तड़प इश्क की - 17

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अब आगे........उसकी तबीयत अचानक बिगड़ती देख अधिराज बिना देर किये , उसके कमरे में पहुंच जाता है और उसे अपनी बाहों में गिरने से बचा लेता है , , एकांक्षी लगभग बेहोश चुकी थी और बेहोश में ही कुछ बड़बड़ा रही थी जिसे सुनने के लिए अधिराज अपने कानों को उसके पास ले जाकर सुनने की कोशिश करता है.....एकांक्षी बेहोशी में बड़बड़ा रही थी....." अधिराज , आपने हमें धोखा दिया है , हम आपसे नफ़रत करती है , आपने हमारे प्रेम का उपहास उड़ाया है...."अधिराज उसकी उसकी बात सुनकर घबरा जाता है और उसे बेड पर लिटाकर उसके गालों पर