एपिसोड 24 ( रक्षांश का जिंदा होना ! ) बचपन से ही , जबा भी काश्वी अपनी माँ से इस कमरे के बारे में पूछती थी , तो काश्वी की माँ , कोई न कोई बहाना देकर , काश्वी को टाल दिया करती थी | ओर काश्वी ये बात अच्छे से जानती थी , की जरूर हो न हो , इस कमरे में कोई तो ऐसा राज़ छिपा है , जिसके बारे , काश्वी की माँ उसे पता नहीं लगने देना चाहती थी | कुछ क़दमों के फासलें को पूरा करने के लिए , काश्वी को ऐसा लग रहा था