बूंदी के डाबी किसान आंदोलन के आंदोलनकारी, क्रांतिकारी प्रखर कवि, ओजस्वी वक्ता, वीर अमर शहीद नानक जी भील की शहादत दिवस पर उन्हें कोटि कोटि सादर नमन ।नानक भील का जन्म 1890 मे बरड क्षेत्र के धनेश्वर गांव मे एक आदिवासी परिवार मे हुआ था, उनके पिता का नाम भेरू लाल भील था। मेवाड और दक्षिण राजस्थान मे जो प्रयास गोविन्द गुरू और मोती लाल तेजावत कर रहे थे, वहीं कार्य बरड मे नानक भील अपने सामर्थ्य के अनुरूप कर रहे थे। गोविन्द गुरू और मोती लाल तेजावत को आदर्श मानने वाला स्वभाव से ही साहसी, निर्भिक और जागरूक नानक