ए पर्फेक्ट मर्डर - भाग 26

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भाग 26फ़्लैश बैक**********“अंकल मुझे एक अच्छी कम्पनी में जॉब मिल गई है। अब तो मैं प्रीति का हाथ मांग सकता हूँ।” अमोल ने मिठाई का डिब्बा प्रीति के पिताजी के सामने रखते हुए कहा। प्रीति के पिताजी व्यंग्यात्मक लहज़े में बोले, “तन्खवाह कितनी है।” “जी पच्चीस हजार रुपए। और हर साल इंक्रीमेंट भी होगा।” अमोल ने मुस्कुराते हुए प्रीति की तरफ देखते हुए जवाब दिया। प्रीति के पिताजी हँसने लगे, “बस, पच्चीस हजार रुपए! इसमें तुम मेरी बेटी को क्या सुख दोगे? आधा पैसा तो किराए में निकल जाएगा।” “अंकल शुरुआत में पच्चीस हजार भी बुरे नहीं होते। और किराए