शौर्य गाथाएँ शशि पाधा (6) शाश्वत गाथा (मेजर सुधीर वालिया – अशोक चक्र, सेना मेडल *) रिश्ते ! ये साहचर्य और स्नेह के रिश्ते कभी-कभी खून के रिश्ते से भी अधिक महत्वपूर्ण बन जाते हैं और हमारे हृदय के सुरक्षित कोने में अनायास ही घर कर लेते हैं | मेरे साथ ऐसा कई बार हुआ है | अपनी पलटन के अधिकारियों और उनके परिवार से सहज ही ऐसा अटूट सम्बन्ध जुड़ जाता है कि उनका सुख-दुःख हमारा सुख -दुःख हो जाता है और बरसों के बाद मिलने पर भी ऐसा कभी नहीं लगता कि हम कभी बिछुड़े भी थे |