शाम का समय, कोई पुराना गोदाम, निशा की बातें सुन कर सिद्धांत ने चिढ़ कर कहा, " वो जो भी कर रहा था वो हमारे साथ कर रहा था । वो सब हम दोनों के बीच की बात थी । हमारे बीच आने वाली तुम कौन होती हो और तुमसे किसने कह दिया कि वो हमें बदल रहा था ? उसने हमें वैसे ही एक्सेप्ट किया था जैसे हम हैं । बदलने की कोशिश तो तुमने की है हमें । " निशा ने कहा, " तुम... " लेकिन उसने अपनी आगे की बात अधूरी छोड़ कर कहा, " छोड़ो !