कहानी "एक जिंदगी - दो चाहतें" के इस अध्याय में, परम, कृष्णन और अमरकांत हेलीकॉप्टर में ड्यूटी पर वापस लौटते हैं। परम की नजरें एक लड़की, तनु, पर रुक जाती हैं जो लोगों को बचाने के दौरान उसकी तस्वीरें लेने में लगी हुई है। दिनभर परम ने सतरह लोगों को बचाने में सफलता पाई, जिससे उसे संतोष मिला। जब वह समतल जमीन पर उतरते हैं, तो तनु अपने साथी के साथ वहां खड़ी होती है। वह पानी में भीगी हुई है और अपने कैमरे से शॉट्स लेने के लिए रुकी हुई है। तनु और परम के बीच परिचय होता है, जिसमें तनु खुद को प्रस्तुत करती है और परम अपना नाम बताने में संकोच करता है। तनु, जो एक प्रसिद्ध टीवी चैनल की मालिक की बेटी है, बातचीत में लगी रहती है, जबकि परम धीरे-धीरे मुस्कुराता है। कहानी में यह दिखाया गया है कि कैसे परम का आकर्षण लड़कियों को खींचता है, लेकिन वह कभी किसी के प्रति गंभीरता से नहीं सोचता। उसकी पूर्व प्रेमिकाओं के उदाहरण दिए गए हैं, जिससे यह पता चलता है कि परम का किसी भी रिश्ते में मन नहीं लगता। इस अध्याय में, परम का पेशेवर जीवन और व्यक्तिगत संबंधों के बीच का संघर्ष दर्शाया गया है, जो आगे की कहानी में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा। एक जिंदगी - दो चाहतें - 7 Dr Vinita Rahurikar द्वारा हिंदी प्रेरक कथा 11 2.2k Downloads 8.1k Views Writen by Dr Vinita Rahurikar Category प्रेरक कथा पढ़ें पूरी कहानी मोबाईल पर डाऊनलोड करें विवरण परम क्षणभर में ही पलट कर कृष्णन के साथ हेलीकॉप्टर में बैठ गया। अमरकांत भी आ गया। तीनों फिर डयूटी पर लग गये। रिपोर्टर अपने कैमरों से शूट लेने लगे। परम का कतरा भर ध्यान उसके अनजाने में ही जमीन के उस हिस्से में रह गया जहाँ वो लड़की खड़ी थी। परम की खाई में सर्च करती आँखेंं बरबस उस लड़की की ओर भी उठ जाती। वह हेलीकॉप्टर की ओर ही देख रही थी और साथ वालों को कुछ निर्देश भी देती जा रही थी। शायद वह परम का लोगों को बचाते हुए शॉट लेना चाहती थी। Novels एक जिंदगी - दो चाहतें बचपन से ही भारतीय सेना के जवानों के लिए मेरे मन में बहुत आदर था। मेरे परिवार में कोई भी सेना में नहीं है। मैंने सिर्फ सिनेमा में सैनिकों के बहादुरी भर... More Likes This दस महाविद्या साधना - 1 द्वारा Darkness श्री गुरु नानक देव जी - 1 द्वारा Singh Pams शब्दों का बोझ - 1 द्वारा DHIRENDRA SINGH BISHT DHiR नारद भक्ति सूत्र - 13. कर्म फल का त्याग द्वारा Radhey Shreemali कोशिश - अंधेरे से जिंदगी के उजाले तक - 3 - (अंतिम भाग) द्वारा DHIRENDRA SINGH BISHT DHiR काफला यूँ ही चलता रहा - 1 द्वारा Neeraj Sharma डॉ. बी.आर. अंबेडकर जीवन परिचय - 2 द्वारा Miss Chhoti अन्य रसप्रद विकल्प हिंदी लघुकथा हिंदी आध्यात्मिक कथा हिंदी फिक्शन कहानी हिंदी प्रेरक कथा हिंदी क्लासिक कहानियां हिंदी बाल कथाएँ हिंदी हास्य कथाएं हिंदी पत्रिका हिंदी कविता हिंदी यात्रा विशेष हिंदी महिला विशेष हिंदी नाटक हिंदी प्रेम कथाएँ हिंदी जासूसी कहानी हिंदी सामाजिक कहानियां हिंदी रोमांचक कहानियाँ हिंदी मानवीय विज्ञान हिंदी मनोविज्ञान हिंदी स्वास्थ्य हिंदी जीवनी हिंदी पकाने की विधि हिंदी पत्र हिंदी डरावनी कहानी हिंदी फिल्म समीक्षा हिंदी पौराणिक कथा हिंदी पुस्तक समीक्षाएं हिंदी थ्रिलर हिंदी कल्पित-विज्ञान हिंदी व्यापार हिंदी खेल हिंदी जानवरों हिंदी ज्योतिष शास्त्र हिंदी विज्ञान हिंदी कुछ भी हिंदी क्राइम कहानी