दृष्टिकोण

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An intelligent person will open your mind, but a gentle person will open your heart." - मेने कही सुना था... और मेरा सवाल है की "बनना ही है हम  intelligent gentleman क्यू ना बने ?"    CHOICE...     जब भी हम कोई बड़ा या महत्वपूर्ण फैंसला लेते है तो उस वक्त हम क्या सोचता है ?? - यही की इसमें रिस्क कितना होगा .. मतलब ये हुआ की हम सोचने लगते है की हम ये काम करे या ना करे.. .?  chioce सब की कॉमन समस्या है। .. नॉर्मल है। .. मगर ये याद रखना भी उतना ही जरुरी है की - जिंदगी choice पर ही चलती है...    कपडे पसंद करना, - ट्रेडिशनल की वेस्टर्न  छुट्टियों की चॉइस - फेमिली गेधरिंग या फिर आउटिंग  Weekend Fun - मूवी या मॉल  ऐसे छोटे छोटे सवालों से भी हम चीड़ जाते है.. तंग भी आ जाते है कभी कभी... 

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दृष्टिकोण - 1 - CHOICE

"An intelligent person will open your mind, but a gentleperson will open your heart." - मेने कही सुना था... मेरा सवाल है की "बनना हीहै हमintelligentgentleman क्यूना बने ?" CHOICE... जब भी हम कोई बड़ा या महत्वपूर्ण फैंसला लेते है तो उस वक्त हम क्या सोचता है ?? - यही की इसमें रिस्क कितनाहोगा .. मतलब ये हुआ की हम सोचने लगते है की हम ये काम करे या ना करे.. .? chioceसब की कॉमनसमस्या है। .. नॉर्मल है। .. मगर ये याद रखना भी उतना ही जरुरीहै की - जिंदगी choice पर ही चलती है... ...और पढ़े

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दृष्टिकोण - 2 - RULE

2 RULE... मान लीजिए, आप किसी से मिलियन डॉलर उधार लेते हैं। इसके लिए 2 शर्तें हैं। पहली शर्त कि आपको इसे एक दिन लौटाना है लेकिन तारीख तय नहीं है। यह आपको कल भी लौटना पड़ सकता है, या 6 महीने बाद, या फिर 10 साल बाद,.. मगर ये मिलियन डॉलर आपको एक दिन लौटानाही पड़ेगा, इतना तय है.. कब लौटानापड़ेगा ये आप नहीं तय कर सकते, ये अवधि मिलियन डॉलर देने वाला तय करेगा,.. इतना ही नहीं वो आपको आखिरी मिनिट तक नहीं बताएगा कीअब डॉलर वापसी का वक्त आ गया.. मतलब की धन वापसी ...और पढ़े

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दृष्टिकोण - 3 - PURPOSE

3 PURPOSE... अगर आपको किसीनेकहा,.. "बॉक्सिंग रिंग में जाकर चैम्पियन से भीड़ जाओ, में आपको दस हजार दूंगा.." - तो आप क्या करेंगे ?? आप उसके मुँह पर उसे मना कर देंगे.. आप सीधे सादेइन्सान बिलकुल लालच में नहीं आएँगे.. और सीधा जवाब देंगे, "मुझे नहीं चाहिए दस हजार डॉलर भाई,... जान है तो जहान है... अपनी जान ज्यादा प्यारी है मुझे.. मुझे बेफालतू किसी के साथ नहीं ज़गड़ना.. वो भी चैम्पियन के सामने... नहीं चाहिए मुझे दस हजार डॉलर.. " यह समझदारी की बात है..कोई भी नॉर्मल इंसान वही करेगा... मगर सोचो,.. वो ही ...और पढ़े

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दृष्टिकोण - 4 - TOXICITY

TOXICITY यदि किसी में छल करके दूसरों को हानि पहुँचाने का गुण हो तो उसे Toxic Person कहते इसमें सिर्फ शारीरिक नुकसान ही नहीं मानसिक नुकसान (Mental Harm) और भावनात्मक नुकशान (Emotional Harm) भी शामिल है। इस तरह के इंसान आप के अंदर नेगेटिव और अनप्लेज़न्ट फीलिंग्स पैदा करते है.. और आपको हर तरह से पीछे धकेलते है.. खुद में आत्मविश्वास हो या ना हो, वो लोग आपका आत्मविश्वास मजबूत ना रहे उसकी बखूबी कोशिश करते है.. कभी कभी इंसान इस काम में इतना माहिर हो जाता है की बाद में ये बात उसकेखून में आ ...और पढ़े

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दृष्टिकोण - 5 - COMMUNICATION..

COMMUNICATION कम्युनिकेशन दो इंसान के बिच का वो पूल है जो एक दूसरेके विचारोंका आदान प्रदान करता कम्युनिकेशन में २ बाते महत्वपूर्ण है.. (१) बात खुद करो (२) हर टॉपिक पर बात करो (१) बात खुद करो.. क्यूकी बात जब मुंह बदलती है तो कभी-कभी मतलब भी बदल देती है.. क्या मतलब है इसका ? एक example सेसमझते है इसको... अगर आप किसीको ये बताना चाहते हो की - "उस दिन मेने ये बात उनसेनहीं कही.. " तो आप उस बन्दे को खुद बताए.. कम्युनिकेशन आपका हो ये ही बहेतरहै..आप जब किसीसे कोई ...और पढ़े

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दृष्टिकोण - 6 - ACCEPTANCE

ACCEPTANCE.. ये कहानी एक सैनिक के बारे में बताईगईहै जो वियतनाम में युद्ध करने के बाद आखिरकार घर रहा था। उसने सैन फ्रांसिस्को से अपने माता-पिता को फोन किया। - "माँ और पिताजी, मैं घर आ रहा हूँ, लेकिन मेरे पास पूछने के लिए एकसवालहै। मेरा एक दोस्त है जिसे मैं अपने साथ घर लाना चाहता हूं। "ज़रूर," पिताजी ने उसेजवाब दिया, "हम उससे मिलना पसंद करेंगे।" - माँ ने भी समर्थन दिया बेटे ने बात आगे चलाते हुए कहा - "पहले मेरी पूरी बात सुन लो,.. " माँ और पिताजी उन्हें सुनने लगे.. बेटेनेजारीरखा, ...और पढ़े

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दृष्टिकोण - 7 - TEAM

हाल ही में मैंने LRC(Leadership Reaction Course) के अंतर्गत कोई विडिओदेखा.. और तबअचानक मुझे एक बात याद आ गयी.. २००५-२००६ की है... उस वक्त की बात है जब मेने नया नया होटल में काम करना शुरू किया था.. साल-दो साल बाद जब मेरी प्रमोशन होने वाली थी, तब मुझसेएक कोर्स करवाया गया था, और उसके बाद में मेरा टेस्ट लिया गया था.. उस वक्त मुझे इस कोर्स की कोई वेल्यू नहीं थी और ना ही वो कोर्स मुझे उतना महत्वपूर्ण लगा था.. मगर जब मेने इस को लेकर येविडिओदेखा तबसमज आया की ये कितना important था जिसको LRC (Leadership ...और पढ़े

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दृष्टिकोण - 8 - HAPPY WOMENS DAY ( 8 MARCH 2023 )

HAPPY WOMAN’S DAY.. 8 MARCH WOMENS DAY और उसका एक ही अहसास -"अपनापन" माँ कहती है - अपने जाके शौख पुरे करो सास कहती है - तुम्हारे अपने घर में चलता होगा सब, हमारे घर में ये नहीं चलेगा... अब बताए,औरत कोन सा घर अपना गिने ? पति का या पिता का ? कभी किसी ने कहा है ? - की -"तुम जिंदगीभरदोनों घर में अपना फर्ज अदा करती हो, तो हक़ भी तुम्हारा दोनों घर पर जीवनभर रहेगा.." अपनेपन के दो लफ्ज़ो में खुश हो जानेवाली औरत सच में ये नहीं समझती - की ...और पढ़े

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दृष्टिकोण - 9 - QUESTION

लॉक-डाउनमें कभी-कभी हम परिवार के साथ टीवी देख लिया करते थे ...उन दिनों हमने संदीप महेश्वरी का एक विडिओदेखा - UNSTOPPABLE - उसमेउन्होंने कहा था की हमें किसी बात का जवाब ना मिले तो उस बात को नॉर्मल समज लेते है.. और फिर एक दिन आता है की हमधीरे धीरे सवाल करना बंधकरदेते है। तब मुझे लगा,"क्या सवाल वो ही सवाल होता है जिसमे सायंसजुड़ा होता है ?इंसान के हालातोको लेकर मन में उठता सवाल भी सवाल ही होता है.."तब एक बात पक्की हो गयी मेरेमनमे- की - चाहे कोनसा भी हो सवाल बंध नहीं होना चाहिए ...जमाना चाहे ...और पढ़े

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दृष्टिकोण - 10 - ANGER

एक हिंदू संत जो गंगा नदी में स्नान करने के लिए जा रहे थे, जिसने किनारे पर एक परिवार कुछ सदस्यों को चिल्लाते हुए पाया,..एक दूसरे पर बड़े ही गुस्से में थे वो सब,.. वह संत अपने शिष्यों की ओर मुड़ा और मुस्कुरायाफिर उन्होंने अपने शिष्यों को धीरे से पूछा, -"लोग गुस्से में एक दूसरे पर क्यों चिल्लाते हैं ?" शिष्यों ने कुछ देर सोचा,उनमें से एक ने कहा, 'क्योंकि हम जब गुस्सा होते है तो अपना आपा खो देते है,.. और हम चिल्लाते हैं।' फिर संत ने तार्किक अंदाज से फिर से पूछा, -"लेकिन, जब दूसरा व्यक्ति ...और पढ़े

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दृष्टिकोण - 11 - PRIORITY

दृष्टिकोण - 11 - PRIORITY क्या आपकेसामने कभी ये सिच्युऐशनआयी है जहाँ आपनेये महसूस किया हो ?की" आप की जिंदगी में प्रायोरिटी नहीं हो,... "" आपने किसी के लिए बहोतकुछ किया मगर आपको कोई क्रेडिट नहीं देता,.. "" आप किसी की बहोत खातिर करते हो, मगर उनको इस बात की कोई परवाह नहीं है,.. "" आप अपना कीमती वक़्त जिसको दिया करते हो उनको आपके वक्त की कोई वेल्यू ही नहीं है,.. "ये बहोत ही मुश्किल है डील करना,... ख़ास कर उन लोगो के लिए जो की ज्यादा इमोशनल होते है,..या फिर उन लोगो के लिए जो की ...और पढ़े

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दृष्टिकोण - 12 - Break Up

दृष्टिकोण - 12 -Break Up आपका रिश्ता चाहे जितना भी कम समय या लंबे समय तक चला हो, दोनों एक साथ आ गए हो और अब आप दोनों संयुक्त रूप से एक हो कर रहते हो,.. कुछ ऐसा होताहै की आप अलग होना चाहते हो,..चाहे वो डिवोर्स हो, या ब्रेक-अप,.. एक दूसरे से अलग होना इतना आसान नहीं होता,.. और जब आपकोअलगाव का सामना करना पड़ता है, तब आप हिल जाते हो,.. ये विचार चाहे आपका अपना हो या सामने वाले ने लिया हुआ हो, अलग रहने का विचार अपने आपमें काफी चुनौतीपूर्ण होता है। अलगाव से दर्द ...और पढ़े

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दृष्टिकोण - 13 - Decision

दृष्टिकोण - 13 - Decision कभी कभी हमें लगता हैकीक्या करे कुछ समझ नहीं आ रहा,..या फिरहम जैसे है वजह हमारी परिस्थितियाँ है,.. दर असलइंसान की जिंदगी में कभी कभी ऐसा वक्त आता है की उनके सामने कोई चॉइस नहीं रहती, मगर ज्यादातर कुछ भी डिसाइड करनेके लिए हमारे सामने हमेशाएक से ज्यादा ही विकल्प होते है.. ये हमारी समझ पर आधीन होता है की क्या डिसाइड करना चाहिए,.. जब में कॉलेज में थी तो एक दोस्त ने कहा थापी ले यार, दोस्ती के नाम पर थोड़ी सी पी ले,..जब मैनेमना किया तो वापस उसने बोला "दोस्ती के लिए ...और पढ़े

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दृष्टिकोण - 14 - BOUNDARY

BOUNDARY कभी-कभी दयालुता के कारण लोग हमारा शोषण करते हैं, और यहीं पर हमें स्पष्ट सीमाएँ स्थापित करने आवश्यकता होती है.. हम करते क्या है ? अपने आसपास चारों और एक एक सीमा बनाते हुए हम खुद ही उस सीमाओं के अंदर कैद हो कर रहे जाते है,.. - और उसे boundaries नहीं कहे सकते,.. सीमाएँ वो नहीं है जो हमें दुनिया से अलग करे, बल्कि यह क्षितिज की तरह होनी चाहिए जहां आपका निजी स्थान हो,.. Boundaries ये तय करती है कि हमारी सीमा कहां समाप्त होती है और लोगों की कहां से शुरू होती हैं। ...और पढ़े

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दृष्टिकोण - 15 - HOPE

~~~~~~~ 15 - HOPE ~~~~~~~ जिंदगी में कभी कभी हम उम्मीद खो देते है और कभी कभी हम के सहारे वक्त बर्बाद कर देते है,.. उम्मीद को बेलेंस करना बहोत जरुरी है,... एक कहानी से समज़ते है,.. एक राजा था,.. एक दिन उनके दरबार में दो लोग अपने झग़डे का हल निकालने पहुँच गए,.. किसी वजह से वो राजा अपने दरबार में आए हुए झग़डे का हल नहीं निकाल पा रहा था,.. उसे समझ नहीं आ रहा था की दोषी किसे समझे और निर्दोष किसे समझे,.. उसने घोषणा की - दोनों ही गलत है और दोनों को अगले ...और पढ़े

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