subah-shaam book and story is written by ekshayra in Hindi . This story is getting good reader response on Matrubharti app and web since it is published free to read for all readers online. subah-shaam is also popular in Short Stories in Hindi and it is receiving from online readers very fast. Signup now to get access to this story. सुबह-शाम ekshayra द्वारा हिंदी लघुकथा 1 261 Downloads 915 Views Writen by ekshayra Category लघुकथा पढ़ें पूरी कहानी मोबाईल पर डाऊनलोड करें विवरण सुबह (थोड़ी ताज़गी भरी आवाज़ में):"नमस्ते शाम! मैं फिर से दुनिया को नई उम्मीदों के साथ जगाने आई हूँ।"शाम (हल्की मुस्कराहट के साथ):"नमस्ते सुबह! मैं तो बस दिनभर की थकान को अपनी बाहों में लेकर सुकून देने आई हूँ।"सुबह:"मैं तो हर रोज़ नए इरादों, नए सपनों के साथ आती हूँ। सबको नई ऊर्जा देती हूँ!"शाम:"मैं उन्हीं सपनों का आइना हूँ। जिसने जो किया, मैं उसका हिसाब लेकर आती हूँ — कभी शांति, कभी परेशानी।"सुबह (थोड़ा छेड़ते हुए):"तुम थोड़ी उदास सी क्यों लगती हो हमेशा?"शाम (मुस्कराते हुए):"क्योंकि मैं चुप रहकर भी दिल की सब बातें सुन लेती हूँ। तुम तो सिर्फ More Likes This चिंगारी: जो बुझी नहीं - 1 द्वारा Sumit Sharma पुर्णिमा - भाग 1 द्वारा Soni shakya CM: The untold story - 2 द्वारा Ashvin acharya चालाक कौवा द्वारा falguni doshi My Shayari Book - 1 द्वारा Roshan baiplawat रंगीन कहानी - भाग 1 द्वारा Gadriya Boy तीन लघुकथाएं द्वारा Sandeep Tomar अन्य रसप्रद विकल्प हिंदी लघुकथा हिंदी आध्यात्मिक कथा हिंदी फिक्शन कहानी हिंदी प्रेरक कथा हिंदी क्लासिक कहानियां हिंदी बाल कथाएँ हिंदी हास्य कथाएं हिंदी पत्रिका हिंदी कविता हिंदी यात्रा विशेष हिंदी महिला विशेष हिंदी नाटक हिंदी प्रेम कथाएँ हिंदी जासूसी कहानी हिंदी सामाजिक कहानियां हिंदी रोमांचक कहानियाँ हिंदी मानवीय विज्ञान हिंदी मनोविज्ञान हिंदी स्वास्थ्य हिंदी जीवनी हिंदी पकाने की विधि हिंदी पत्र हिंदी डरावनी कहानी हिंदी फिल्म समीक्षा हिंदी पौराणिक कथा हिंदी पुस्तक समीक्षाएं हिंदी थ्रिलर हिंदी कल्पित-विज्ञान हिंदी व्यापार हिंदी खेल हिंदी जानवरों हिंदी ज्योतिष शास्त्र हिंदी विज्ञान हिंदी कुछ भी हिंदी क्राइम कहानी