बेपनाह - 15

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15 उस ने अपना सामान ले जाकर गाड़ी की डिक्की में रखा और आगे वाली सीट पर बैठ गयी और ऋषभ ने ड्राइविंग सीट संभाल ली ! एक्सिलेटर पर अपने पैर का द्वाब बनाया और गाड़ी को हवा की तेजी से दौड़ा दिया । “ऋषभ कार इतनी तेज गाड़ी मत चलाओ, मेरा दिल पहले से ही घबरा रहा है !” “क्यों क्या हो गया ? यार मस्त रह, सब सही होगा और मैं हल्की गाड़ी नहीं चलाता ।“ ऋषभ मुस्कुरा कर बोले । “थोड़ा तो हल्का कर लो प्लीज ।” उस ने उससे मनुहार करते हुए कहा । “कितनी हल्की