कुछ देर बाद सब लोग सो गए।सुबह आठ बजे नैना की आंख खुल गई और फिर बोली अरे आज माया दी ने जगाया नहीं।। चलो अब फेश् होकर मैं ही उनको उठाती हुं।नैना तैयार हो कर सीधे माया के रूम में पहुंच गई।नैना ने कहा अरे अब तक सो रही है ये क्या ये खुशबू हो बहुत जानी पहचानी सी लग रही है।फिर नैना धीरे धीरे बेड के पास गई और फिर बोली अरे दीदी उठो ना। इतना सो रही हो आज।चादर तान कर सो रही हो।पर नैना तो क्या पता कि कौन हो रहा था। नैना ने चादर हटा