Pagal book and story is written by Sarvesh Saxena in Hindi . This story is getting good reader response on Matrubharti app and web since it is published free to read for all readers online. Pagal is also popular in Short Stories in Hindi and it is receiving from online readers very fast. Signup now to get access to this story. पागल Sarvesh Saxena द्वारा हिंदी लघुकथा 19 1.9k Downloads 8.3k Views Writen by Sarvesh Saxena Category लघुकथा पढ़ें पूरी कहानी मोबाईल पर डाऊनलोड करें विवरण अभी कुछ ही देर हुई थी मुझे दुकान खोले कि बच्चों का शोर, सीटी और तालियां सुनाई देने लगी, दुकान से बाहर आकर देखा तो फिर वही रोज की कहानी, ये आजकल के बच्चे भी ना जरा भी भावनाये नहीं होतीं इनमे और बच्चे ही क्यों उनके साथ बड़े तो और भी ज्यादा l सब रोहित के पीछे भाग भाग के तरह तरह की बातें करते चले आ रहे थे, कुछ तो छोटी कंकड़ी चलाते कुछ एकदम से पीछे भागते और रुक जाते तो कुछ अजीब अजीब आवाज निकालते जिनसे रोहित परेशान होकर चिल्लाता और अजीब अजीब हरकतें करता और More Likes This सनातन - 2 द्वारा अशोक असफल वो यादगार लम्हे, वो सच्ची दोस्ती द्वारा R B Chavda दादीमा की कहानियाँ - 2 द्वारा Ashish My Devil Hubby Rebirth Love - 46 द्वारा Naaz Zehra अकेलापन द्वारा Kahani Sangrah मझली दीदी द्वारा S Sinha बुजुर्गो का आशिष - 2 द्वारा Ashish अन्य रसप्रद विकल्प हिंदी लघुकथा हिंदी आध्यात्मिक कथा हिंदी फिक्शन कहानी हिंदी प्रेरक कथा हिंदी क्लासिक कहानियां हिंदी बाल कथाएँ हिंदी हास्य कथाएं हिंदी पत्रिका हिंदी कविता हिंदी यात्रा विशेष हिंदी महिला विशेष हिंदी नाटक हिंदी प्रेम कथाएँ हिंदी जासूसी कहानी हिंदी सामाजिक कहानियां हिंदी रोमांचक कहानियाँ हिंदी मानवीय विज्ञान हिंदी मनोविज्ञान हिंदी स्वास्थ्य हिंदी जीवनी हिंदी पकाने की विधि हिंदी पत्र हिंदी डरावनी कहानी हिंदी फिल्म समीक्षा हिंदी पौराणिक कथा हिंदी पुस्तक समीक्षाएं हिंदी थ्रिलर हिंदी कल्पित-विज्ञान हिंदी व्यापार हिंदी खेल हिंदी जानवरों हिंदी ज्योतिष शास्त्र हिंदी विज्ञान हिंदी कुछ भी हिंदी क्राइम कहानी