अपने-अपने कारागृह -5 इसी बीच अजय का प्रिंसिपल सेक्रेटरी पद पर रांची स्थानांतरण हो गया । ' किंग ऑफ स्मॉल किंगडम' वाला दर्जा उनसे छिन गया था । अब उषा भी दूसरी लाइफ में है स्वयं को समायोजित करने का प्रयास करने लगी । अपनी रचनात्मकता तथा कार्यशैली से उसने 'महिला क्लब ' में अपना दबदबा बना लिया था तथा सभी एक्टिविटीज में खुलकर भाग लेने लगी थी । वैसे भी जगह-जगह खोलें प्रौढ़ शिक्षा केंद्रों के कारण उसकी ख्याति पहले ही' महिला क्लब ' की अध्यक्षा प्रभा मेनन तक पहुंच चुकी थी । वह उससे इतना प्रभावित थीं कि उससे सलाह