तो उनके स्वागत समारोहके समय एक सज्जनने कहा– मथुराने प्रतिवर्ष लाखों यात्री आते हैं। ऐसा कौन कम पढ़ें पढ़ें पूरी कहानी मोबाईल पर डाऊनलोड करें हनुमान प्रसाद पोद्दार जी (श्रीभाई जी) - 49 श्री हनुमान प्रसाद पोद्दार (श्रीभाईजी) - उपन्यास Shrishti Kelkar द्वारा हिंदी - जीवनी (18) 16k 33.8k Free Novels by Shrishti Kelkar अन्य रसप्रद विकल्प हिंदी लघुकथा हिंदी आध्यात्मिक कथा हिंदी फिक्शन कहानी हिंदी प्रेरक कथा हिंदी क्लासिक कहानियां हिंदी बाल कथाएँ हिंदी हास्य कथाएं हिंदी पत्रिका हिंदी कविता हिंदी यात्रा विशेष हिंदी महिला विशेष हिंदी नाटक हिंदी प्रेम कथाएँ हिंदी जासूसी कहानी हिंदी सामाजिक कहानियां हिंदी रोमांचक कहानियाँ हिंदी मानवीय विज्ञान हिंदी मनोविज्ञान हिंदी स्वास्थ्य हिंदी जीवनी हिंदी पकाने की विधि हिंदी पत्र हिंदी डरावनी कहानी हिंदी फिल्म समीक्षा हिंदी पौराणिक कथा हिंदी पुस्तक समीक्षाएं हिंदी थ्रिलर हिंदी कल्पित-विज्ञान हिंदी व्यापार हिंदी खेल हिंदी जानवरों हिंदी ज्योतिष शास्त्र हिंदी विज्ञान हिंदी कुछ भी Shrishti Kelkar फॉलो