मेरा स्वर्णिम बंगाल - 1

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मेरा स्वर्णिम बंगाल संस्मरण (अतीत और इतिहास की अंतर्यात्रा) मल्लिका मुखर्जी(1) सादर समर्पित परम पूज्य माता-पिता श्रीमती रेखा भौमिक, श्री क्षितिशचंद्र भौमिक, नानी माँ आभारानी धर तथा उन सभी परिजनों को जिन्होंने देश के विभाजन के परिणामस्वरूप विस्थापन का दर्द सहन किया। मल्लिका मुखर्जी प्राक्कथन देश विभाजन भारतीय उपमहाद्वीप की एक ऐसी त्रासदी है, जिसकी पीड़ा पीढ़ियों तक महसूस की जायेगी। इस विभाजन ने सिर्फ सरहदें ही नहीं खींचीं, बल्कि सामाजिक समरसता और साझा संस्कृति की विरासत को भी तहस-नहस कर दिया। राजनीतिक महत्वाकांक्षाओं की भेंट चढ़ा दी गई मनुष्यता को, मानव इतिहास कभी माफ नहीं कर पायेगा। वजह है,