मुझे मातृभारती में पाठकों का बहुत अच्छा रिस्पांस मिल रहा है । सिम्मी ,अपने प्रेमी को ले कर बहुत ब्याकुल हैं।उनके पिता जी सिम्मी की शादी चपरासी से करना तय हो ही रहा है ।सिम्मी अपने मन की बात मां ,बाप को बताती है।सिम्मी के बात को गम्भीरता से नहीं ले रहे हैं ।। वेदांत ,सिम्मी को ले कर सीरियस है।और काका को भी कहा दिया है ।सिम्मी इस घर की बहू बनेगी।आज काका बहुत खुश है।वेदांत के बंग्ले में खुशी,हर्ष,उल्लाश औऱ उमंग की लहरें हल -चल होने लगी है।काका नाचने लगे है।और विवाह गीत गा रहा है ।छत्तीसगढ़ी ददरिया