Aastikta aur Nastikta - 1 book and story is written by Ravi Prakash Singh in Hindi . This story is getting good reader response on Matrubharti app and web since it is published free to read for all readers online. Aastikta aur Nastikta - 1 is also popular in Spiritual Stories in Hindi and it is receiving from online readers very fast. Signup now to get access to this story. आस्तिकता और नास्तिकता - 1 रवि प्रकाश सिंह रमण द्वारा हिंदी आध्यात्मिक कथा 2.1k Downloads 7.8k Views Writen by रवि प्रकाश सिंह रमण Category आध्यात्मिक कथा पढ़ें पूरी कहानी मोबाईल पर डाऊनलोड करें विवरण प्रश्न:ईश्वर कहां है!अगर है तो दिखाई क्यों नहीं देता? इस समस्त ब्रह्माण्ड में हीं ईश्वरीय चेतना प्रवाहित हो रही है।इसके कण कण में ईश्वर व्याप्त है। बिजली से बल्ब पंखा कुलर हीटर जलते चलते आप देख सकते हैं बिजली को देखा है आपने!अगर नहीं देखा है तो फिर क्या बिजली का अस्तित्व नहीं है?बिजली की तरह इस सम्पूर्ण जगत में जो चेतना का प्रवाह है वही ईश्वर है।आप ईश्वर को मानेंगे तो भी वो चेतना आपके अंदर है और नहीं मानेंगे तो भी वो चेतना आपके साथ साथ पूरे ब्रह्मांड में प्रवाहित होती रहेगी।अब बात आती है मंत्र जप More Likes This बुजुर्गो का आशिष - 3 द्वारा Ashish स्पंदन - 1 द्वारा Madhavi Marathe भगवान् के चौबीस अवतारों की कथा -8 द्वारा Renu चैनल की डिश वाला भूत द्वारा Aariz Billan आत्मज्ञान की यात्रा - सारांश द्वारा atul nalavade मानव भेड़ियाँ और रोहिणी - 1 द्वारा Sonali Rawat पावागढ़ मंदिर - भाग 1 द्वारा Neelam Kulshreshtha अन्य रसप्रद विकल्प हिंदी लघुकथा हिंदी आध्यात्मिक कथा हिंदी फिक्शन कहानी हिंदी प्रेरक कथा हिंदी क्लासिक कहानियां हिंदी बाल कथाएँ हिंदी हास्य कथाएं हिंदी पत्रिका हिंदी कविता हिंदी यात्रा विशेष हिंदी महिला विशेष हिंदी नाटक हिंदी प्रेम कथाएँ हिंदी जासूसी कहानी हिंदी सामाजिक कहानियां हिंदी रोमांचक कहानियाँ हिंदी मानवीय विज्ञान हिंदी मनोविज्ञान हिंदी स्वास्थ्य हिंदी जीवनी हिंदी पकाने की विधि हिंदी पत्र हिंदी डरावनी कहानी हिंदी फिल्म समीक्षा हिंदी पौराणिक कथा हिंदी पुस्तक समीक्षाएं हिंदी थ्रिलर हिंदी कल्पित-विज्ञान हिंदी व्यापार हिंदी खेल हिंदी जानवरों हिंदी ज्योतिष शास्त्र हिंदी विज्ञान हिंदी कुछ भी हिंदी क्राइम कहानी