AWAGYAA

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हां कैकेयी तो तुम्हे तुम्हारे दो वचन मुझे आज पूरे करने है। बोलो प्रिय ,मांगो जो मांगना है, आज मैं राम को राजा घोषित कर बहुत ही प्रसन्न और निश्चिंत हु। मुझे ईश्वर ने इतना कुछ दिया है, चार हीरे जैसे पुत्र , सीता ,उर्मिला, मांडवी और श्रुतकृति देवी जैसी पुत्र वधु और कौशलया, सुमित्रा और तुम तीनो को उनकी माँ के रूप में ने मेरे जीवन में मुझे सब कुछ श्रेष्ठम दिया है ,मांगो प्रिय कैकेयी मांगो। केकैयी आराम से पलंग पर बैठ गयी और महाराजा दशरथ से मांग लिया वह जिसकी कल्पना भी शायद उन्होंने नहीं की थी।