सात फेरे हम तेरे - भाग 14

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इसी तरह एक साल बीत गए। नैना पुरी इमानदारी से माया दी के साथ रह कर उसका साथ दे रही है। आज निलेश को गुजरे एक साल बीत गए। नैना हर रोज माया दी के साथ चाय पीने बालकनी में आकर बैठ जाती है। बिमल और अतुल अब नैना के बहुत अच्छे दोस्त बन गए हैं। नैना ने एक स्कूल भी जोय्न किया खुद को सम्हाल लिया था पर एक कहीं ना कहीं खाली पन सा था बहुत बड़ी कमी थी। नैना हमेशा अपने लैपटॉप पर कुछ ना कुछ अलग लिखा करतीं थीं कभी आर्टिकल तो कभी कुछ। उसने एक