रोजा

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प्यार शाश्वत है और प्यार के बिना दुनिया की कल्पना करना किसी मुर्खता से कम नहीं। प्यार एक एहसास है, खुद म खुद खिलने वाला फूल है। इसे मेरे और आपके रोकने से रोका नहीं जा सकता। एक ऐसी कहानी आप पढने जा रहे है, जिसे आपने आस-पास कहीं महसूस की होगी या सुनी होगी।