" मरहम बनकर जख्म गहरे दिए क्यों ? आसान नहीं होता है किसी को दिल से भुला जाना " थके हारे से एक नव युवक सड़क किनारे खड़ा था , रात के 8 बज रहे थे । आस पास से कई गाड़ियां गुजर चुकी थी ,लेकिन वो लड़का सड़क किनारे से टस से मस नहीं हो रहा था । मानो उसके अंदर पूरा का पूरा समंदर उफान पर था। आंखों में एक चेहरा की परछाई लिए खामोशी से अंदर ही अंदर रो रहा था ।। वो बात अलग है आस पास के लोग उसे पागल समझ रहे थे ।

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जो मिले तुमसे भाग - 1

" मरहम बनकर जख्म गहरे दिए क्यों ? आसान नहीं होता है किसी को दिल से भुला जाना " हारे से एक नव युवक सड़क किनारे खड़ा था , रात के 8 बज रहे थे । आस पास से कई गाड़ियां गुजर चुकी थी ,लेकिन वो लड़का सड़क किनारे से टस से मस नहीं हो रहा था । मानो उसके अंदर पूरा का पूरा समंदर उफान पर था। आंखों में एक चेहरा की परछाई लिए खामोशी से अंदर ही अंदर रो रहा था ।। वो बात अलग है आस पास के लोग उसे पागल समझ रहे थे । आंखों ...और पढ़े

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जो मिले तुमसे भाग - 2

मैं कुछ बोल रहा हूं तुम्हे सुनाई नहीं दे रहा है, वो तुम्हे छोड़ कर जा चुकी है कभी न आने के लिए।। समीर का सब्र का बांध टूटा ...... और वो जोर से तेज आवाज में चीखा " तारा आ आ आ " मूसलाधार बारिश में सड़क के किनारे अपने घुटनों के बल बैठ गया । मानो उसका शरीर उसका साथ छोड़ रहा हो ..... एक मात्र लड़की के जाने से उसकी ऐसी हालत हो गई थी जैसे दर्दों से सना एक पन्ना हो जिसमें किसी के खोने का गम लिखा हो । तरुण ... सब खत्म हो ...और पढ़े

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जो मिले तुमसे भाग - 3

सब कुछ अच्छा चल रहा था ..... समीर के टेस्ट में मार्क्स भी अच्छे आते थे , आंखों में बहुत बड़े थे इसलिए खूब मन लगा कर पढ़ता था । क्योंकि वो और उसका दोस्त अपने गांव में पहला लड़के थे जो कोटा राजस्थान पढ़ने गए थे। एक दिन अचानक...... एक लड़की का आना हुआ पीले रंग के कुर्ती और ब्लैक कलर का जींस , खुले सुनहरे बाल जो हवाओं के शरारत से लहराते हुए उसके गालों को चूम रहे थे । रेडिश ब्राउन बड़े बड़े आंखें बिना काजल के ही आकर्षक लग रहे थे, माथे पर काले रंग ...और पढ़े

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