कशिश - 26

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कशिश सीमा असीम (26) रात भर चैन की नींद न आने से मन एकदम से भरा भरा था ! समझ में नहीं आ रहा था कि वो प्रेम में है या किसी के वशोकरन में ! जैसे वो चाहता है उसी तरह से हर बार हो जाता है ! अरे टावल तो लेकर ही नहीं आई ! वो बाहर आकर तौलिया उठाती है ! मैडआम ने सदी बअनध ली है पिंक कलर की साड़ी में उन्के खुले बालों से गईरतआ हुआ पानी उनकी साड़ी को गीला कर रहा था और वे शीशे के सामने खड़े होकर चेहरे पर पीएनके कलर