उस जन्नत की तरह खूबसूरत शहर तक पहुंचने में वे उत्सुकता और बेचैनी भरी प्रतीक्षा को महसूस करना चाहते थे इसलिए घरवालों और परिचितों के बहुत मना करने के बावज़ूद उन्होंने अकेले और सड़क के रास्ते से होकर, खुद अपनी गाड़ी चला कर वहां तक जाना तय किया था। वे बरसों बाद एक बार फिर रास्तों के साथ चलती नदियों से मिलना चाहते थे। रंग बदलते चिनारों से बात करना चाहते थे।