The serpent - why the fifth chapter book and story is written by Datta Jaunjat in Hindi . This story is getting good reader response on Matrubharti app and web since it is published free to read for all readers online. The serpent - why the fifth chapter is also popular in Short Stories in Hindi and it is receiving from online readers very fast. Signup now to get access to this story. नागिन - का पाचवा अध्याय Datta Jaunjat द्वारा हिंदी लघुकथा 1.2k Downloads 4.9k Views Writen by Datta Jaunjat Category लघुकथा पढ़ें पूरी कहानी मोबाईल पर डाऊनलोड करें विवरण ये काहाणी सो साल पुराणी हे एक टेकडी पे मूजूत मंदिर से शुरू होगा नागिन का पाचवा अध्याय मंदिर मे आरती चालू थी तब शिव के चरणो से एक नागिन आती है और वो तांडव करती है तब शिव आते है और बोलते है आप सबकी क्या समस्या हे तब सब बोलते है हमे बचाओ वो दानव फिरसे आगया हे तब शिव बोलते है मे इस नागिन को महानागराणी का वरदान देता हु और वो आप सब कि रक्षा करेगी तब सब उसे उसका नाम पुछते हे तब वो बोलती हे मेरा नाम रुही हे तब सब चले जाते हे More Likes This सनातन - 2 द्वारा अशोक असफल वो यादगार लम्हे, वो सच्ची दोस्ती द्वारा R B Chavda दादीमा की कहानियाँ - 2 द्वारा Ashish My Devil Hubby Rebirth Love - 46 द्वारा Naaz Zehra अकेलापन द्वारा Kahani Sangrah मझली दीदी द्वारा S Sinha बुजुर्गो का आशिष - 2 द्वारा Ashish अन्य रसप्रद विकल्प हिंदी लघुकथा हिंदी आध्यात्मिक कथा हिंदी फिक्शन कहानी हिंदी प्रेरक कथा हिंदी क्लासिक कहानियां हिंदी बाल कथाएँ हिंदी हास्य कथाएं हिंदी पत्रिका हिंदी कविता हिंदी यात्रा विशेष हिंदी महिला विशेष हिंदी नाटक हिंदी प्रेम कथाएँ हिंदी जासूसी कहानी हिंदी सामाजिक कहानियां हिंदी रोमांचक कहानियाँ हिंदी मानवीय विज्ञान हिंदी मनोविज्ञान हिंदी स्वास्थ्य हिंदी जीवनी हिंदी पकाने की विधि हिंदी पत्र हिंदी डरावनी कहानी हिंदी फिल्म समीक्षा हिंदी पौराणिक कथा हिंदी पुस्तक समीक्षाएं हिंदी थ्रिलर हिंदी कल्पित-विज्ञान हिंदी व्यापार हिंदी खेल हिंदी जानवरों हिंदी ज्योतिष शास्त्र हिंदी विज्ञान हिंदी कुछ भी हिंदी क्राइम कहानी