अच्छे पापा दिन भर दफ्तर में खटकर मैं जल्दी-जल्दी घर लौट रहा था |बार-बार बेटे का चेहरा आँखों के सामने डोल जाता |आठ साल का गोलू-मोलू सा बेटा पप्पू ...इधर नाराज होना सीख गया है |जब से पड़ोस में एक इंजीनियर साहब रहने को आए हैं ,मैं परेशान हो गया हूँ |पप्पू की उम्र का उनका एक बेटा है गोल्डी|इंजीनियर साहब के पास सुख-साधनों का अंबार है |पप्पू का मन उधर खिंचता है |मैं अदना सा क्लर्क प्यार से उसकी कमी पूरी करने में लगा रहता हूँ |घर पहुँचते ही मैंने आवाज लगाई –पप्पू बेटा कहाँ हो ?इधर आओ |पर पप्पू