इक समंदर मेरे अंदर - 14

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इक समंदर मेरे अंदर मधु अरोड़ा (14) उस समय कामना को मैनापॉज का अर्थ पता ही नहीं था। उसे यह भी नहीं पता था कि एक उम्र के बाद रक्‍त़स्‍त्राव रुकता भी है और उससे पहले इस तरह खून बहता है। उसे कुछ भी तो नहीं सूझ रहा था। उसने अपनी सूती चुन्नियां फाड़ीं और अम्मां को इस्‍तेमाल के लिये दे दी थीं। उन दिनों पैड्स प्रचलित नहीं हुए थे। मिलते भी होंगे तो कामना को इसकी कोई जानकारी नहीं थी। वह भी मलमल की सूती साड़ियों के टुकड़े ही इस्‍तेमाल करती थी। तभी ये शुरू हुआ था। कुछ दिनों