यह कहानी रूद्र के आत्म-प्रकाशन और पहचान के महत्व के बारे में है। रूद्र खुद को जानता है और यह गर्व या अहंकार नहीं है, बल्कि उसकी खुशी है। वह मानता है कि हर किसी को अपनी पहचान के सवालों के जवाब खुद को देने चाहिए, जैसे "मैं कौन हूँ?" और "मैं क्या कर सकता हूँ?"। वह उदाहरण देता है कि सफल लोग, जैसे सचिन तेंदुलकर और महेंद्र सिंह धोनी, अपनी पहचान को समझते हैं और उस पर विश्वास करते हैं। रूद्र ने भारत के पूर्व राष्ट्रपति अब्दुल कलाम जी का भी उल्लेख किया, जिन्होंने अपने काम के प्रति समर्पण और जीवन के अनुभवों को साझा किया। कहानी का मुख्य संदेश यह है मैं रूद्र हूँ । Rudra द्वारा हिंदी प्रेरक कथा 3.2k 2.5k Downloads 17.4k Views Writen by Rudra Category प्रेरक कथा पढ़ें पूरी कहानी मोबाईल पर डाऊनलोड करें विवरण मैं रूद्र हूँ । नमस्ते ! मैं रूद्र हूँ । और अच्छी बात यह है की मैं यह जानता हूँ मैं कौन हूँ । और यह मेरा कोई दम्भ या मेरा कोई अहमः नहीं है की, मैं यह कह सकूँ मैं रूद्र हूँ । यह मेरी वो ख़ुशी है जो दुनिया की भीड़ में मुझे खुद को पहचानने की शक्ति देती है । मैं खुद को यह बता सकता हूँ की मैं कौन हूँ । मेरे ख्याल से हम सभी को इन सभी सवालों का जवाब खुद को एक बार जरूर देना चाहिए - ( कौन, क्या, क्यूं, More Likes This बलवीर की बल्ली - भाग 1 द्वारा Raj Phulware बड़े दिल वाला - भाग - 1 द्वारा Ratna Pandey The Impossible Walk - 1 द्वारा Rj Nikunj Vaghasiya परवाह - पार्ट 1 द्वारा Aanchal Sharma ZERO TO BILLIONAIRE - 1 द्वारा Raju kumar Chaudhary चित्तौड़ री गाथा द्वारा Narayan Menariya सफलता के रहस्य - 1 द्वारा Arkan अन्य रसप्रद विकल्प हिंदी लघुकथा हिंदी आध्यात्मिक कथा हिंदी फिक्शन कहानी हिंदी प्रेरक कथा हिंदी क्लासिक कहानियां हिंदी बाल कथाएँ हिंदी हास्य कथाएं हिंदी पत्रिका हिंदी कविता हिंदी यात्रा विशेष हिंदी महिला विशेष हिंदी नाटक हिंदी प्रेम कथाएँ हिंदी जासूसी कहानी हिंदी सामाजिक कहानियां हिंदी रोमांचक कहानियाँ हिंदी मानवीय विज्ञान हिंदी मनोविज्ञान हिंदी स्वास्थ्य हिंदी जीवनी हिंदी पकाने की विधि हिंदी पत्र हिंदी डरावनी कहानी हिंदी फिल्म समीक्षा हिंदी पौराणिक कथा हिंदी पुस्तक समीक्षाएं हिंदी थ्रिलर हिंदी कल्पित-विज्ञान हिंदी व्यापार हिंदी खेल हिंदी जानवरों हिंदी ज्योतिष शास्त्र हिंदी विज्ञान हिंदी कुछ भी हिंदी क्राइम कहानी