सत्या के लिए - भाग 4 (अंतिम भाग)

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भाग -4 “जब होश आया तो मैं एक हॉस्पिटल में थी। मेरे हाथ में वीगो लगा हुआ था, दवाएँ चल रही थीं। होश आते ही पुलिस वाले आ गए और मेरा पूरा बयान दर्ज किया। मैंने उन्हें विस्तार से बता दिया कि कैसे मुझे धोखे से फँसाया गया, धर्माँतरित किया गया, बंधक बनाकर परिवार के हर पुरुष ने महीनों से मेरे साथ बलात्कार किया। हॉस्पिटल में जाँच के दौरान मेरी प्रेगनेंसी भी कंफ़र्म हो गई, क़रीब तीन महीने की होने वाली थी। मैंने डॉक्टर से तुरंत एबॉर्शन के लिए कहा। डॉक्टर ने कहा, ‘कुछ क़ानूनी प्रक्रिया पूरी करने के बाद